facebookmetapixel
Double Bottom Alert: डबल बॉटम के बाद ये 6 शेयर कर सकते हैं पलटवार, चेक करें चार्टनवंबर में थोक महंगाई बढ़कर -0.32%, मैन्युफैक्चर्ड प्रोडक्ट्स की महंगाई घटकर 1.33% पर आईटैक्सपेयर्स ध्यान दें! एडवांस टैक्स जमा करने का आज आखिरी मौका, देर की तो लगेगा भारी जुर्मानाNephrocare Health IPO अलॉटमेंट फाइनल, सब्सक्रिप्शन कैसा रहा; ऐसे करें चेक स्टेटसकेंद्र ने MGNREGA का नाम बदलकर VB-RaM G करने का प्रस्ताव पेश किया, साथ ही बदल सकता है फंडिंग पैटर्नडॉलर के मुकाबले रुपया 90.58 के रिकॉर्ड निचले स्तर पर, US ट्रेड डील की अनि​श्चितता और FIIs बिकवाली ने बढ़ाया दबावGold-Silver Price Today: सोना महंगा, चांदी भी चमकी; खरीदारी से पहले जान लें आज के दामWakefit Innovations IPO की बाजार में फिकी एंट्री, ₹195 पर सपाट लिस्ट हुए शेयरकम सैलरी पर भी तैयार, फिर भी नौकरी नहीं, रेडिट पर दर्द भरी पोस्ट वायरलCorona Remedies IPO की दमदार लिस्टिंग, कमजोर बाजार में ₹1,470 पर एंट्री; हर लॉट पर ₹5712 का मुनाफा

India AI Mission: इंडिया AI मिशन की 50% राशि जीपीयू खरीद में होगी उपयोग

India AI Mission: 5,000 करोड़ रुपये की GPU खरीद के माध्यम से स्टार्टअप्स को सस्ती कंप्यूटिंग क्षमता मिलेगी

Last Updated- July 04, 2024 | 10:06 PM IST
artificial intelligence

केंद्र सरकार इंडिया AI मिशन के तहत 10,372 करोड़ रुपये की राशि में से करीब 5,000 करोड़ रुपये ग्राफिक्स प्रोसेसिंग यूनिट्स (जीपीयू) की खरीद में खर्च करेगी और भारतीय स्टार्टअप कंपनियों को कम कीमत पर कंप्यूट क्षमता उपलब्ध कराएगी। सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय के वरिष्ठ अधिकारी ने गुरुवार यह जानकारी दी।

दिल्ली में आयोजित किए जा रहे ग्लोबल इंडिया AI समिट के दौरान इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय के अतिरिक्त सचिव अभिषेक सिंह ने कहा ‘इस मिशन के तहत कंप्यूट क्षमता निर्मित करने में सहायता के लिए जरूरी 10,000 से ज्यादा जीपीयू उपलब्ध कराने के लिए हमने तकरीबन 5,000 करोड़ रुपये आवंटित किए हैं।’

जीपीयू ऐसे विशेष चिप होते हैं, जिन्हें आर्टिफिशल इंटेलिजेंस तथा तीव्र प्रोसेसिंग के जरिये मशीन लर्निंग कार्यों में तेजी लाने के लिए बेहतरीन ढंग से तैयार किया जाता है। एनवीडिया, इंटेल और एएमडी जैसी कंपनियां दुनिया भर में जीपीयू की सबसे बड़ी विनिर्माताओं में शामिल हैं।

सिंह ने यह भी कहा कि सरकार इन चिपों की खरीद के लिए निविदा जारी करने की प्रक्रिया में है, लेकिन इन चिपों की सीधी खरीद करने का दृष्टिकोण नहीं होगा। उन्होंने कहा ‘ऐसा नहीं है कि हम चिपसेट खरीदेंगे तथा हम सार्वजनिक स्वामित्व वाले और सार्वजनिक रूप से संचालित बुनियादी ढांचा तैयार करेंगे।

हम चाहेंगे कि निवेश निजी भागीदारों की तरफ से आए, लेकिन उस कंप्यूट की पहुंच की लागत के हिस्से को सरकार द्वारा सब्सिडी प्रदान की जाएगी ताकि जिन लोगों को कंप्यूटर की जरूरत है, जो मॉडल बना रहे हैं या मॉडल का प्रशिक्षण दे रहे हैं या अनुमान लगा रहे हैं या शोध कर रहे हैं या एल्गोरिदम पर काम कर रहे हैं, वे उस लागत पर कंप्यूटर तक पहुंच पाएंगे जो आज की तुलना में बहुत कम है।

उन्होंने कहा कि इस दृष्टिकोण की वजह यह है कि उपयोगकर्ताओं या उद्यमों और इस मामले में स्टार्टअप कंपनियों को यह फैसला करने दिया जाए कि उनके इस्तेमाल के लिए कौन-सा जीपीयू सही रहेगा।

First Published - July 4, 2024 | 10:06 PM IST

संबंधित पोस्ट