जेफरीज ने अपने मॉडल पोर्टफोलियो में बदलाव किया है और इसके तहत वैश्विक शोध व ब्रोकिंग हाउस ने जोमैटो व भारती एयरटेल से अपना निवेश निकाल लिया है। ब्रोकरेज फर्म जेफरीज के विश्लेषकों ने कहा, हम इस क्षेत्र में बढ़ रही प्रतिस्पर्धी गतिविधियों को लेकर चिंतित बने हुए हैं। इसकी वजह यह है कि इसकी प्रमुख प्रतिस्पर्धी स्विगी ने हाल में बाजार हिस्सेदारी में नुकसान देखा है।
जेफरीज के प्रबंध निदेशक महेश नंदूरकर और अभिनव सिन्हा ने हालिया रिपोर्ट में कहा है, हमने अपने मॉडल पोर्टफोलियो से भारती एयरटेल को बाहर निकाल दिया है क्योंकि हमारे विश्लेषकों ने 5जी पर बढ़ते पूंजीगत खर्च को लेकर चिंता को रेखांकित किया है और टैरिफ बढ़ोतरी से अल्पावधि में इसकी भरपाई शायद नहीं होगी। इसके अलावा हमने मारुति का कुछ भारांक घटाकर बैंक में बढ़ा दिया है। जोमैटो को लेकर रुख में बदलाव करीब एक महीने पहले के रुख से पूरी तरह पलटाव है। तब यह शेयर जेफरीज के लिए खरीद की श्रेणी में था और कीमत लक्ष्य 100 रुपये था।
जेफरीज के विश्लेषकों ने 13 नवंबर के नोट में लिखा था, हमने फूड डिलिवरी ग्रॉस ऑर्डर वैल्यू (जीओवी) के अनुमान में 1 से 2 फीसदी की कटौती की है। अब हम वैल्यू फूड डिलिवरी को वित्त वर्ष 26 के ईवी/एबिटा के 42 गुने पर आंक रहे हैं और क्विक कॉमर्स वित्त वर्ष 26 की कबिक्री के 3 गुना पर ताकि 100 रुपये के कीमत लक्ष्य पर पहुंचा जा सके। तब से यह शेयर करीब 14.5 फीसदी टूटा है और अभी 62 रुपये के स्तर पर है। इसकी तुलना में बीएसई सेंसेक्स में 0.7 फीसदी की गिरावट आई है।
दूसरी ओर, रिलायंस इंडस्ट्रीज और टाटा स्टील अब उसके तरजीही दांव में शामिल हैं। नंदूरकर व सिन्हा ने कहा है, चीन के बाजार दोबारा खुल रहे हैं और अमेरिका में सर्वोच्च ब्याज दर धातु पर सकारात्मक असर डाल सकता है। इसके परिणामस्वरूप उन्होंने टाटा स्टील व हिंडाल्को के अपने मॉडल पोर्टफोलियो में जोड़ा है और मैटीरियल सेक्टर का भारांक शून्य से तटस्थ कर दिया है।
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जेफरीज ने नोट में कहा है, हमने आरआईएल के भारांक में इजाफा किया है क्योंकि ओ2सी बिजनेस का लाभ चीन के बाजार के दोबारा खुलने से सुधर सकता है। नोट के मुताबिक, जेफरीज के मॉडल इंडिया पोर्टफोलियो ने निफ्टी 50 इंडेक्स के मुकाबले साल 2022 के पहले 10 महीने में 209 आधार अंक से उम्दा प्रदर्शन किया है।