वैश्विक स्पेशियल्टी व्यवसाय में शानदार प्रदर्शन और भारतीय बाजार में मजबूती की बदौलत देश की सबसे बड़ी दवा कंपनी सन फार्मास्युटिकल इंडस्ट्रीज ने वित्त वर्ष 2024 की जुलाई-सितंबर तिमाही में दमदार प्रदर्शन किया है। कंपनी के राजस्व में 11 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज की गई और सकल मार्जिन में 180 आधार अंक तक का इजाफा हुआ।
वित्त वर्ष 2024 की दूसरी तिमाही के नतीजों के बाद जहां कई ब्रोकरों ने इस शेयर के लिए अपने आय अनुमानों को बरकरार रखा है, वहीं कुछ ने ऊंचे मूल्यांकन मल्टीपल को ध्यान में रखकर अनुमान बढ़ा दिए हैं।
सिस्टमैटिक्स इंस्टीट्यूशनल इक्विटीज के शोध विश्लेषकों विशाल मनचंदा और विवेक माने ने इस शेयर के लिए अपनी रेटिंग ‘बनाए रखें’ से बदलकर ‘खरीदें’ कर दी है और मूल्यांकन मल्टीपल भी 25 गुना से बढ़ाकर 27 गुना कर दिया है।
उनका कहना है, ‘रेटिंग बदलाव से कंपनी की मुख्य आय, मार्जिन वृद्धि की संभावना, जटिल जेनेरिक ऑर्डरों की वैल्यू और विस्तार की क्षमताओं का पता चलता है। हालांकि इन्हें अनुमानों में शामिल नहीं किया गया।’
जेएम फाइनैंशियल का भी मानना है कि शेयर ऊंचे मूल्यांकन मल्टीपल का हकदार है और इसलिए उसने भी मल्टीपल 25 गुना से बढ़ाकर 26 गुना कर दिया है।
ब्रोकरेज फर्म का मानना है कि यह बाजार दिग्गज उसके पसंदीदा शेयरों में से एक है। ब्रोकरेज के विश्लेषक जैनिल शाह ने कहा कि कंपनी के घरेलू मजबूत नेतृत्व, दमदार बैलेंस शीट और दीर्घावधि स्पेशियल्टी विकास संभावनाओं के कारण उन्होंने सकारात्मक नजरिया अपनाया है।
कंपनी की वृद्धि एवं मुनाफे में तेजी को देखते हुए दलाल पथ की नजर स्पेशियल्टी और घरेलू फॉर्मूलेशनों के विकास पर रहेगी। सन फार्मा के वैश्विक स्पेशियल्टी व्यवसाय ने सालाना आधार पर 19 प्रतिशत और तिमाही आधार पर 3.4 प्रतिशत वृद्धि के साथ 24 करोड़ डॉलर का आंकड़ा पार किया।
वैश्विक स्पेशियल्टी व्यवसाय में वृद्धि को इलुम्या (मध्यम से गंभीर सोरायसिस उपचार के लिए), सेक्वुआ (आंखों की दवा)और विनलेवी (मुंहासों के उपचार के लिए) से मदद मिली थी।
अमेरिकी व्यवसाय का प्रदर्शन उम्मीद के अनुरूप नहीं रहा और इसमें तिमाही आधार पर 8.3 प्रतिशत की कमजोरी दर्ज की गई। इस गिरावट की वजह कैंसर उपचार की दवा रेवलिमिड के जेनेरिक वर्सन की कम बिक्री को माना गया।
स्पेशियल्टी उत्पादों के लिए मौसमी मांग के साथ इस सेगमेंट में बिक्री वित्त वर्ष 2024 की दूसरी छमाही में सुधरने की उम्मीद है।
आईआईएफएल रिसर्च के विश्लेषकों राहुल जीवानी और नमन बगरेचा का मानना है कि दूसरी छमाही में स्पेशियल्टी डर्मेटोलॉजी उत्पादों में बदलते मौसम के हिसाब से आ रही तेजी से वित्त वर्ष 2024 की तीसरी और चौथी तिमाही में वैश्विक स्पेशियल्टी बिक्री बढ़कर 25.5/26.3 करोड़ डॉलर पर पहुंचने का अनुमान है।
कंपनी ने कहा है कि अमेरिकी खाद्य एवं दवा प्रशासन (यूएसएफडीए) ने डेयूरूक्सोलिटिनिब दवा के लिए नए आवेदन को स्वीकार कर लिया है। इस दवा का इस्तेमाल गंभीर एलोपेशिया एरीटा के उपचार में किया जाएगा।
ब्रोकरों का मानना है कि वित्त वर्ष 2025 तक लाई जाने वाली इस दवा की मदद से कंपनी को बड़े अवसरों का लाभ उठाने में मदद मिलेगी और वह अपने प्रतिस्पर्धियों से प्रभावी तरीके से मुकाबला कर सकेगी।
जेएम फाइनैंशियल का मानना है कि यह दवा सन फार्मा की वृद्धि को मजबूत बनाने में काफी हद तक मददगार होगी और इससे पेशकश के चार-पांच साल में 40-50 करोड़ डॉलर का राजस्व पैदा हो सकता है।
सन फर्मा ने जोखिम दूर किए हैं और विभिन्न बाजारों में अपनी मजबूत ढांचागत वृद्धि की वजह से प्रतिस्पर्धियों के मुकाबले बेहतर प्रदर्शन किया है।
प्रभुदास लीलाधर रिसर्च का कहना है कि पिछले कुछ वर्षों के दौरान अमेरिकी जेनेरिक पर सन फार्मा की निर्भरता घटी है और स्पेशियल्टी पर कंपनी ने ध्यान बढ़ाया है।
कंसर्ट फार्मास्युटिकल्स के अधिग्रहण के साथ साथ अन्य दवाओं की बिक्री बढ़ने से कंपनी के स्पेशियल्टी व्यवसाय को वित्त वर्ष 2025 में बड़ी ताकत मिलने की संभावना है। ब्रोकरेज फर्म ने इस शेयर के लिए ‘खरीदें’ रेटिंग दी है।
सितंबर तिमाही में कंपनी ने आठ उत्पाद पेश किए थे, जिनमें टाइवल्जी भी शामिल है। मोतीलाल ओसवाल रिसर्च ने अनुमान जताया है कि कंपनी घरेलू बाजार में 10 प्रतिशत की सालाना वृद्धि दर्ज कर सकती है और वित्त वर्ष 2023 से वित्त वर्ष 2025 तक यह बाजार 16,500 करोड़ रुपये पर पहुंच सकता है।
इसके अलावा शेष दुनिया और अन्य उभरते बाजारों में वित्त वर्ष 2023 से वित्त वर्ष 2025 कंपनी को इन नई दवाओं के लिए बढ़ती मांग को पूरा करने में मदद मिलेगी।