बेहतर आर्थिक वृद्धि की उम्मीद में वित्त मंत्रालय वित्त वर्ष 2025 के पूर्ण बजट में नॉमिनल सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) की वृद्धि दर के अपने अनुमान को बढ़ा सकता है। फरवरी में पेश अंतरिम बजट में इसके 10.5 फीसदी रहने का अनुमान लगाया गया था।
एक वरिष्ठ सरकारी अधिकारी ने नाम जाहिर नहीं करने की शर्त पर बताया, ‘ऊंची वृद्धि दर की उम्मीद के बीच वित्त वर्ष 2025 के लिए नॉमिनल जीडीपी अनुमान को बढ़ाया जा सकता है। इसे 10.5 फीसदी से बढ़ाकर 11 फीसदी किया जा सकता है।’
नॉमिनल जीडीपी की गणना वर्तमान बाजार मूल्य पर की जाती है और इसमें मुद्रास्फीति के प्रभाव को भी ध्यान में रखा जाता है। इसके साथ ही कर संग्रह, राजकोषीय घाटा, राजस्व घाटा और कर्ज-जीडीपी अनुपात जैसे वृहद आर्थिक संकेतकों को आधार बनाया जाता है।
ज्यादा नॉमिनल जीडीपी के अनुमान से वित्त मंत्री को राजकोषीय घाटा कम दिखाने में मदद मिलती है, वहीं कम नॉमिनल जीडीपी से राजकोषीय घाटा बढ़ता है। बिज़नेस स्टैंडर्ड के विश्लेषण से पता चलता है कि पिछले 10 साल के दौरान बजट में 7 बार नॉमिनल जीडीपी वृद्धि का अनुमान ज्यादा लगाया गया और 3 बार इसे कम आंका गया।
वित्त वर्ष 2020 के पूर्ण बजट में नॉमिनल जीडीपी वृद्धि के लक्ष्य को अंतरिम बजट के 11.5 फीसदी अनुमान से बढ़ाकर 12 फीसदी कर दिया गया था। मगर वित्त वर्ष 2015 में सरकार बदलने के बावजूद वित्त मंत्री ने नॉमिनल जीडीपी वृद्धि को 13.4 फीसदी पर अपरिवर्तित रखा था।
इक्रा रेटिंग्स की मुख्य अर्थशास्त्री अदिति नायर ने कहा, ‘मुझे उम्मीद है कि वित्त वर्ष 2025 में नॉमिनल जीडीपी को बढ़ाकर 10.8 फीसदी किया जा सकता है।’
खाद्य पदार्थों के दाम बढ़ने और प्रतिकूल आधार प्रभाव के कारण मई में थोक मूल्य सूचकांक आधारित मुद्रास्फीति बढ़कर 15 महीने में सबसे ज्यादा 2.61 फीसदी हो गई।
भारतीय रिजर्व बैंक ने हालिया मौद्रिक नीति की समीक्षा में चालू वित्त वर्ष के लिए वास्तविक जीडीपी अनुमान को 7 फीसदी से बढ़ाकर 7.2 फीसदी कर दिया है।
वित्त वर्ष 2025 के अंतरिम बजट में वित्त वर्ष 2024 के लिए नॉमिनल जीडीपी 296.6 लाख करोड़ रुपये और वित्त वर्ष 2025 में 327.7 लाख करोड़ रुपये रहने का अनुमान लगाया गया था। मगर जीडीपी के
अंतरिम अनुमान 31 मई को जारी किए गए जिसमें वित्त वर्ष 2024 के लिए नॉमिनल जीडीपी अनुमान को घटाकर 295.4 लाख करोड़ रुपये कर दिया गया। अगर वित्त मंत्रालय वित्त वर्ष 2025 के लिए नॉमिनल जीडीपी अनुमान को बरकरार रखना चाहता है तो नॉमिनल जीडीपी वृद्धि 10.95 फीसदी होनी चाहिए।
इंडिया रेटिंग्स ऐंड रिसर्च में मुख्य अर्थशास्त्री देवेंद्र कुमार पंत ने कहा कि वित्त वर्ष 2024 के कम आधार और वास्तविक आर्थिक वृद्धि अच्छी दिखने से बजट में नॉमिनल जीडीपी वृद्धि के अनुमान को बढ़ाकर 11 फीसदी के आसपास किया जा सकता है। हालांकि बैंक ऑफ बड़ौदा में मुख्य अर्थशास्त्री मदन सबनवीस ने
कहा कि सरकार नॉमिनल जीडीपी वृद्धि के अनुमान में संभवत: बदलाव नहीं करेगी।