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नए ग्राहकों व छोटे शहरों से ई-कॉमर्स को मिली रफ्तार

Last Updated- December 15, 2022 | 3:08 AM IST

ई-कॉमर्स ने न केवल अपनी वापसी की है बल्कि जून 2020 तिमाही में उसके मात्रात्मक ऑर्डर में 17 फीसदी की वृद्धि दर्ज की गई है। ऑनलाइन रिटेल पर नजर रखने वाले प्लेटफॉर्म यूनिकॉमर्स की ओर से जारी ई-कॉमर्स ट्रेंड्स रिपोर्ट 2020 से इसका खुलासा हुआ है। लॉकडाउन की घोषणा होने के बाद सीमित उपलब्धता और संक्रमण के डर से उपभोक्ताओं का वर्ताव और खरीदारी का तरीका बदल गया। इससे ऑनलाइन खरीदारी की एक नई लहर पैदा हुई।
रोजमर्रा के इस्तेमाल की वस्तु (एफएमसीजी) और कृषिण के अलावा स्वास्थ्य एवं औषधि जैसी श्रेणियों में पहली बार खरीदारी करने वालों की संख्या में जबरदस्त वृद्धि हुई है। यूनिकॉमर्स के सीईओ कपिल मखीजा ने कहा, ‘दुनिया कोविड-19 से जूझ रही है लेकिन भारत में साल के आरंभ से ही ई-कॉमर्स उद्योग में जबरदस्त वृद्धि दिख रही है।’ उन्होंने कहा, ‘उपभोक्ताओं की पसंद बदलने, नए ऑनलाइन उपयोगकर्ताओं की संख्या बढऩे और खुदरा विक्रेताओं एवं कंपनियों द्वारा सीधे ग्राहकों तक डिलिवरी (डी2सी) मॉडल को अपनाने के कारण डिजिटलीकरण पर अधिक ध्यान केंद्रित किए जाने से ई-कॉमर्स उद्योग सबसे अधिक भरोसेमंद बाजार के तौर पर उभरा है।’
परिचालन सुचारु होने के बाद ई-कॉर्स में रिटर्न की दर में 10 से 30 फीसदी तक की कमी देखी गई जो श्रेणियों पर आधारित थी। रिटर्न की संख्या घटने से नए सुरक्षा मानदंडों को अपनाए जाने और आवश्यक उत्पाद की बढ़ती मांग का पता चलता है। हालांकि फिलहाल यह पता नहीं है कि रिटर्न में कमी का यह दौर कब तक बरकरार रहेगा।
रिपोर्ट में कहा गया है कि प्रमुख कंपनियां महानगरों के इतर शहरों पर ध्यान केंद्रित कर रही हैं। फिलहाल कुल ऑनलाइन उपभोक्ता मांग में शहरों और कस्बों का योगदान करीब 66 फीसदी है। जबकि छोटे शहरों एवं कस्बों में 53 फीसदी की वृद्धि दर्ज की गई जो इसे सबसे तेजी से उभरती श्रेणी बनाती है।

First Published - August 22, 2020 | 12:19 AM IST

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