एक संसदीय पैनल ने मंगलवार को नागर विमानन महानिदेशालय (डीजीसीए) से कहा कि वह घरेलू विमानन कंपनियों के समूचे विमान बेड़ों की व्यापक सुरक्षा जांच कराए, हवाई किराए में इजाफे को नियंत्रित करने की प्रणाली बनाए, खासकर पहलगाम आतंकी हमले के बाद जिस तरह किराए बढ़े थे उसे देखते हुए। इसके अलावा हवाई अड्डों द्वारा लगाए जाने वाले यूजर शुल्क में एकरूपता लाने की बात भी कही गई।
संसद की लोक लेखा समिति (पीएसी) की मंगलवार को हुई बैठक के एजेंडे में नागरिक उड्डयन मंत्रालय के सचिव, डीजीसीए, भारतीय विमानपत्तन प्राधिकरण, हवाई अड्डा संचालकों, नागर विमानन क्षेत्र के संगठनों और विमानन कंपनियों के प्रतिनिधियों से ‘सार्वजनिक अधोसंरचना एवं अन्य सार्वजनिक उपयोगिताओं पर शुल्क, टैरिफ, उपयोग शुल्क आदि लगाने और विनियमन’ आदि विषयों पर मौखिक साक्ष्य लेना शामिल था। बैठक में तीन मुद्दों पर ध्यान केंद्रित किया गया। ये थे- उपयोगकर्ता शुल्क, हवाई किराए में बढ़ोत्तरी और सुरक्षा।
बैठक में सदस्यों ने डीजीसीए से कहा कि वह हवाई सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए जरूरी उपाय करे। समिति ने डीजीसीए से कहा कि वह घरेलू विमानन कंपनियों के सभी यात्री विमानों की व्यापक सुरक्षा जांच कराए। उसने 12 जून को अहमदबाद-लंदन उड़ान के हादसे में 241 लोगों के मारे जाने के बाद एयर इंडिया के बोइंग 787 ड्रीमलाइनर बेड़े की जांच को अपर्याप्त करार दिया।
समिति के सदस्यों ने उपयोगकर्ता शुल्क को यात्रियों से वसूले जाने, घरेलू और अंतरराष्ट्रीय यात्रियों के लिए शुल्क में अंतर और भारतीय विमानपत्तन प्राधिकरण तथा निजी कंपनियों द्वारा संचालित हवाई अड्डों पर वसूल किए जाने वाले शुल्क में अंतर को भी रेखांकित किया। देश में जीएमआर और अदाणी एयरपोर्ट होल्डिंग लिमिटेड जैसी कंपनियां भी हवाई अड्डे संभालती हैं। उन्होंने यह भी सुझाव दिया कि उपयोगकर्ता शुल्क में एकरूपता होनी चाहिए और इनकी समीक्षा करके एक फॉर्मूला तय करना चाहिए ताकि ऐसे शुल्क तय किए जा सकें।
समिति के सदस्यों ने डीजीसीए से उत्तर प्रदेश में आयोजित महाकुंभ के समय विमान किरायों में इजाफे को लेकर भी सवाल किए लेकिन सबसे प्रमुख था गत अप्रैल में पहलगाम आतंकी हमलों के बाद श्रीनगर से आने वाली उड़ानों के भारी भरकम किराए का मुद्दा। विमानन नियामक डीजीसीए ने समिति को बताया कि वह इन किरायों में वृद्धि को नियंत्रित करने के लिए उपाय करेगा।
कांग्रेस के लोक सभा सदस्य केसी वेणुगोपाल के नेतृत्व वाली पीएसी ने यह भी पूछा कि अहमदाबाद विमान हादसे की जांच रिपोर्ट कब तक आने की उम्मीद है। चूंकि जांच अभी जारी है इसलिए इस मामले को लेकर कोई विस्तृत चर्चा नहीं हुई।
सूत्रों के मुताबिक एयर इंडिया के मुख्य कार्यकारी अधिकारी और प्रबंध निदेशक कैंपबेल विल्सन ने समिति से कहा कि उनकी कंपनी 2027 तक दो सालों में अपने समूचे बड़े से जुड़ी सीट तथा अन्य सुविधाओं की शिकायतों को दूर करेगी लेकिन उसे आपूर्ति की दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। उन्होंने कहा कि एयर इंडिया उड़ान सुरक्षा को लेकर प्रतिबद्ध है।
विमान किराए में वृद्धि के बारे में एक अधिकारी ने कहा कि डीजीसीए कंपनियों से बात करेगा कि वे इसे लेकर एक व्यवस्था बनाएं। समिति में शामिल भारतीय जनता पार्टी के एक सदस्य ने आश्चर्य जताया कि क्या आम सहमति के अभाव में यह अनुचित व्यवहार जारी रहेगा, जबकि कुछ अन्य ने कहा कि विमानन नियामक के पास ऐसे मामलों में कार्रवाई करने का अधिकार है। सूत्रों ने कहा कि डीजीसीए ने कहा कि वह किराये में अनुचित बढ़ोतरी रोकने के लिए दिशानिर्देश जारी करेगा।
बैठक में शामिल अन्य लोगों में एयरपोर्ट इकनॉमिक रेग्युलेटरी अथॉरिटी ऑफ इंडिया, एएआई कार्गो लॉजिस्टिक्स और एलाइड सर्विसेज कंपनी लिमिटेड तथा ब्यूरो ऑफ सिविल एविएशन सिक्युरिटी के अधिकारी शामिल थे। इसके अलावा विभिन्न विमानन कंपनियों मसलन एयर इंडिया, स्पाइसजेट और इंडिगो तथा हवाई अड्डा संचालन कंपनियों मसलन अदाणी एयरपोर्ट होल्डिंग लिमिटेड के अधिकारी भी मौजूद थे।