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Lok Sabha Elections: पांचवें चरण में महिला उम्मीदवारों की संख्या 12% से भी कम

विश्लेषण के मुताबिक 33 प्रतिशत उम्मीदवार ‘करोड़पति’ हैं। प्रति उम्मीदवार औसत संपत्ति 3.56 करोड़ रुपये पाये गई।

Last Updated- May 12, 2024 | 8:39 PM IST
Lok Sabha Elections 2024 is the second longest electoral program after independence, gender ratio also improved लोकसभा चुनाव 2024 आजादी के बाद दूसरा सबसे लंबा चुनावी कार्यक्रम, लिंगानुपात भी हुआ बेहतर

मौजूदा लोकसभा चुनाव (Lok Sabha Elections) के पांचवें चरण के कुल 695 उम्मीदवारों में महिलाओं की संख्या केवल 82 है जो कुल उम्मीदवारों के मुकाबले 12 फीसदी से भी कम है।

इसी के साथ जारी आम चुनाव में महिलाओं का प्रतिनिधित्व निराशाजनक रूप से निम्नतम स्तर पर बरकरार है। मतदान अधिकार निकाय एडीआर ने विश्लेषण के आधार पर यह जानकारी दी।

एसोसिएशन फॉर डेमोक्रेटिक रिफॉर्म्स (ADR) के विश्लेषण से पता चला है कि लगभग 23 प्रतिशत उम्मीदवार ने अपने खिलाफ आपराधिक मामले घोषित किए हैं और लगभग 18 प्रतिशत उम्मीदवारों के खिलाफ गंभीर आपराधिक मामले लंबित हैं।

एडीआर ने कहा कि 20 मई को पांचवें चरण में कुल 695 उम्मीदवारों में केवल 82 (11.79 फीसदी) महिलाएं हैं। चुनाव के पहले चरण में 135 (आठ प्रतिशत) महिला उम्मीदवारों ने चुनाव लड़ा, जबकि दूसरे चरण में यह आंकड़ा 100 (आठ प्रतिशत) था। इसी तरह, चुनाव के तीसरे चरण में 123 (नौ प्रतिशत) तो चौथे चरण में 170 (10 प्रतिशत) महिला उम्मीदवारों ने चुनाव लड़ा।

पांचवें चरण में जांच के दायरे में आने वाले 695 उम्मीदवारों में से 18 प्रतिशत (122 उम्मीदवार) पर गंभीर आपराधिक मामले लंबित हैं, जिनमें हत्या, हत्या का प्रयास, महिलाओं के खिलाफ अपराध और नफरत फैलाने वाले भाषण शामिल हैं। तीन उम्मीदवारों ने अपने खिलाफ दोष सिद्धि की घोषणा की है।

एडीआर और ‘नेशनल इलेक्शन वॉच’ ने पांचवें चरण में चुनाव लड़ने वाले उम्मीदवारों की आपराधिक पृष्ठभूमि, वित्तीय स्थिति, शिक्षा और लैंगिक पहचान जानने के लिए उनके द्वारा दायर किए गए हलफनामों का विश्लेषण किया। रिपोर्ट में आपराधिक मामलों का पार्टी-वार ब्योरा भी दिया गया है।

प्रमुख पार्टियों में एआईएमआईएम के चार में से दो (50 फीसदी), समाजवादी पार्टी (SP) के 10 में से चार (40 फीसदी), कांग्रेस के 18 में से सात (39 फीसदी), शिवेसना के छह में से दो (33 फीसदी), भाजपा के 40 में से 12 (30 प्रतिशत) उम्मीदवारों ने खुद घोषित किया है कि उन पर गंभीर आपराधिक मामले हैं।

इसी तरह टीएमसी के सात में से दो (29 प्रतिशत), राष्ट्रीय जनता दल (राजद) के चार में से एक (25 प्रतिशत), शिवसेना (यूबीटी) के आठ में से एक (13 प्रतिशत) उम्मीदवारों ने अपने खिलाफ गंभीर आपराधिक मामले घोषित किए हैं।

एडीआर की रिपोर्ट के मुताबिक, 29 उम्मीदवारों ने महिलाओं के खिलाफ अपराध से संबंधित मामले घोषित किए हैं। इन 29 उम्मीदवारों में से एक ने बलात्कार (भारतीय दंड संहिता की धारा 376) से संबंधित आरोप होने की घोषणा की है, जबकि 10 उम्मीदवारों ने अपने खिलाफ नफरत फैलाने वाला भाषण देने से संबंधित मामले घोषित किए हैं।

33 प्रतिशत उम्मीदवार ‘करोड़पति

विश्लेषण के मुताबिक 33 प्रतिशत उम्मीदवार ‘करोड़पति’ हैं। प्रति उम्मीदवार औसत संपत्ति 3.56 करोड़ रुपये पाये गई। सबसे अधिक संपत्ति वाले शीर्ष तीन उम्मीदवारों ने 110 करोड़ रुपये से लेकर 212 करोड़ रुपये तक की संपत्ति घोषित की है।

एडीआर ने कहा कि उम्मीदवारों की शैक्षणिक योग्यताएं चिंता पैदा करती हैं, क्योंकि 42 प्रतिशत उम्मीदवारों की योग्यता 5वीं और 12वीं कक्षा के बीच है, केवल 50 प्रतिशत उम्मीदवार स्नातक या इससे अधिक है।

एडीआर ने कहा कि 26 उम्मीदवार डिप्लोमाधारक हैं, जबकि 20 उम्मीदवार केवल साक्षर हैं और पांच उम्मीदवार निरक्षर हैं।

First Published - May 12, 2024 | 8:39 PM IST (बिजनेस स्टैंडर्ड के स्टाफ ने इस रिपोर्ट की हेडलाइन और फोटो ही बदली है, बाकी खबर एक साझा समाचार स्रोत से बिना किसी बदलाव के प्रकाशित हुई है।)

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