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गोल्ड, डॉलर में खपने लगे 2,000 के नोट, लोग कर रहे कई तरह के उपाय

Last Updated- May 21, 2023 | 10:25 PM IST
SC refuses urgent hearing on plea challenging RBI decision on Rs. 2000 note

इस साल सितंबर महीने तक 2,000 रुपये के नोटों को वापस करने की घोषणा करने से काला धन रखने वालों की परेशानी बढ़ी है लेकिन इसके लिए कई अन्य विकल्प भी अपनाए जा रहे हैं। मसलन ऐसे लोग 2,000 रुपये के बेहिसाब नोटों को अवैध बाजार में सोने और डॉलर में बदल रहे हैं, जिससे दोनों संपत्ति वर्ग में आधिकारिक दरों की तुलना में प्रीमियम दर पर कारोबार हो रहा है।

दिल्ली में शुक्रवार रात को 2,000 रुपये के बदले में खरीदारी करने पर सोना 68,000 रुपये प्रति 10 ग्राम के हिसाब से बिका। आधिकारिक बाजार में देश के विभिन्न बाजारों में जीएसटी के साथ सोना 62,000-63,000 रुपये के आसपास चल रहा है। हालांकि, कुछ बाजारों में जहां काले धन का प्रवाह अधिक है वहां सोने की कीमत 2,000 रुपये के नोटों के बदले 70,000 रुपये से 75,000 रुपये प्रति 10 ग्राम के बीच देखी गई है।

अहमदाबाद के बाजार में शुक्रवार रात 2,000 रुपये के नोट के बदले सोना 75,000 रुपये प्रति 10 ग्राम के स्तर पर खुला। हालांकि कम मांग के कारण यह कीमत कम होकर 67,000 रुपये के स्तर पर चली गई। दक्षिण भारतीय शहरों में कोलकाता और यहां तक कि मुंबई में भी सोने की कीमत लगभग 70,000 रुपये और उससे ऊपर है।

एक डीलर ने नाम न छापने की शर्त पर कहा, ‘इस बार घबराहट और भीड़ 2016 जैसी नहीं है। 2000 के नोटों के लिए अधिक समय दिया गया है और यह अब भी वैध मुद्रा बनी हुई है। इससे भी महत्वपूर्ण बात यह है कि आम आदमी के पास ये मुद्रा ज्यादा नहीं है। राजनेताओं, रियल एस्टेट खिलाड़ियों, अंडरवर्ल्ड के लोगों और नकदी कारोबार करने वाले कुछ व्यापारियों के पास सबसे अधिक नोट हैं।’

ऐसा लगता है कि डॉलर के अनाधिकारिक बाजार के खिलाड़ियों को 2,000 रुपये के नोटों को वापस लिए जाने के बारे में दो दिन पहले ही संकेत मिल गए थे और इसके परिणामस्वरूप बुधवार से ही हवाला दर जो 85.5 रुपये प्रति डॉलर थी वह बढ़कर 87 रुपये और अगले दिन 88 रुपये हो गई और अब यह 91 रुपये प्रति डॉलर के आसपास है। हालांकि, उच्च मूल्य वाले विदेशी लेनदेन से जुड़े टीसीएस नियम को हाल ही में आसान बनाया गया है जिससे हवाला मांग में वृद्धि हुई है।

हवाला बाजार काफी समय से सक्रिय है क्योंकि तस्करी के सोने के लिए पैसे का भुगतान हवाला बाजार में डॉलर खरीदकर किया जा रहा है। 2000 रुपये के बदले में बेचे जाने वाले इस सोने को भी अवैध रूप से भारत में प्रवेश मिल रहा है। इस तरह के सोने में लाभ मार्जिन बहुत अधिक है इसलिए इस बार प्रीमियम सीमित है। 2016 में सोना अपने आधिकारिक मूल्य के मुकाबले 30-40 प्रतिशत से अधिक पर था।

वर्ष 2016 में, जब नोटबंदी की घोषणा की गई थी तब सोना, डॉलर का हवाला और क्रिप्टो मुद्रा ही प्रतिबंधित नोटों को बदलने का प्रमुख जरिया थे। इस बार काला धन रखने वाले सोना और हवाला का ही विकल्प चुन रहे हैं। हालांकि नोटबंदी के बाद कई ज्वैलर्स को आयकर विभाग की नाराजगी का सामना करना पड़ा है। नतीजतन सर्राफा डीलर्स एसोसिएशन सतर्क हो गए हैं।

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इंडियन बुलियन ऐंड ज्वैलर्स एसोसिएशन ने अपने सदस्यों को सूचित करते हुए कहा है, ‘2000 रुपये का नोट एक वैध मुद्रा (30-09-23 तक) है और इसलिए ज्वैलर्स इन नोटों के बदले सोना बेच सकते हैं।’

हालांकि, संगठन ने सदस्यों को भेजे गए संदेश में आगे कहा है कि धनशोधन निवारण अधिनियम के तहत 4 मई 2023 के दिशानिर्देशों के अनुसार, 50,000 रुपये से अधिक के नकद लेनदेन के लिए केवाईसी की सलाह दी जाती है और 2 लाख रुपये से अधिक के नकद लेनदेन के लिए, पैन कार्ड अनिवार्य है।

संगठन ने कहा है कि यदि कोई भी जौहरी एक बार में 10 लाख रुपये या एक ही बार में उससे अधिक की बिक्री या लेनदेन की एक श्रृंखला को जारी रखता है तब उसे वित्तीय खुफिया इकाई को इसकी सूचना देनी होगी।

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एक सर्राफा व्यापारी इस बात को लेकर सतर्कता बरत रहे हैं क्योंकि बैंक भी 2000 रुपये के नोटों को लेकर सावधानी बरत रहा है और उन्हें उम्मीद है कि ऐसे नोटों के संबंध में बैंकों के लिए राष्ट्रीय स्तर पर कुछ मानक मानदंडों का पालन किया जाएगा।

First Published - May 21, 2023 | 10:25 PM IST

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