ChatGPT बनाने वाली कंपनी OpenAI भारत में कम-से-कम 1 GW क्षमता वाला डाटा सेंटर स्थापित करने के लिए लोकल पार्टनर तलाश कर रही है। यह जानकारी रॉयटर्स ने ब्लूमबर्ग न्यूज के हवाले से दी है। माइक्रोसॉफ्ट समर्थित OpenAI ने भारत में औपचारिक रूप से एक लीगल फर्म के रूप में रजिस्ट्रेशन करा लिया है और स्थानीय टीम का बनानी शुरू कर दी है। कंपनी ने अगस्त में कहा था कि वह इस साल के अंत तक नई दिल्ली में अपना पहला कार्यालय खोलेगी, ताकि अपने दूसरे सबसे बड़े यूजर मार्केट में मौजूदगी बढ़ा सके।
ब्लूमबर्ग के मुताबिक, नया डाटा सेंटर एशिया में OpenAI की स्टारगेट ब्रांडेड AI इन्फ्रास्ट्रक्चर के लिए एक अहम कदम साबित हो सकता है। हालांकि, भारत प्रोजेक्ट का सटीक स्थान और समय-सीमा अभी स्पष्ट नहीं है। सीईओ सैम ऑल्टमैन सितंबर में भारत दौरे के दौरान इस पर विस्तृत जानकारी दे सकते हैं।
स्टारगेट (प्राइवेट सेक्टर की AI इन्फ्रा मुहिम), की घोषणा अमेरिका के राष्ट्रपति डॉनल्ड ट्रंप ने जनवरी में की थी। इस परियोजना को SoftBank, OpenAI, और Oracle का समर्थन मिला है, जिसमें 500 अरब डॉलर तक का निवेश प्रस्तावित है।
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OpenAI ने पिछले हफ्ते एक बड़े कदम की घोषणा की, जिसके अंतर्गत भारत में छात्रों और शिक्षकों को छह महीने के लिए 5 लाख मुफ्त ChatGPT लाइसेंस दिए जाएंगे। यह योजना सरकारी स्कूलों (कक्षा 1 से 12 तक), इंजीनियरिंग और तकनीकी संस्थानों तथा K-12 शिक्षकों को कवर करेगी।
OpenAI की वाइस प्रेसिडेंट (एजुकेशन) लीया बेल्स्की ने एक मीडिया ब्रीफिंग में कहा, “हमें भरोसा है कि आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) छात्रों के लिए शिक्षा को बदलने की क्षमता रखता है। एआई एक पर्सनल आजीवन ट्यूटर और लर्निंग एजेंट बन सकता है। शिक्षकों के लिए, एआई समय बचाकर उन्हें पढ़ाने के मुख्य हिस्से पर ज्यादा फोकस करने में मदद कर सकता है।” इस पहल को OpenAI लर्निंग एक्सेलरेटर नाम दिया गया है और यह इंडिया-फर्स्ट प्रोग्राम है।
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बेल्स्की ने स्पष्ट किया कि ओपनएआई इन मुफ्त लाइसेंसों से पैसा कमाने की कोशिश नहीं कर रहा है। उन्होंने कहा, “फिलहाल फोकस केवल एक्सेस और ट्रेनिंग पर है।” उन्होंने आगे कहा, “व्यापक तौर पर हमारी उम्मीद यह है कि हम शिक्षकों को फोकस करते हुए 5 लाख यूजर्स का ग्रुप तैयार कर सके, जिससे यह जाना जा सके कि वे चैटजीपीटी का उपयोग कैसे कर रहे हैं और फिर उन सीखों को दोहराया जा सके। यही इस पहल का असली फोकस है।”
भारत में ये चैटजीपीटी लाइसेंस शिक्षा मंत्रालय (MoE), अखिल भारतीय तकनीकी शिक्षा परिषद (AICTE) और एसोसिएशन फॉर रिइन्वेंटिंग स्कूल एजुकेशन (ARISE) से संबद्ध स्कूलों के सहयोग से डिस्ट्रीब्यूट किए जाएंगे।