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India- Pak Tension पर Parliamentary Standing Committee को विदेश सचिव विक्रम मिस्री ने दी ब्रीफिंग

शशि थरूर संसदीय समिति के अध्यक्ष है, वहीं बैठक में अभिषेक बनर्जी, राजीव शुक्ला, दीपेंद्र हुड्डा, असदुद्दीन ओवैसी, अपराजिता सारंगी, अरुण गोविल उपस्थित रहे।

Last Updated- May 19, 2025 | 7:14 PM IST
Parliamentary Committee MEA Vikram Misri Operation Sindoor
बिजनेस स्टैंडर्ड हिन्दी

पहलगाम आतंकी हमले के बाद उत्पन्न भारत-पाकिस्तान सैन्य संघर्ष की पृष्ठभूमि में विदेश सचिव विक्रम मिस्री ने सोमवार को संसद की विदेश मामलों पर स्थायी समिति (Standing Committee on External Affairs) को विस्तार से जानकारी दी। यह बैठक उस समय हुई है जब भारतीय सेना ने ‘ऑपरेशन सिंदूर’ के तहत पाकिस्तान को करारा जवाब दिया और बाद में दोनों देशों के बीच सैन्य कार्रवाई रोकने पर सहमति बनी।

इस समिति की अध्यक्षता कांग्रेस सांसद शशि थरूर कर रहे हैं। बैठक में टीएमसी के अभिषेक बनर्जी, कांग्रेस के राजीव शुक्ला और दीपेंद्र हुड्डा, एआईएमआईएम प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी, और बीजेपी की अपराजिता सारंगी एवं अरुण गोविल सहित कई अन्य सदस्य उपस्थित रहे।

भारत की आतंकवाद के खिलाफ सख्त नीति का प्रदर्शन

विदेश सचिव मिस्री ने समिति को भारत और पाकिस्तान के बीच मौजूदा विदेश नीति परिदृश्य की जानकारी सोमवार और मंगलवार को देने का कार्यक्रम तय किया है। सरकार की ओर से यह निर्णय लिया गया है कि 33 वैश्विक राजधानियों में सर्वदलीय प्रतिनिधिमंडल भेजा जाएगा ताकि अंतरराष्ट्रीय नेताओं को यह संदेश दिया जा सके कि भारत आतंकवाद के खिलाफ कठोर और निर्णायक कदम उठा रहा है। यह कदम ऑपरेशन सिंदूर की पृष्ठभूमि में लिया गया है, जिसमें भारतीय सशस्त्र बलों ने साहसिक कार्रवाई की थी।

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क्या है विदेश मामले पर संसद की स्थायी समिति 

भारत की संसद की विदेश मामले पर स्थायी समिति (Parliamentary Standing Committee on External Affairs), विदेश मंत्रालय की नीतियों और कार्यों की निगरानी करने वाली एक महत्वपूर्ण समिति है। इस समिति में कुल 31 सदस्य होते हैं, जिनमें से 21 लोकसभा से और 10 राज्यसभा से होते हैं। समिति की अध्यक्षता वर्तमान में कांग्रेस के वरिष्ठ नेता शशि थरूर (Shashi Tharoor) कर रहे हैं। 

यह समिति विदेश मंत्रालय की नीतियों, कार्यक्रमों और विदेश नीति से संबंधित मामलों की समीक्षा करती है। समिति के सदस्य विदेश मामलों से संबंधित विभिन्न पहलुओं पर चर्चा करते हैं और मंत्रालय को सुझाव प्रदान करते हैं। समिति की बैठकें नियमित रूप से होती हैं, और विदेश सचिव जैसे वरिष्ठ अधिकारी इन बैठकों में भाग लेते हैं।

कौन-कौन है इस Parliamentary Committee के सदस्य 

लोकसभा सदस्य (21):

  1. डॉ. शशि थरूर
  2. श्रीमती डी. के. अरुणा
  3. श्री विजय बघेल
  4. श्री मितेश पटेल बकाभाई
  5. श्री अभिषेक बनर्जी
  6. श्री अरुण गोविल
  7. श्री दीपेंद्र सिंह हुड्डा
  8. श्री नवीन जिंदल
  9. श्री नवास कानी के
  10. श्री कृपानाथ मल्लाह
  11. श्री बृजेन्द्र सिंह ओला
  12. श्री असदुद्दीन ओवैसी
  13. श्री सनातन पांडे
  14. डॉ. प्रदीप कुमार पाणिग्रही
  15. श्री रवि शंकर प्रसाद
  16. श्री वाई. एस. अविनाश रेड्डी
  17. श्रीमती अपराजिता सारंगी
  18. श्री अरविंद गणपत सावंत
  19. सुश्री प्रणिती सुशीलकुमार शिंदे
  20. सुश्री बंसुरी स्वराज
  21. श्री अक्षय यादव
  1. राज्यसभा सदस्य (10):
    1. डॉ. जॉन ब्रिटास
    2. श्रीमती किरण चौधरी
    3. श्रीमती सागरिका घोष
    4. डॉ. के. लक्ष्मण
    5. सुश्री कविता पटिदार
    6. श्री सतनाम सिंह संधू
    7. श्री राजीव शुक्ला
    8. श्री ए. डी. सिंह
    9. श्री कुँवर रतनजीत प्रताप नारायण सिंह
    10. डॉ. सुधांशु त्रिवेदी

विदेश मामलों की स्थायी समिति: संरचना और कार्यप्रणाली

संसद की विदेश मामलों पर स्थायी समिति उन 17 विभाग-संबंधित स्थायी समितियों (Department Related Standing Committees – DRSCs) में से एक है, जिसका कार्यक्षेत्र विदेश मंत्रालय और उससे संबंधित संस्थानों से जुड़े मामलों की समीक्षा करना है।

इस समिति में कुल 31 सदस्य होते हैं — जिनमें से 21 लोकसभा से और 10 राज्यसभा से नामित किए जाते हैं। यह नामांकन लोकसभा अध्यक्ष और राज्यसभा सभापति द्वारा किया जाता है। किसी मंत्री को इस समिति का सदस्य नहीं बनाया जा सकता, और यदि कोई सदस्य मंत्री बन जाता है तो वह स्वतः समिति की सदस्यता छोड़ देता है।

समिति के अध्यक्ष का चयन लोकसभा से चुने गए सदस्यों में से लोकसभा अध्यक्ष द्वारा किया जाता है। समिति का कार्यकाल इसके गठन की तिथि से एक वर्ष का होता है, जब तक कि लोकसभा भंग न हो जाए।

Parliamentary Committee स्टडी ग्रुप और उप-समितियाँ

समिति की अध्यक्षता करने वाले व्यक्ति को यह अधिकार होता है कि वह किसी विशिष्ट विषय की विस्तृत जांच के लिए स्टडी ग्रुप या उप-समिति गठित कर सके। यह अध्ययन समूह समिति के ही सदस्यों में से बनाए जाते हैं, जिससे किसी विषय पर गहन रिपोर्ट तैयार की जा सके।

India-Pakistan tension पर Parliamentary Standing Committee को जानकारी देंगे विदेश सचिव विक्रम मिस्री

 

First Published - May 19, 2025 | 7:12 PM IST

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