उभोक्ताओं को न चाहते हुए भी कई बार लोकल दूकान या मकैनिक की बजाय कंपनी से ही अपना सामान ठीक करवाना पड़ता है। इसके लिए कंपनियां भारी चार्ज भी लेती है।
लोगों को वारंटी खत्म होने के डर से मज़बूरी में कंपनी से ही अपना सामान ठीक करवाना पड़ता है। इसी को देखते हुए सरकार ने अब कदम उठाया है।
अब आप अपना इलेक्ट्रॉनिक सामान, स्मार्टफोन या वाहन वारंटी पीरियड में किसी भी लोकल मैकेनिक से ठीक करवा सकते है। सरकार दरअसल एक ऐसा कानून लेकर आई है जिससे अगर आप वाहन की वारंटी के बीच किसी लोकल मैकेनिक से अपनी गाड़ी को रिपेयर करवाते हैं तो आप की गारंटी या वारंटी खत्म नहीं होगी।
सरकार ने शुरू की राइट टू रिपेयर पहल
भारत सरकार ने आपके इलेक्ट्रॉनिक आइटम और ऑटोमोबाइल की वारंटी की रक्षा के लिए राइट टू रिपेयर पहल शुरू की है। इसकी मदद से आप इलेक्ट्रॉनिक आइटम और ऑटोमोबाइल जैसे कार और बाइक की अपनी मर्जी से किसी भी थर्ड पार्टी वर्कशॉप से मरम्मत करवा सकते हैं और आपके डिवाइस या वाहन की वारंटी खत्म नहीं होगी। सरकार ने इसके लिए पोर्टल भी लॉन्च किया है।
क्या है राइट टू रिपेयर कानून ? उभोक्ताओं को कैसे होगा फायदा ?
सरकार ने राइट टू पोर्टल नाम से एक नए पोर्टल की शुरुआत की है। इसके तहत कई कंपनियों को रजिस्टर्ड किया जा रहा है और अब किसी भी प्रोडक्ट के पार्ट की रिपेरिंग के लिए आपको भटकना नहीं पड़ेगा।
बता दें कि राइट टू रिपेयर पोर्टल पर फॉर्मिंग सेक्टर से लेकर मोबाइल और अन्य कंपनियां शामिल हैं। इस पोर्टल पर फ्रीज, मोबाइल, मोटरबाइक, कार आदि के पुराने से पुराने पार्ट की जानकारी दी जाएगी जो बाजार में अब मुश्किल से ही मिलते है।
पोर्टल पर साथ ही ये भी जानकारी दी जाएगी कि आपको रिपेयर कराने और पुराने पार्ट को बदलने में कितना खर्च आएगा। कंपनियों को पुराने पार्ट देना ही होगा।