देश में खाने-पीने की चीजों के महंगे होने के साथ जुलाई 2023 में कंज्यूमर प्राइस इंडेक्स (CPI) पर आधारित खुदरा मुद्रास्फीति (Retail Inflation) की दर बढ़कर 7.44 प्रतिशत पर पहुंच गई, जो जून 2023 में 4.87 प्रतिशत पर थी।
राष्ट्रीय सांख्यिकी कार्यालय (NSO) की तरफ से सोमवार को जारी आंकड़ों के अनुसार, महंगाई में उछाल का मुख्य कारण जुलाई महीने में सब्जियों और खासकर टमाटर की कीमतों में तेज उछाल आना है।
जुलाई में कंज्यूमर प्राइज इंडेक्स के 7.44 प्रतिशत पर पहुंचने के साथ देश में मुद्रास्फीति का स्तर पिछले पांच महीनों में पहली बार भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) के संतोषजनक लेवल 2-6 प्रतिशत के पार पहुंच गया गया है।
इसके अलावा उपभोक्ता खाद्य मूल्य सूचकांक (CFPI) जून में 4.49 प्रतिशत से बढ़कर 11.51 प्रतिशत पर पहुंच गया। जुलाई में भारत की ग्रामीण मुद्रास्फीति सालाना आधार पर 4.78 प्रतिशत से बढ़कर 7.63 प्रतिशत हो गई, जबकि शहरी मुद्रास्फीति जून 2023 में 4.96 प्रतिशत से बढ़कर 7.20 प्रतिशत हो गई।
सब्जियों की मुद्रास्फीति दर में तेज वृद्धि देखी गई और जुलाई 2023 में यह सालाना आधार पर बढ़कर 37.34 प्रतिशत हो गई। इसके अलावा खाद्य एवं पेय पदार्थों की महंगाई दर का स्तर जून 2023 में 4.63 प्रतिशत से बढ़कर जुलाई 2023 में 10.57 प्रतिशत हो गया। अनाज की महंगाई दर जून 2023 में 12.71 फीसदी से बढ़कर 13.04 फीसदी हो गई।