facebookmetapixel
ओवैसी की एआईएमआईएम ने 25 उम्मीदवारों की पहली सूची जारी कीमाइक्रो ड्रामा को गंभीरता से लेना क्यों है अहम; छोटे, तेज और ज्यादा आकर्षकविदेशी मुद्रा भंडार में इजाफा: मूल्यांकन लाभ से बढ़ेंगे भारत के रिजर्व26 लाख दीयों से जगमग हो उठी अयोध्या नगरी, दीपोत्सव का बना नया विश्व रिकॉर्डEditorial: शेयर बाजार में सपाट प्रदर्शन, घरेलू निवेशकों का उत्साह बरकरारधनतेरस पर लक्जरी कारों की बिक्री में बढ़ोतरी, GST कटौती और फेस्टिवल ऑफर से बाजार गुलजारइंडसइंड बैंक की प्रबंधन टीम पुनर्गठित करना प्राथमिकता, राजीव आनंद ने तीन साल की रूपरेखा रखी लिशियस के राजस्व में 16 प्रतिशत का इजाफा, 45 प्रतिशत कम हुआ घाटाफिर से यह विश्वास जगा है कि भारत की स्थिति अच्छी है: जयंत आचार्यUP में ‘होम स्टे’ का बढ़ता चलन: कारोबारी ही नहीं आम लोगों की भी कमाई का बन रहा साधन

रिलायंस इंडस्ट्रीज को रिटेल से ताकत, ग्रोस रेवेन्यू ₹90,000 करोड़ के पार निकला; ब्रोकरेज हाउस हुए बुलिश

उपभोक्ता मांग ने वृद्धि की संभावनाओं को फिर से मजबूत बनाया और यह शेयर एक बार फिर विश्लेषकों का बना पसंदीदा

Last Updated- October 19, 2025 | 9:04 PM IST
Reliance Industries

रिटेल सेगमेंट में सुधार से बाजार मूल्य के हिसाब से देश की सबसे बड़ी सूचीबद्ध कंपनी रिलायंस इंडस्ट्रीज (आरआईएल) को वित्त वर्ष 2026 की जुलाई-सितंबर तिमाही के लिए ब्रोकरों की उम्मीदों के मुकाबले ज्यादा बेहतर प्रदर्शन करने में मदद मिली। दो कमजोर तिमाहियों के बाद, रिटेल के कायाकल्प ने इस समूह के संपूर्ण प्रदर्शन को बेहतर बनाया है।

जहां डिजिटल इकाई ने मजबूत तिमाही वृद्धि के साथ भी अनुमान से बेहतर प्रदर्शन किया, वहीं तेल-रसायन (ओ2सी) व्यवसाय का प्रदर्शन काफी हद तक बाजार अनुमान के अनुरूप रहा। दूसरी तिमाही के बेहतर प्रदर्शन, आगे बेहतर आय की उम्मीदों और अभी भी उचित मूल्यांकन के साथ, अधिकांश ब्रोकरेज इस शेयर को लेकर उत्साहित हैं।

दूसरी तिमाही में खुदरा क्षेत्र का रहा दबदबा

सकल राजस्व 90,000 करोड़ रुपये को पार कर गया, जो सालाना आधार पर 18 प्रतिशत से ज्यादा और तिमाही आधार पर लगभग 7 प्रतिशत बढ़ा। किराना, फैशन और लाइफस्टाइल सेगमेंटों ने 23 प्रतिशत और 22 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज की, जिसे त्योहारों पर होने वाले खर्च से बढ़ावा मिला।

कंज्यूमर इलेक्ट्रॉनिक्स से प्राप्त राजस्व में सालाना आधार पर 18 प्रतिशत की वृद्धि हुई, जिसे कम जीएसटी दरों और नए उत्पादों की पेशकश से मदद मिली। खुदरा परिचालन मार्जिन सालाना आधार पर 10 आधार अंक कम होकर 8.4 प्रतिशत रह गया।

मॉर्गन स्टैनली ने कहा कि खुदरा वितरण के क्षेत्र में जियोमार्ट और क्विक कॉमर्स (क्यूकॉम) तेजी से विस्तार कर रहे हैं। जियोमार्ट ने वित्त वर्ष 2026 की दूसरी छमाही में 58 लाख नए ग्राहक जोड़े, जो पिछली तिमाही से दोगुने से भी ज्यादा है, जबकि क्यूकॉम सेवाएं अब इलेक्ट्रॉनिक्स के लिए भी उपलब्ध हैं। विश्लेषकों मयंक माहेश्वरी और गौरव रतेरिया के अनुसार क्यूकॉम वॉल्यूम में 42 प्रतिशत की वृद्धि एक सकारात्मक आश्चर्य के रूप में सामने आई है।

मैक्वेरी कैपिटल ने कहा कि खुदरा क्षेत्र में वृद्धि मजबूत रही। विश्लेषकों आदित्य सुरेश और बैजू जोशी ने पाया कि मार्जिन स्थिर रहा, जबकि जियोमार्ट के ग्राहकों की संख्या तिमाही आधार पर दोगुनी से ज्यादा हो गई। उन्होंने कहा कि हाइपरलोकल कॉमर्स तेजी से बढ़ रहा है और दैनिक ऑर्डर एक साल पहले की तुलना में तीन गुना बढ़ गए हैं।

​डिजिटल (दूरसंचार) व्यवसाय में भी शानदार तेजी देखी गई। इस व्यवसाय का परिचालन लाभ तिमाही आधार पर 3.1 फीसदी बढ़ा। ग्राहक वृद्धि 83 लाख के साथ मजबूत रही, जबकि प्रति उपयोगकर्ता औसत राजस्व (एआरपीयू) 211.4 रुपये रहा, क्योंकि इसे कस्टमर अपग्रेड और तिमाही में अतिरिक्त दिन से मदद मिली।

जियोएयरफाइबर का विस्तार जारी रहा और वित्त वर्ष 2026 की दूसरी तिमाही के अंत तक यह 95 लाख कनेक्शन तक पहुंच गया, जो पहली तिमाही के 74 लाख कनेक्शन से ज्यादा था। कुल घरेलू कनेक्शन अब 2.3 करोड़ हो गए हैं और कंपनी का लक्ष्य 10 करोड़ घरेलू ग्राहकों के अपने लक्ष्य तक पहुंचना है।

ओ2सी व्यवसाय में परिचालन लाभ सालाना आधार पर 21 फीसदी बढ़ा, जो अनुमान के अनुरूप है। इसका मतलब सकल रिफाइनिंग मार्जिन 9.5-10 डॉलर प्रति बैरल है। कंपनी ने कहा कि यह वार्षिक सुधार फ्यूल क्रैक्स में तेज सुधार और बेहतर पॉलिमर डेल्टा के कारण हुआ है। तिमाही आधार पर मजबूत फ्यूल क्रैक्स की भरपाई पश्चिम एशियाई कच्चे तेल की कीमतों में बढ़ोतरी और कमजोर डाउनस्ट्रीम मार्जिन से आंशिक रूप से हुई।

इस शेयर पर अपनी ‘आउटपरफॉर्म’रेटिंग बरकरार रखने वाली मैक्वेरी ने कहा कि दूसरी तिमाही रिटेल, ओ2सी और जियोस्टार सेगमेंटों की मदद से आय में सुधार का संकेत है। समूह की आय वृद्धि में सुस्ती के बाद, यह वित्तीय परिणाम 2024-25 से 2027-28 तक लगभग 15 प्रतिशत वार्षिक वृद्धि के अनुमान के अनुरूप है।

मॉर्गन स्टैनली का मानना है कि रेटिंग में बदलाव की संभावना है, क्योंकि कंज्यूमर रिटेल ने खोया आधार फिर हासिल किया है और यह अनुमान से बेहतर रहा है।

प्रबंधन के भरोसेमंद मार्गदर्शन के साथ तीसरी तिमाही (अक्टूबर-दिसंबर) के लिए खासकर खुदरा और रिफाइनिंग के लिए स्थिति आशाजनक दिख रही है। ब्रोकरेज ने कहा कि नई ऊर्जा और एआई अगले 50 अरब डॉलर के मूल्य सृजन को गति दे सकते हैं। ब्रोकरेज ने इस शेयर को ‘ओवरवेट’ रेटिंग दी है।

जेएम फाइनैं​शियल सर्विसेज ने भी इस शेयर के लिए ‘खरीदें’ रेटिंग बरकरार रखी है। विश्लेषक दयानंद मित्तल ने कहा कि शेयर में ताजा गिरावट के बाद मूल्यांकन आकर्षक दिख रहा है। उनका अनुमान है कि पूंजीगत व्यय में कमी आने और आंतरिक नकदी सृजन में मजबूती आने के साथ ही आरआईएल का शुद्ध ऋण धीरे-धीरे कम होगा।

First Published - October 19, 2025 | 9:04 PM IST

संबंधित पोस्ट