facebookmetapixel
Meesho IPO को पहले दिन मिले 2.4 गुना आवेदन, खुदरा निवेशकों का जोरदार रिस्पॉन्स2026 में डबल डिजिट में आय बढ़ने से इक्विटी बाजार के बेहतर प्रदर्शन की उम्मीद: कोटक एमएफरुपये की कमजोरी और FPI निकासी की चिंता से शेयर बाजार दबाव में, लगातार चौथे दिन गिरावटरुपये की रिकॉर्ड कमजोरी से विदेशी निवेश पर बढ़ा दबाव, व्यापार समझौते और आय सुधार पर टिकी उम्मीदेंSEBI ने लॉन्च किया SWAGAT-FI फ्रेमवर्क; कम जोखिम वाले विदेशी निवेशकों को सिंगल विंडो से आसान एंट्रीमुंबई को मिलेगा पहला अंडरग्राउंड कॉरिडोर, ₹8,056 करोड़ की लागत से रेलवे-मेट्रो के 50 मीटर नीचे बनेगी टनलक्या वाकई चांदी ₹2,00,000/kg जा सकती है? रिपोर्ट में बड़ा दावाअब सभी पान मसाला पैक पर छापना होगा रिटेल सेल प्राइस, 1 फरवरी 2026 से लागू होगा नया नियमDelhi Power Demand: दिल्ली में नवंबर में टूटा बिजली की मांग का रिकॉर्ड, इस सर्दी 6,000 MW पार करने के आसारक्रू मेंबर्स की कमी या तकनीकी दिक्कतें: क्यों उड़ान नहीं भर पा रहें इंडिगो के विमान? 70 से ज्यादा फ्लाइट्स कैंसिल

मध्य प्रदेश के प्रियॉरिटी सेक्टर में 3.13 लाख करोड़ की ऋण संभावना : नाबार्ड

स्टेट क्रेडिट सेमिनार में जारी किया गया स्टेट फोकस पेपर, कृषि और एमएसएमई क्षेत्र में सर्वाधिक ऋण

Last Updated- February 07, 2025 | 8:37 AM IST
Loan potential of Rs 3.13 lakh crore in priority sector of Madhya Pradesh: NABARD मध्य प्रदेश के प्रियॉरिटी सेक्टर में 3.13 लाख करोड़ की ऋण संभावना : नाबार्ड
फोटो: नाबार्ड का स्टेट फोकस पेपर जारी करते हुए मप्र के सहकारिता मंत्री विश्वास सारंग (बाएं से तीसरे)। उनके साथ हैं नाबार्ड मप्र की सीजीएम सी. सरस्वती एवं अन्य अधिकारीगण।

राष्ट्रीय कृषि एवं ग्रामीण विकास बैंक (नाबार्ड) ने वर्ष 2025-26 में मध्य प्रदेश में प्रियॉरिटी सेक्टर में 3.13 लाख करोड़ रुपये की ऋण क्षमता का आकलन प्रस्तुत किया है। यह राशि पिछले वर्ष की 2.85 लाख करोड़ रुपये से लगभग 10 फीसदी अधिक है।

नाबार्ड द्वारा राजधानी भोपाल में आयोजित स्टेट क्रेडिट सेमिनार में प्रस्तुत किए गए स्टेट फोकस पेपर के अनुसार 3.13 लाख करोड़ रुपये की अनुमानित ऋण क्षमता में सबसे अधिक 1.79 लाख करोड़ रुपये का ऋण कृषि क्षेत्र को, 1.15 लाख करोड़ रुपये का ऋण सूक्ष्म, लघु और मझोले उपक्रम (एमएसएमई) तथा 0.18 लाख करोड़ रुपये का ऋण अन्य प्राथमिकता वाले क्षेत्रों को देने का अनुमान पेश किया गया है।

सेमीनार को संबोधित करते हुए मध्य प्रदेश के सहकारिता मंत्री विश्वास सारंग ने प्रदेश के कृषि एवं ग्रामीण विकास कार्यों में नाबार्ड के योगदान की सराहना करते हुए हर संभव मदद का आश्वासन दिया। सारंग ने कहा, ‘प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के 2047 तक देश को विकसित भारत बनाने के लक्ष्य को पूरा करने के लिए हर प्रदेश को अपना योगदान देना होगा।

Also read: मध्य प्रदेश ने बढ़ाया शराबबंदी की दिशा में एक और कदम, धार्मिक महत्व के इन 17 नगरों में नहीं मिलेगी शराब

मध्य प्रदेश इसमें अग्रणी भूमिका निभा रहा है और इसमें नाबार्ड जैसी संस्थाओं की अहम भूमिका है।’ उन्होंने बैंकों तथा वित्तीय संस्थानों का आह्वान करते हुए आग्रह किया कि उन्हें अपनी ऋण नीतियों को ऋण प्राथमिकताओं के साथ सुसंगत बनाना चाहिए ताकि किसानों, उद्यमियों और ग्रामीण उपक्रमों को अबाध ऋण मिल सके। सारंग ने अर्थव्यवस्था के विकास में सहकारी संस्थाओं के योगदान को भी रेखांकित किया।

इस अवसर पर नाबार्ड मध्य प्रदेश की मुख्य महाप्रबंधक सी. सरस्वती ने किसानों का उत्पादकता बढ़ाने, एग्री-टेक नवाचारों को बढ़ावा देने तथा ग्रामीण अर्थव्यवस्था को गति देने में संस्थागत ऋण की महत्वपूर्ण भूमिका का जिक्र किया।

First Published - February 7, 2025 | 8:34 AM IST

संबंधित पोस्ट