बेंचमार्क सूचकांकों में मार्च के न्यूनतम स्तर से तेज उछाल नजर आ रही है। विशेषज्ञों के मुताबिक इसमें आंशिक योगदान खुदरा निवेशकों की संख्या में बढ़ोतरी का है। और, बीएसई के आंकड़ों से पता चलता है कि पंजीकृत उपयोगकर्ताओं की संख्या में यह उछाल मणिपुर, तेलंगाना और अरुणाचल प्रदेश जैसे राज्यों में इनकी संख्या में अच्छी खासी बढ़ोतरी होने के कारण से है।
विगत वर्ष में मणिपुर में ग्राहक आधार में सबसे तीव्र उछाल आई है। 12 अक्टूबर को 33,901 पंजीकृत ग्राहकों के साथ आधार में सालाना आधार पर 183 फीसदी की भारी वृद्घि दर्ज की गई। तेलंगाना में यह संख्या 152 फीसदी की वृद्घि के साथ 13.8 लाख हो गई। अरुणाचल प्रदेश में उपयोगकर्ताओं की संख्या 8,385 है, इस प्रकार इसमें 90 फीसदी का इजाफा हुआ है। मिजोरम में उपयोगकर्ताओं की संख्या 86 फीसदी की वृद्घि के साथ 3,876 है और लक्षद्वीप में 305 उपयोगकर्ता हैं। यहां संख्या में 73 फीसदी की वृद्घि हुई है। बीएसई के आंकड़ों से पता चलता है कि पंजीकृत उपयोगकर्ताओं की संख्या में वृद्घि के लिहाज से उक्त शीर्ष पांच राज्य हैं।
अगस्त में लगातार तीसरे महीने 10 लाख नए डीमैट खाते खुले जिसके साथ कुल खुदरा खातों की संख्या बढ़कर 4.446 करोड़ हो गई। साल के आरंभ से अब तक 60 लाख से अधिक डीमैट खाते खुले हैं जो कि एक रिकॉर्ड है। बीएसई के मुताबिक 12 अक्टूबर को पंजीकृत निवेशक आधार 55 करोड़ के पार हो गया। इस प्रकार इसमें सालाना आधार पर 37 फीसदी से अधिक का इजाफा हुआ। आईडीबीआई कैपिटल के शोध प्रमुख एके प्रभाकर ने कहा कि नए डीमैट खातों में यह वृद्घि विशेष तौर पर राष्टï्रव्यापी लॉकडाउन के बाद अधिक तेज रही थी।
प्रभाकर ने कहा, ‘चूंकि देश लॉकडाउन में अटका था ऐसे में कुछ लोगों ने बेहतर रिटर्न पाने के लिए सावधि जमा जैसे परंपरागत ठिकाने को अपनाने की बजाय स्टॉक ट्रेडिंग का विकल्प अपनाया। इसमें ऑनलाइन ट्रेडिंग खाता खुलने से मदद मिली। साथ ही इन राज्यों में पहले बहुत कम संख्या में लोग ट्रेडिंग कर रहे थे लेकिन यहां ट्रेडिंग गतिविधि में अचानक से उछाल आने से पूरी तस्वीर पूरी तरह से बदल गई।’
उपयोगकर्ताओं के आधार में इस उछाल की वजह से सोमवार को निफ्टी एक दिनी कारोबार 12,000 की ऊंचाई को छूटकर 11,930.95 अंकों पर बंद हुआ। हालांकि, भौगोलिक प्रसार में इजाफा होने से राज्यों की समग्र रैंकिंग पर हल्का असर पड़ा।
