भारत में कोविड-19 टीकों की अब तक दी गई खुराकों की संख्या गुरुवार को 100 करोड़ के पार चली गई और इसी के साथ देश ने कोरोनावायरस से बचाव के अपने टीकाकरण कार्यक्रम में एक बड़ी उपलब्धि हासिल की। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस मौके पर कहा कि देश के पास पिछले 100 वर्ष की सबसे बड़ी वैश्विक महामारी का मुकाबला करने के लिए अब एक मजबूत सुरक्षा कवच है। आधिकारिक सूत्रों के अनुसार, देश में टीकाकरण के पात्र वयस्कों में से करीब 75 प्रतिशत लोगों को कम से कम एक खुराक लग चुकी है, जबकि करीब 31 प्रतिशत लोगों को टीके की दोनों खुराक लग चुकी हैं। देश में टीकों की सर्वाधिक खुराक देने वाले शीर्ष पांच राज्यों में उत्तर प्रदेश, महाराष्ट्र, पश्चिम बंगाल, गुजरात और मध्य प्रदेश शामिल हैं। मोदी ने टीकाकरण की इस उपलब्धि को भारतीय विज्ञान, उद्यम और 130 करोड़ भारतीयों की सामूहिक भावना की जीत करार दिया और दिल्ली में मौजूद राम मनोहर लोहिया (आरएमएल) अस्पताल का दौरा किया जहां उन्होंने स्वास्थ्यकर्मियों और अग्रिम पंक्ति के कर्मियों तथा टीका लगवाने पहुंचे लाभार्थियों से बात की। प्रधानमंत्री ने अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) के झज्जर परिसर में बने राष्ट्रीय कैंसर संस्थान (एनसीआई) में इन्फोसिस फाउंडेशन विश्राम सदन का उद्घाटन करने के बाद वीडियो कॉन्फ्रेंस में कहा कि 21 अक्टूबर, 2021 का यह दिन इतिहास में दर्ज हो गया है। भारत ने कुछ ही देर पहले टीकों की 100 करोड़ खुराक देने का आंकड़ा पार किया। उन्होंने कहा, 'पिछले 100 वर्ष की सबसे बड़ी वैश्विक महामारी से निपटने के लिए देश के पास अब टीकों की 100 करोड़ खुराक का एक मजबूत सुरक्षा कवच है। यह भारत की, भारत के हर नागरिक की उपलब्धि है।' इस उपलब्धि को हासिल करने के मौके पर प्रधानमंत्री राम मनोहर लोहिया अस्पताल भी पहुंचे। उन्होंने वहां अस्पताल के अधिकारियों, कर्मियों और कुछ लाभार्थियों के साथ बातचीत की। इस दौरान केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मांडविया भी उनके साथ मौजूद थे। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के आंकड़ों के अनुसार, देश में टीकाकरण मुहिम शुरू होने के 85 दिन बाद तक 10 करोड़ खुराक लगाई जा चुकी थीं, इसके 45 और दिन बाद भारत ने 20 करोड़ का आंकड़ा छुआ और उसके 29 दिन बाद यह संख्या 30 करोड़ पहुंच गई। देश को 30 करोड़ से 40 करोड़ तक पहुंचने में 24 दिन लगे और इसके 20 और दिन बाद 6 अगस्त को देश में टीकों की दी गई खुराकों की संख्या बढ़कर 50 करोड़ पहुंच गई। इसके बाद उसे 100 करोड़ के आंकड़े तक पहुंचने में 76 दिन लगे। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के अनुसार कोविड से बचाव के टीकाकरण अभियान को 100 करोड़ खुराक के आंकड़े तक पहुंचने में भारत को 279 दिन लगे हैं। प्रधानमंत्री ने ट्वीट किया, 'आज, जब भारत ने वैक्सीन सेंचुरी हासिल कर ली है, मैं डॉ. राम मनोहर लोहिया अस्पताल के एक टीकाकरण केंद्र में गया। टीका हमारे नागरिकों के जीवन में गर्व और सुरक्षा लेकर आया है।' मोदी ने व्हीलचेयर पर बैठकर टीका लगवाने आरएमएल अस्पताल पहुंची एक लाभार्थी से उसकी रुचियों के बारे में पूछा। मांडविया ने एक ट्वीट करके देश को यह उपलब्धि हासिल करने पर बधाई दी और कहा कि यह प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के सक्षम नेतृत्व का परिणाम है। वहीं, 100 करोड़ का आंकड़ा पार कर जाने पर गुरुवार को विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) के महानिदेशक तेद्रोस एधेनॉम गेब्रियेसस ने ट्वीट किया, 'प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, वैज्ञानिकों, स्वास्थ्यकर्मियों और भारत के लोगों को कोविड-19 से संवेदनशील आबादी की रक्षा करने और टीकों के समतामूलक वितरण के लक्ष्यों को प्राप्त करने के प्रयासों के लिए बधाई।' इस मौके पर गुरुवार को कई कार्यक्रम भी आयोजित किए गए। मनसुख मांडविया ने गुरुवार को एक गीत और एक फिल्म जारी की, जिसमें दुनिया के सबसे बड़े कोविड टीकाकरण कार्यक्रम की शुरुआत करने के पीछे के प्रयासों को दर्शाया गया है। इस गीत को कैलाश खेर ने गाया है। दृश्य-श्रव्य फिल्म में दिखाया गया है कि टीकाकरण की पूरी प्रक्रिया कैसे शुरू हुई और कितनी मेहनत एवं प्रयासों के कारण दुनिया का सबसे बड़ा कोविड टीकाकरण कार्यक्रम शुरू हुआ। इस फिल्म के माध्यम से टीकाकरण कार्यक्रम को सफल बनाने में योगदान देने वाले चिकित्सकों, नर्सों और अन्य लोगों को धन्यवाद भी दिया गया है। मांडविया ने लाल किले पर गीत और फिल्म जारी की। लाल किले पर देश का सबसे बड़ा खादी तिरंगा प्रदर्शित किया गया है, जिसका वजन करीब 1,400 किलोग्राम है। इस तिरंगे की लंबाई 225 फुट और चौड़ाई 150 फुट है। यही तिरंगा 2 अक्टूबर को गांधी जयंती पर लेह में फहराया गया था।
