Stock Market: मजबूत विदेशी फंड फ्लो और एशियाई बाजारों में बड़े पैमाने पर मजबूत रुख के बीच भारतीय शेयर बाजार में लगातार तीसरे दिन तेजी का सिलसिला जारी रहा।बेंचमार्क इंडेक्स सेंसेक्स हफ्ते के पहले कारोबारी दिन यानी सोमवार 384 की मजबूत होकर रिकॉर्ड हाई पर बंद हुआ। सेंसेक्स की ही तरह, निफ्टी भी 148 अंक की बढ़त लेकर नई ऊंचाई पर पहुंच गया।
30 शेयरों वाला बीएसई सेंसेक्स 384.30 अंक या 0.45 प्रतिशत की बढ़त लेकर 84,928.61 के ऑलटाइम हाई पर बंद हुआ। सेंसेक्स में आज 84,607.38 और 84,980.53 के रेंज में कारोबार हुआ।
वहीं, दूसरी तरफ एनएसई निफ्टी 148.10 अंक या 0.57 प्रतिशत बढ़कर 25,939.05 के रिकॉर्ड हाई पर बंद हुआ। निफ्टी में आज 25,847.35 और 25,956.00 के रेंज में कारोबार हुआ।
सेंसेक्स के 30 शेयरों में से 19 शेयर हरे निशान पर बंद हुए। M&M, SBI, भारती एयरटेल, कोटक बैंक और HUL सेंसेक्स के टॉप-5 गेनर्स रहे। इसके अलावा, अल्ट्राटेक सीमेंट, टाटा स्टील, अदाणी पोर्ट्स, NTPC, HDFC बैंक, नेस्ले इंडिया, टाइटन, मारुति, रिलायंस, ITC, बजाज फाइनैंस, एक्सिस बैंक, टाटा मोटर्स और बजाज फिनसर्व के शेयर भी लाभ में रहे।
वहीं दूसरी तरफ, सेंसेक्स के 30 शेयरों में से 11 शेयर लाल निशान पर बंद हुए। ICICI बैंक, इंडसइंड बैंक, एशियन पेंट्स, टेक महिंद्रा और HCL टेक सेंसेक्स के टॉप-5 लूजर्स रहे। इसके अलावा, इंफोसिस, TCS, L&T, पावर ग्रिड, सन फार्मा और JSW स्टील के शेयर नुकसान में रहे।
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जियोजित फाइनेंशियल सर्विसेज के शोध प्रमुख विनोद नायर ने कहा, “फेड द्वारा ब्याज दरों में की गई कटौती से आई उत्साह की लहर आज घरेलू बाजार को मजबूती देती रही। इनपुट लागत में नरमी और वैश्विक बैंकों द्वारा कटौती के बीच RBI के रुख में बदलाव की उम्मीद से मूल्यांकन को समर्थन मिलेगा। भले ही भारत के PMI डेटा में नरमी आई हो, लेकिन निवेशकों को उम्मीद है कि विदेशी संस्थागत निवेशकों (FII) की तरफ से फंड फ्लो से बाजार को समर्थन मिलता रहेगा।”
एशियाई बाजारों में, सियोल और शंघाई हरे निशान पर बंद हुए जबकि हांगकांग लाल निशान पर बंद हुआ। जापान में बाजार सोमवार को छुट्टी के कारण बंद रहे। दोपहर के कारोबार में यूरोपीय बाजारों में मिला-जुला रुख रहा। शुक्रवार को अमेरिकी बाजार मिले-जुले रुख पर बंद हुए थे।
मार्केट्समोजो के ग्रुप सीईओ अमित गोलिया ने कहा, “पिछले 3 महीनों में, फेड द्वारा दर कटौती की उम्मीद में डॉलर इंडेक्स (DXY) लगभग 6% गिर चुका है। भारतीय निवेशकों को आईटी और फार्मास्युटिकल्स जैसे सेक्टर्स पर ध्यान देने की जरूरत है, जिनके रेवेन्यू का एक बड़ा हिस्सा अमेरिका से आता है, क्योंकि डॉलर के कमजोर होने से रुपये के संदर्भ में बिक्री में कमी हो सकती है।”
उनका मानना है कि भारतीय बाजार का मूल्यांकन पहले से ही ऊंचाई पर है, जो दर्शाता है कि दर कटौती के संभावित लाभ पहले ही कीमतों में शामिल हो चुके हैं। नतीजतन, दर-संवेदनशील शेयरों से बड़े रिटर्न की उम्मीद करना अब एक व्यवहारिक रणनीति नहीं हो सकती है। भारत की ग्रोथ रेट मजबूत बनी हुई है, जिसका प्रतिबिंब बाजारों में विश्व स्तर पर सबसे ऊंचे मूल्यांकन के रूप में देखा जा सकता है। खुदरा निवेशकों को सही सेक्टर्स में संभावित कंपनियों को चुनने पर ध्यान देना चाहिए और उन्हें लंबे समय तक बनाए रखना चाहिए।
पिछले कारोबारी सत्र यानी शुक्रवार को देसी शेयर बाजार में तूफानी तेजी देखी गई थी। बेंचमार्क इक्विटी इंडेक्स, BSE सेंसेक्स और NSE निफ्टी 50, पिछले सत्र में 1 प्रतिशत से ज्यादा की बढ़त लेकर ऐतिहासिक ऊंचाई पर पहुंच गए थे।
बीएसई सेंसेक्स 1,359.51 अंक या 1.63 प्रतिशत की शानदार बढ़त लेकर 84,544.31 के ऑलटाइम हाई पर बंद हुआ था। निफ्टी भी 375.15 अंक या 1.48 प्रतिशत की बढ़त लेकर 25,790.95 के नए शिखर पर बंद हुआ था।