लोग आधुनिक सुख-सुविधाओं वाले घरों में रहने को तवज्जो दे रहे हैं। यही वजह है कि लक्जरी सेगमेंट में मकान खूब बिक रहे हैं। लक्जरी की तरफ लोगों के रुझान का अंदाजा इसी से लगाया जा सकता है कि चार करोड़ रुपये से अधिक कीमत वाले घरों की बिक्री में देश के सात बड़े शहरों में चालू कैलेंडर वर्ष की पहली छमाही के दौरान एक साल पहले के मुकाबले 85 फीसदी की उछाल आई है। इन शहरों में इस सेगमेंट में लोगों ने 7,000 से ज्यादा मकान खरीदे हैं। सबसे ज्यादा 57 फीसदी लक्जरी मकानों के खरीदार दिल्ली-एनसीआर से सामने आए हैं।
सीबीआरई और एसोचैम की संयुक्त रिपोर्ट से पता चलता है कि इस साल जनवरी से जून के दौरान लक्जरी मकानों की बिक्री को धनाढ्य लोगों और वैश्विक अनिश्चितता के दौर में परिसंपत्ति स्थिरता की तलाश करने वाले अनिवासी भारतीयों की मांग के कारण बल मिला है।
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शहरों के लिहाज से देखें तो लक्जरी बाजार में दिल्ली-एनसीआर का दबदबा रहा है और कुल बिके 7,000 से अधिक लक्जरी मकानों में यहां के लोगों ने करीब 4,000 घर खरीदे हैं। उसके बाद 1,240 यूनिट के साथ मुंबई दूसरे स्थान पर रहा। इस साल की पहली छमाही के दौरान कुल लक्जरी मकानों की बिक्री में पारंपरिक रूप से मध्यम आय वर्ग वाले बाजार के तौर पर पहचाने जाने वाले चेन्नई और पुणे की हिस्सेदारी करीब 5 फीसदी रही। हालांकि, इस अवधि में कुल 7,300 लक्जरी यूनिट की पेशकश भी की गई, जो एक साल पहले की समान अवधि के मुकाबले 30 फीसदी अधिक है। साल 2025 की पहली छमाही में दिल्ली-एनसीआर, मुंबई और हैदराबाद में सबसे ज्यादा 90 फीसदी लक्जरी परियोजनाएं लॉन्च की गईं।
इस बारे में सीबीआरई इंडिया के प्रबंध निदेशक (कैपिटल मार्केट ऐंड लैंड) गौरव कुमार ने कहा कि व्यापक आर्थिक बुनियादी कारक तो दमदार रहे ही हैं, उपभोक्ता आत्मविश्वास और कुलांचे भरती जीवनशैली आकांक्षाएं भी लक्जरी और प्रीमियम घरों की बिक्री में उल्लेखनीय वृद्धि का कारण है। उन्होंने कहा, ‘डेवलपर का पूरा ध्यान बेहतर गुणवत्ता, पारदर्शिता और सुखद अनुभव पर है, जो इस क्षेत्र में वृद्धि की अगली लहर को रफ्तार देने में मददगार होगा।’
प्रॉपर्टी उद्योग के जानकारों का मानना है कि साल की दूसरी छमाही में भी बाजार की यह गति बरकरार रहने की संभावना है। रिपोर्ट में कहा गया है कि तेजी से बढ़ते शहरीकरण, अनुकूल जनसांख्यिकीय लाभांश, लोगों का शहर की ओर आकर्षण और खर्च योग्य आय में बढ़ोतरी आवासीय बाजार के आगे बढ़ाने में मददगार होगी।
जेपी इन्फ्राटेक के कार्यकारी निदेशक जश पंचामिया ने कहा, ‘बाजार धारणा में सुधार, विश्व स्तरीय विकास से प्रेरित ग्राहकों की पसंद एवं संपत्ति में निवेश करने की इच्छा के कारण आने वाले महीनों में आवास बाजार में तेज गतिविधियां दिखाई देंगी और नए अवसरों के द्वार भी खुलेंगे।’
लेकिन रिपोर्ट में मंजूरी प्रक्रियाओं को व्यवस्थित करने, परियोजनाओं के क्रियान्वयन का समय दुरुस्त करने और खरीदारों का विश्वास बढ़ाने के लिए आवश्यक सुधार करने पर भी जोर दिया गया है। इसमें प्रधानमंत्री आवास योजना (पीएम-एवाई) के लाभों को बढ़ाने और पहली बार मकान खरीदने वालों के लिए ब्याज सहायता योजनाओं के साथ-साथ रेरा का एक समान कार्यान्वयन सुनिश्चित करने और अनुपालन न करने पर सख्त कार्रवाई करने जैसे उपाय शामिल हैं।