सूक्ष्म वित्त संस्थान (MFI) के रूप में काम कर रहीं गैर बैंकिंग वित्तीय कंपनियों (NBFC) ने वित्त वर्ष 2022-23 की दूसरी तिमाही में सूक्ष्म ऋण देने के मामले में बैंकों को पीछे छोड़ दिया है। उद्योग के अधिकारियों और विश्लेषकों का कहना है कि बाजार हिस्सेदारी में बढ़त बनाए रखने के लिए NBFC-MFI को ऋण जारी करने में सालाना वृद्धि 25 प्रतिशत बनाए रखने, तेज अंडरराइटिंग सुनिश्चित रखने और गुणवत्तायुक्त सेवा बनाए रखने की जरूरत है।
NBFC-MFI की बाजार हिस्सेदारी इस साल पहली बार 37.53 प्रतिशत हुई
MFI के एसोसिएशन सा-धन के मुताबिक NBFC-MFI की बाजार हिस्सेदारी इस साल पहली बार 37.53 प्रतिशत हुई है। वहीं बैंक फिसलकर दूसरे स्थान पर चले गए हैं, जिनकी हिस्सेदारी 36.18 प्रतिशत है। इक्रा में फाइनैंशियल सेक्टर रेटिंग्स के वाइस प्रेसीडेंट सचिन सचदेवा ने कहा कि NBFC-MFI के बकाया लोन बुक और कर्ज जारी करने में बेहतर वृद्धि हुई है।
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माइक्रोफाइनैंस कारोबार में लचीलेपन और जमीनी काम की जरूरत
उन्होंने कहा कि NBFC-MFI ने सह उधारी के लिए बैंकों के साथ बेहतर संबंध बनाया, जिससे कि बैंकों के प्राथमिकता क्षेत्र के कर्ज का लक्ष्य पूरा हो सके और यह बाजार हिस्सेदारी बदल सकता है। फ्यूजन माइक्रोफाइनैंस के प्रबंध निदेशक और मुख्य कार्याधिकारी देवेश सचदेव ने कहा कि माइक्रोफाइनैंस कारोबार में लचीलेपन और जमीनी काम की जरूरत है और उनकी लागत का ढांचा अलग है। उनके लिए यह प्रमुख व्यवसाय है और उनका इस क्षेत्र पर विशेष ध्यान रहा है।