भारतीय रिजर्व बैंक ने वित्तीय स्थिरता रिपोर्ट में कहा कि पर्सनल लोन और एनबीएफसी को दिए गए कर्ज पर जोखिम भार (रिस्क वेट) बढ़ाए जाने से बैंकिंग प्रणाली में पूंजी पर्याप्तता अनुपात 71 आधार अंक तक कम हो जाएगा।
रिपोर्ट में कहा गया है, ‘जोखिम भार में बढ़ोतरी के समायोजन पर बैंकिंग व्यवस्था का सीआरएआर (पीएसबी और पीवीबी को मिलाकर) 71 आधार अंक तक घटकर 16.0 प्रतिशत रहने का अनुमान है। साथ ही सीईटी1 58 आधार अंक गिरकर 13.2 प्रतिशत रह सकता है। बहरहाल इसका असर बैंकों के मुताबिक अलग अलग होगा।’
अनुसूचित वाणिज्यिक बैंकों (एससीबी) का कैपिटल टु रिस्क वेटेज ऐसेट रेशियो (सीआरएआर) और कॉमन इक्विटी टियर1 (सीईटी1) अनुपात सितंबर 2023 में क्रमशः 16.8 प्रतिशत और 13.7 प्रतिशत रहा है।