महाराष्ट्र विधानमंडल के बजट सत्र में विपक्ष ठेकेदारों के लंबित भुगतान का मुद्दा जोर शोर से उठा सकता है। राज्य के ठेकेदार आरोप लगा रहे हैं कि उनका एक लाख करोड़ रुपये से अधिक का भुगतान नहीं किया जा रहा है। सबसे ज्यादा सार्वजनिक निर्माण विभाग (PWD) का काम करने वाले ठेकेदार परेशान है। ठेकेदारों के भुगतान पर PWD ने जानकारी साझा करते हुए कहा कि सड़क और इमारत उपक्षेत्र के लंबित भुगतानों को निपटाने के लिए वर्ष 2024-25 में अब तक 15,091 करोड़ रुपये की निधि वितरित की गई है। विभाग ने फरवरी 2025 में कुल 683 करोड़ 72 लाख रुपये की निधि वितरित की है।
सार्वजनिक निर्माण विभाग द्वारा लंबित भुगतानों की दी गई जानकारी में कहा गया कि सार्वजनिक निर्माण विभाग के अंतर्गत विभिन्न योजनाओं के लिए बजट में शेष राशि, अवितरित प्रावधान वितरित करने का कार्य प्रगति पर है। लंबित भुगतानों के निपटारे के लिए ट्रेड रिसीवेबल्स डिस्काउंट सिस्टम (TReDS) प्रणाली का उपयोग करने का निर्णय बैठक में लिया गया है। इस संबंध में प्रस्ताव वित्त विभाग को प्रस्तुत किया गया है और इस पर कार्यवाही प्रगति पर है। लंबित भुगतानों के निपटारे के लिए सार्वजनिक निर्माण मंत्री शिवेंद्र सिंह राजे भोसले की अध्यक्षता में हाल ही में एक बैठक आयोजित की गई। बैठक में दिए गए निर्देशों के अनुसार विभाग द्वारा कार्यवाही की जा रही है।
मंत्रालय और मंत्रियों के आवासों के रखरखाव का कार्य सुचारू रूप से चल रहा है और इसके लिए फरवरी माह में 64 करोड़ रुपये से अधिक की निधि वितरित की गई है। 18 करोड़ रुपये से अधिक की निधि वितरित करने की प्रक्रिया जारी है। बजट में अवितरित प्रावधान वितरित करने के बाद, लंबित भुगतानों के निपटारे के लिए वित्तीय वर्ष की शेष अवधि में आवश्यक निधि उपलब्ध कराने के लिए सरकार के पास विभिन्न विकल्प खुले हैं और तदनुसार कार्यवाही की जा रही है।
महाराष्ट्र राज्य ठेकेदार संघ (एमएससीए) के अध्यक्ष मिलिंद भोसले ने दावा किया कि अकेले PWD के अवैतनिक बिलों की राशि जुलाई 2024 से लगभग 46,000 करोड़ रुपये है। बुनियादी ढांचे और विकास क्षेत्रों में लगभग 4 लाख ठेकेदार और 4 करोड़ कर्मचारी वित्तीय संकट का सामना कर रहे हैं। भोसले ने आरोप लगाया कि हमारी चिंताओं को दूर करने के बजाय, सरकार प्रचार के लिए मुफ्त चीजें बांटने पर ध्यान केंद्रित कर रही है।
मुंबई ठेकेदार संघ के कार्यकारी अध्यक्ष दादा इंगले का कहना है कि मुंबई सर्कल के तीन डिवीजनों में 600 करोड़ रुपये के बिलों का भुगतान नहीं किया गया है। विभिन्न विभागों के पास कुल 1,09,300 करोड़ रुपये के बिल लंबित हैं। लोक निर्माण विभाग (46,000 करोड़ रुपये), जल जीवन मिशन (18,000 करोड़ रुपये), ग्रामीण विकास (8,600 करोड़ रुपये), सिंचाई विभाग (19,700 करोड़ रुपये) और शहरी विकास को 17,000 करोड़ रुपये का भुगतान करना है। लोक निर्माण मंत्री शिवेंद्रराजे भोसले ने कहा कि वित्त विभाग लंबित बिलों को किस्तों में निपटाने पर काम कर रहा है।