अदाणी ग्रुप के चेयरमैन गौतम अदाणी ने आज मुंबई के जय हिंद कॉलेज के छात्रों को संबोधित करते हुए कहा कि अगले 10 सालों में भारत की अर्थव्यवस्था में हर 18 महीने में एक ट्रिलियन डॉलर जुड़ेंगे। यह संभव होगा क्योंकि भारत सरकार द्वारा शुरू की गई कई बड़ी योजनाओं और लगातार चल रहे आर्थिक और सामाजिक सुधारों का फायदा मिलेगा।
अदाणी ने कहा कि आज़ादी के बाद भारत को अपनी GDP का पहला ट्रिलियन डॉलर तक पहुंचने में 58 साल लगे, दूसरा ट्रिलियन 12 साल में हासिल किया, और तीसरा ट्रिलियन सिर्फ 5 साल में। उन्होंने अनुमान लगाया कि अगले दशक में भारत हर 18 महीने में एक ट्रिलियन डॉलर जोड़ेगा, जिससे 2050 तक भारत की अर्थव्यवस्था 25 से 30 ट्रिलियन डॉलर की हो जाएगी। यह तेज़ी से हो रहा विकास हम सभी के लिए बड़े अवसर लेकर आएगा।
चुनौतियों का सामना करने को तैयार भारत
गौतम अदाणी ने कहा कि भारत, हर देश की तरह, चुनौतियों का सामना करेगा। हालांकि, उन्होंने यह विश्वास जताया कि पिछले दशक में हुए व्यापक विकास को देखते हुए, हम इन चुनौतियों से निपटने के लिए आर्थिक रूप से सक्षम होंगे। उन्होंने अपने समूह के संघर्षों को याद करते हुए बताया कि कैसे कई संकटों से जूझते हुए अदाणी ग्रुप आज एक विशाल कॉन्ग्लोमरेट बन गया है।
हिंडनबर्ग रिपोर्ट का जिक्र
अदाणी ने विशेष रूप से जनवरी 2022 में अमेरिकी शॉर्ट सेलर हिंडनबर्ग रिसर्च की रिपोर्ट का जिक्र किया, जिसके बाद ग्रुप के शेयरों में $150 बिलियन की गिरावट आई थी, लेकिन समूह ने जल्द ही इसे संभाल लिया। उन्होंने कहा, “यह सिर्फ एक वित्तीय हमला नहीं था, बल्कि यह दोहरा हमला था जो हमारी आर्थिक स्थिरता को निशाना बना रहा था और हमें राजनीतिक विवादों में घसीटने का प्रयास था। यह चाल हमारे फॉलो-ऑन पब्लिक ऑफर की समाप्ति से कुछ दिन पहले ही चली गई थी ताकि अधिकतम नुकसान पहुंचाया जा सके, और इसे कुछ मीडिया द्वारा और बढ़ावा दिया गया जिनके अपने स्वार्थ थे।”
उथल-पुथल के बीच हमने असाधारण निर्णय लिया: गौतम अदाणी
गौतम अदाणी ने कहा, “इस उथल-पुथल के बीच हमने एक असाधारण निर्णय लिया। भारत के सबसे बड़े FPO के माध्यम से 20,000 करोड़ रुपये जुटाने के बाद, हमने यह राशि लौटाने का फैसला किया, ताकि हम अपने मूल्यों के प्रति अपनी प्रतिबद्धता को दिखा सकें।” उन्होंने यह भी बताया कि इसके बाद समूह ने अन्य स्रोतों से भी हजारों करोड़ रुपये जुटाए और अपने डेब्ट-टू-एबिटडा (Ebitda) अनुपात को 2.5 से नीचे ले आया, जो कि दुनिया की सबसे मजबूत इंफ्रास्ट्रक्चर कंपनियों के बीच भी एक असाधारण आंकड़ा है।
अदाणी ने यह भी कहा, “हमारे सर्वकालिक रिकॉर्ड वित्तीय परिणाम, जो हमले के बीच हासिल किए गए, हमारी संचालन क्षमता के प्रति हमारी प्रतिबद्धता को दर्शाते हैं। इस उत्कृष्टता को वैश्विक रेटिंग एजेंसियों, वित्तीय समुदाय और निवेशकों जैसे GQG पार्टनर्स, TotalEnergies, IHC, QIA और अमेरिकी विकास वित्त निगम (US Development Finance Corporation) के समर्थन से भी पूरी तरह से मान्यता मिली।”