ITR Filing 2025: इनकम टैक्स डिपार्टमेंट ने असेसमेंट ईयर 2025-26 के लिए आईटीआर फॉर्म एक और चार (ITR-1 और ITR-4) को नोटिफाई किया है। इसे 50 लाख रुपये तक की कुल आय वाले व्यक्तियों और संस्थाओं द्वारा फाइल किया जा सकता है। अब एक वित्त वर्ष में 1.25 लाख रुपये तक का लॉन्ग टर्म कैपिटल गेन (LTCG) पाने वाले व्यक्ति भी ITR-1 दाखिल कर सकते हैं। पहले ऐसे लोगों को ITR-2 दाखिल करना होता था।
नोटिफिकेशन के अनुसार, 50 लाख रुपये तक की आय वाले व्यक्ति, एचयूएफ, कंपनियां और वित्त वर्ष 2024-25 (अप्रैल-मार्च) में बिजनेस से तथा अन्य पेशेवर अर्जित आय के लिए आईटीआर दाखिल करना शुरू कर सकते हैं। ITR फॉर्म 1 (सहज) और ITR फॉर्म 4 (सुगम) सरल फॉर्म हैं जो बड़ी संख्या में छोटे तथा मध्यम करदाताओं की जरूरतों के अनुरूप हैं।
‘सहज’ को ऐसे व्यक्ति द्वारा दाखिल किया जा सकता है, जिसकी वार्षिक आय 50 लाख रुपये तक हो और जो वेतन, एक मकान की संपत्ति, अन्य स्रोतों (ब्याज) तथा कृषि आय से 5,000 रुपये प्रति वर्ष तक की आय प्राप्त करता हो। ‘सुगम’ को ऐसे व्यक्तियों, हिंदू अविभाजित परिवारों (एचयूएफ) और कंपनियों(सीमित देयता भागीदारी (एलएलपी) के अलावा) द्वारा दाखिल किया जा सकता है, जिनकी कुल वार्षिक आय 50 लाख रुपये तक हो और व्यवसाय से व कोई पेशेवर आय हो। ITR-2 उन व्यक्तियों और एचयूएफ द्वारा दाखिल किया जाता है जिनकी आय, बिजनेस या पेशेवर लाभ या प्राप्ति से नहीं होती है।
टैक्स एवं परामर्श कंपनी एकेएम ग्लोबल के साझेदार (कर) संदीप सहगल ने कहा, ‘‘केंद्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड (CBDT) ने असेसमेंट ईयर 2025-26 के लिए आयकर रिटर्न (ITR) फॉर्म में महत्वपूर्ण बदलाव किए हैं, जिससे विशेष रूप से शेयर और म्युचुअल फंड से लॉन्ग टर्म कैपिटल गेन (LTCG) पाने वाले सैलरी क्लास टैक्सपेयर्स को लाभ होगा।’’
उन्होंने कहा, ‘‘नवीनतम संशोधनों से व्यक्ति अब सरल ITR-1 (सहज) या ITR-4 (सुगम) फॉर्म का उपयोग कर सकते हैं…यदि धारा 112ए के तहत उनका LTCG 1.25 लाख रुपये से ज्यादा नहीं है और उनके पास आगे ले जाने या ‘सेट ऑफ’ करने के लिए कोई पूंजीगत घाटा नहीं है।’’
सहगल ने कहा, ‘‘ यह बदलाव, आईटीआर फाइल करने की प्रक्रिया को सुव्यवस्थित करता है जिससे यह छोटे निवेशकों तथा सैलरी क्लास के लिए अधिक सुलभ तथा कम बोझिल हो जाता है। इससे समय पर और सटीक अनुपालन को बढ़ावा मिलता है।’’
(PTI के इनपुट के साथ)