स्वास्थ्य

उच्च रक्तचाप, मधुमेह रोगियों की होगी विशेष देखभाल : केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय

Published by
सोहिनी दास
Last Updated- May 17, 2023 | 11:31 PM IST

केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय ने विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) के साथ जी-20 के एक कार्यक्रम में 2025 तक उच्च रक्तचाप (hypertension) और मधुमेह (diabetes) से पीड़ित 7.5 करोड़ लोगों की मानक देखभाल वाले स्तर पर रखने के अपने महत्त्वाकांक्षी लक्ष्य की बुधवार को घोषणा की।

यह जांच सार्वजनिक स्वास्थ्य केंद्रों (पीएचसी) के माध्यम से की जाएगी। डब्ल्यूएचओ प्रमुख टेड्रोस एडनॉम ग्रेब्रेयेसस ने कहा, ‘भारत सरकार ने 2025 तक प्राथमिक स्वास्थ्य देखभाल के तहत उच्च रक्तचाप से पीड़ित 7.5 करोड़ लोगों तक पहुंचने का भारत सरकार का महत्त्वाकांक्षी लक्ष्य दुनिया में गैर संचारी रोगों के लिहाज से सबसे बड़ा कवरेज है।’

गैर-संचारी रोगों (NCD) के खतरे से लड़ने के लिए, भारत ने 150,000 से अधिक स्वास्थ्य और कल्याण केंद्रों के निर्माण और टेलीमेडिसन तथा डिजिटल स्वास्थ्य सेवाओं के संचालन के माध्यम से एक मंच बनाया है। नीति आयोग के सदस्य (स्वास्थ्य) डॉ वीके पॉल ने कहा कि केवल जांच ही पर्याप्त नहीं है। पहचान के नतीजे भी मिलने चाहिए। इसलिए उन्होंने सभी हितधारकों से यह सुनिश्चित करने का आग्रह किया कि जांच कराने वाले लोगों में से कम से कम 80 प्रतिशत का इलाज चल रहा है।

स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय ने कहा कि करीब 40,000 प्राथमिक स्वास्थ्य देखभाल चिकित्सा अधिकारियों को सशक्त पोर्टल के माध्यम से एनसीडी के लिए मानक उपचार वर्कफ्लो पर प्रशिक्षित किया जाएगा। मंत्रालय ने गैर-संचारी रोगों की रोकथाम और नियंत्रण के लिए राष्ट्रीय कार्यक्रम के संशोधित दिशानिर्देश जारी किए जिसमें व्यापक कवरेज का जिक्र किया गया था।

पॉल ने राज्य की टीमों से अनुरोध किया कि वे सभी एसओपी का अनुपालन जमीनी स्तर पर सही तरीके से करें, क्योंकि जांच ही किसी भी रोग के सफल प्रबंधन की आधारशिला है। उन्होंने इस प्रयास में निजी क्षेत्र के सहयोग की आवश्यकता और महत्त्वाकांक्षी लक्ष्य अर्जित करने के लिए मॉडलों का निर्माण तथा विभिन्न प्राथमिक बाधाओं को दूर करने के लिए शैक्षणिक और अनुसंधान क्षेत्र के योगदान की आवश्यकता पर भी जोर दिया।

First Published : May 17, 2023 | 11:31 PM IST