उत्तर प्रदेश में विभिन्न बिजली कंपनियों के क्षेत्रों में लगने वाले स्मार्ट प्रीपेड मीटर की कीमत घटाने के लिए छोटे क्लस्टर्स में बांट कर निविदा जारी करने की कवायद का भी अपेक्षित नतीजा नहीं निकला है।
प्रदेश में दक्षिणांचल और पूर्वांचल विद्युत वितरण निगम ने उपभोक्ताओं के घरों पर प्रीपेड स्मार्ट मीटर लगाने के लिए प्रतिस्पर्धी निविदा क्लस्टर्स में बांट कर जारी की थी। निविदाओं में खुली कीमतों में भी स्मार्ट प्रीपेड मीटर के दाम कम नहीं हो सके हैं। रोचक बात यह है कि इस बार निविदा में कुली कीमतें पहले पूरे अंचल के लिए जारी निविदा के रेट से कहीं भी कम नहीं हो सकी है।
दो या उससे भी अधिक क्लस्टरों में बांट कर यूपी पावर कारपोरेशन लिमिटेड (UPPCL) ने दो विद्युत वितरण निगमों के लिए निविदाएं जारी की थी। इससे पहले इन दोनों निगमों सहित मध्यांचल विद्युत वितरण निगम के लिए कीमत ज्यादा आने का तर्क देकर पूर्व में जारी निविदा को निरस्त किया गया था। मध्यांचल के लिए फिर से जारी की गयी निविदा में जहां कंपनियां भाग लेने ही नहीं आयीं वहीं पूर्वांचल और दक्षिणांचल में क्लस्टर्स में बांट कर निविदा जारी की गयी।
निविदा में दक्षिणांचल विद्युत वितरण निगम के क्लस्टर -2 में जहां कानपुर, झांसी व बांदा आदि रखे गए वहां 37 लाख स्मार्ट प्रीपेड मीटर लगाने के लिए 10097 रुपये की कीमत आयी है जो कि पश्चिमांचल विद्युत वितरण निगम के बराबर ही है जहां निविदा प्रक्रिया पूरी हो चुकी है। पश्चिमांचल में 67 लाख स्मार्ट प्रीपेड मीटर लगने हैं। दक्षिणांचल में सिंगल फेज मीटर लगाने के लिए कीमत 8880 रुपये आई है जो कि सिंगल फेज के लिए पश्चिमांचल में खुली कीमत से कहीं ज्यादा है।
इसी तरह पूर्वांचल में 27 लाख प्रीपेड स्मार्ट मीटर के एक क्लस्टर के लिए हाल में खुली निविदा में दरें 10752 रुपये आयी है जो कि पश्चिमांचल से काफी ज्यादा है। इसके अलावा एक ही कंपनी की ओर से पूर्वांचल में एक जैसी मात्रा में स्मार्ट मीटर लगाने के लिए निविदा में जो दरें दी गयी है वो खासी अलग हैं।
गौरतलब है कि स्मार्ट मीटर की निविदाओं को क्लस्टर्स में बांटने के बाद भी भाग लेने वाली कंपनियों की तादाद नहीं बढ़ी है। जहां बड़ी निविदाओं में ज्यादा कंपनियों की भागीदारी दिखी थी वहीं छोटे क्लस्टर्स में यह और भी घट गयी है। दक्षिणांचल के एक क्लस्टर में तो निविदा में केवल दो ही कंपनियों ने भाग लिया है।