प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सोमवार को अपने संसदीय क्षेत्र वाराणसी को 600 करोड़ रुपये ज्यादा के विकास कार्यों का दीवाली तोहफा दिया है। इस मौके पर उन्होंने कहा कि बीते साढ़े 6 वर्ष में 18 हजार करोड़ से अधिक की परियोजनाओं के माध्यम से वाराणसी का विकास कराया गया है। उन्होंने त्योहारों के मौसम में देशवासियों से स्थानीय उत्पादों को बढ़ावा देने के लिए ‘लोकल फॉर दीवाली’ का आह्वान किया। उन्होंने उम्मीद जताई कि इससे अर्थव्यवस्था में नई चेतना आ जाएगी।
वीडियो कान्फ्रेंसिंग के माध्यम से विभिन्न विकास परियोजनाओं का उद्घाटन और शिलान्यास करने के बाद अपने संबोधन में प्रधानमंत्री ने कहा कि स्थानीय उत्पादों का निर्माण करने वालों को बढ़ावा मिलने से उनका हौसला बुलंद होगा जो हिंदुस्तान को नई ऊंचाइयों पर ले जाने में एक बड़ी भूमिका निभाएगा। प्रधानमंत्री ने कहा कि हाल ही में किए गए कृषि सुधारों का सीधा लाभ किसानों को मिलने वाला है और इन सुधारों के जरिए अन्नदाताओं की कड़ी मेहनत से होने वाले फायदों का बड़ा हिस्सा हड़प जाने वाले बिचौलियों को सिस्टम से दूर किया जा सकेगा। उन्होंने कहा, ”आजकल, ‘लोकल के लिए वोकल’ के साथ ही, ‘लोकल फॉर दीवाली’ के मंत्र की गूंज चारों तरफ है। हर एक व्यक्ति जब गर्व के साथ लोकल सामान खरीदेगा, नए-नए लोगों तक ये बात पहुंचाएगा कि हमारे लोकल प्रोडक्ट कितने अच्छे हैं, किस तरह हमारी पहचान हैं, तो ये बातें दूर-दूर तक जाएंगी।”
उन्होंने कहा, ”मेरा बनारस के लोगों से भी और देशवासियों से भी आग्रह है कि ‘लोकल फॉर दीवाली’ को खूब बढ़ावा दें और उनका प्रचार करें।” प्रधानमंत्री ने कहा कि इससे स्थानीय पहचान तो मजबूत होगी ही, जो लोग इन सामानों को बनाते हैं उनकी दीवाली भी और रोशन हो जाएगी।
उन्होंने कहा, ”मैं देशवासियों से बार-बार आग्रह करता हूं कि ‘लोकल के लिए वोकल’ बनें। हर कोई लोकल के साथ दीवाली मनाए, आप देखिए पूरी अर्थव्यवस्था में नई चेतना आ जाएगी” मोदी ने कहा कि लोकल के लिए वोकल बनने का अर्थ सिर्फ दीये खरीदना नहीं है, हर चीज है। उन्होंने कहा, ”ऐसी चीज जो अपने देश में बनना संभव नहीं है, बाहर से लेना ही पड़ेगा तो वह अलग बात है। मैं यह नहीं कह रहा हूं कि ऐसी चीजों को गंगा जी में बहा दीजिए।”
