दिसंबर में नई औपचारिक भर्तियों में कमी आई है। इससे माह के दौरान औपचारिक श्रम बाजार में गिरावट के संकेत मिलते हैं। कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (ईपीएफओ) द्वारा मंगलवार को जारी पेरोल के ताजा आंकड़ों के मुताबिक कर्मचारी भविष्य निधि (ईपीएफ) के तहत दिसंबर में नए मासिक सबस्क्राइबरों की संख्या करीब 3 फीसदी घटकर 8,47,000 रह गई है, जो नवंबर में 8,74,000 थी।
ईपीएफओ का आंकड़ा महत्त्वपूर्ण माना जाता है क्योंकि इससे औपचारिक श्रम बाजार की स्थिति का पता चलता है और औपचारिक कार्यबल को ही सामाजिक सुरक्षा से जुड़े लाभ मिलते हैं और इन श्रमिकों को श्रम कानूनों का संरक्षण मिलता है।
दिसंबर में कुल 8,47,000 नए ईपीएफ सबस्क्राइबरों में से 18 से 25 साल की उम्र के युवा लोगों की हिस्सेदारी बढ़कर 57.3 फीसदी (4,85,000) हो गई है, जो नवंबर में 54.9 फीसदी (4,80,600) थी। यह महत्त्वपूर्ण होता है क्योकि इस उम्र समूह के सबस्क्राइबर सामान्यतया श्रम बाजार में पहली बार आने वाले लोग होते हैं, जिससे बाजार में तेजी का पता चलता है।
बहरहाल नए सबस्क्राइबरों में महिलाओं की हिस्सेदारी घटकर 25.9 फीसदी (2,20,000) रह गई है, जो इसके पहले के महीने में 27.4 फीसदी (2,39,800) थी।
वहीं दिसंबर में पेरोल की शुद्ध बढ़ोतरी 16 लाख रही है। इसमें सामाजिक सुरक्षा संगठन में नए शामिल सबस्क्राइबरों, बाहर निकले सबस्क्राइबरों और वापस आए पुराने सबस्क्राइबरों के आंकड़े शामिल होते हैं। हालांकि शुद्ध मासिक पेरोल के आंकड़े अनंतिम प्रकृति के होते हैं और अक्सर अगले महीने में इन आंकड़ों में तेज बदलाव होता है। यही वजह है कि नए ईपीएफ सबस्क्राइबरों के आंकड़े को शुद्ध बढ़े सबस्क्राइबरों के आंकड़े से ज्यादा विश्वसनीय माना जाता है।