विश्व व्यापार संगठन ने आज कहा कि सेवा में वैश्विक कारोबार सुधर रहा है, लेकिन अभी यह महामारी के पहले के स्तर पर नहीं पहुंचा है। सर्विस ट्रेड बैरोमीटर (एसटीबी) की रीडिंग 102.5 है। इससे पता चलता है कि अप्रैल-सितंबर के दौरान सेवाओं की मात्रा में सुधार जारी रहेगा। एक आधिकारिक बयान में कहा गया है, ‘बहरहाल हकीकत यह है कि हाल में संकेतक नीचे गए हैं, जिससे पता चलता है कि अगर कोविड-19 सेवा कारोबार को प्रभावित करना जारी रखता है तो यह नए कम अनुमान की ओर जा सकता है।’
इसकी 100 रीडिंग मध्यावधि ट्रेंड में वृद्धि के संकेत देती है, जबकि 100 से ज्यादा और इससे कम रीडिंग क्रमश: धारणा से ऊपर और इससे कम वृद्धि के संकेत देती है।
हालांकि ज्यादातर कंपोनेंट संकेतक की धारणा ऊपर है, लेकिन कुल मिलाकर मिश्रित तस्वीर है। निर्माण सूचकांक (97.4) गिरकर ट्रेंड के नीचे आ गया है, जबकि आईसीटी सेवाओं का सूचकांक (100) और हवाई यात्रियों का सूचकांक (105.6) हाल में बढ़ा है, हालांकि यह अभी भी महामारी के पहले के स्तर की तुलना में बहुत नीचे है। ग्लोबल सर्विसेज पर्चेजिंग मैनेजर्स इंडेक्स (102.7) और वित्तीय सेवाएं (100.2) सूचकांकों से संकेत मिलता है कि वृद्धि की रफ्तार सुस्त रही है।
कंटेनर शिपिंग की वृद्धि (106.8) रिकॉर्ड स्तर पर पहुंचने के बाद सुस्त हुई है। डब्ल्यूटीओ ने कहा है कि हाल में शिपिंग की लागत में बढ़ोतरी वस्तुओं के वैश्विक आपूर्ति में बढ़ोतरी और आपूर्ति की कमी की वजह से हुई है।
डब्ल्यूटीओ ने कहा, ‘सेवा कारोबार का हाल का प्रदर्शन 2008-09 के वित्तीय संकट से अलग है, जब सेवाओं का कारोबार वस्तुओं के कारोबार की तुलना में ज्यादा लचीला था। सेवाओं के कारोबार में सालाना वृद्धि दूसरी तिमाही में पहले के साल के कम आधार के कारण मजबूत रही है।’
भारत का सेवाओं का निर्यात सूचना तकनीक और आईटी सक्षम सेवाओं पर केंद्रित रहा है, जिसने अपने वैश्विक प्रतिद्वदियों की तुलना में बेहतर प्रदर्शन किया है। भारत के वाणिज्य विभाग के आंकड़ों के मुताबिक अगस्त महीने में सेवाओं का निर्यात 18.92 अरब डॉलर रहा है, जो पिछले साल की समान अवधि की तुलना में 17.22 प्रतिशत और 2019 की समान अवधि की तुलना में 7.83 प्रतिशत ज्यादा है। चालू वित्त वर्ष के पहले 5 महीने में कुल मिलाकर सेवाओं का निर्यात 92.08 अरब डॉलर रहा है।
