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Adani-Hindenberg Issue: SEBI की विफलता का निष्कर्ष निकालना मुश्किल, पहली नजर में नहीं मिले हेराफेरी के सबूत-SC

छह सदस्यीय पैनल ने कहा कि "प्रथम दृष्टया (prima facie) में यह निष्कर्ष निकालना संभव नहीं कि अदाणी के शेयरों में कीमतों में हेराफेरी के आरोप में नियामकीय विफलता हुई है या नहीं।

Last Updated- May 19, 2023 | 2:58 PM IST
Supreme Court

अदाणी ग्रुप को हिंडनबर्ग मामले में सुप्रीम कोर्ट से बड़ी राहत मिली है। सुप्रीम कोर्ट की ओर से गठित एक्सपर्ट कमेटी को ग्रुप के खिलाफ जांच में कोई सबूत नहीं मिले हैं।

अदाणी समूह के खिलाफ हिंडनबर्ग रिसर्च रिपोर्ट मामले में सुप्रीम कोर्ट द्वारा गठित कमिटी ने अपनी रिपोर्ट में कहा कि वो इस निष्कर्ष तक नहीं पहुंच पाई है कि ग्रुप की कंपनियों के शेयरों में हेर-फेर पर निगरानी रखने में शेयर बाजार के रेग्यूलेटर सेबी अपनी भूमिका को निभाने में असफल रहा है।

सुप्रीम कोर्ट के छह सदस्यीय पैनल ने कहा कि “प्रथम दृष्टया (prima facie) में यह निष्कर्ष निकालना संभव नहीं होगा कि अदाणी के शेयरों में कीमतों में हेराफेरी के आरोप में नियामकीय विफलता हुई है या नहीं।”

अमेरिका की फाइनेंशियल रिसर्च और इन्वेस्टमेंट कंपनी हिंडनबर्ग रिसर्च की रिपोर्ट में अदाणी समूह के बारे में लगाये गये आरोपों की जांच के लिये उच्चतम न्यायालय ने इस समिति का गठन किया था।

समिति ने समूह की संबंधित इकाइयों के बीच लेनदेन के खुलासे के संबंध में भी यह बात कही। विशेषज्ञ समिति ने अपनी रिपोर्ट में कहा है कि 24 जनवरी को जब हिंडनबर्ग ने अपनी रिपोर्ट पेश की, उसके बाद भारतीय शेयर बाजार में बहुत ज्यादा उतार-चढ़ाव नहीं आया।

हिंडनबर्ग की रिपोर्ट में उद्योगपति गौतम अडाणी की अगुवाई वाले समूह पर ‘शेयरों में गड़बड़ी और लेखा धोखाधड़ी’ में शामिल होने का आरोप लगाया गया है। हालांकि समूह ने आरोपों को सिरे से खारिज करते हुए इसे पूरी तरह से आधारहीन बताया है।

(पीटीआई के इनपुट के साथ )

First Published - May 19, 2023 | 2:49 PM IST

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