उत्तर प्रदेश में अब महिलाएं खेती के लिए ड्रोन विमानों का इस्तेमाल करेंगी। नमो ड्रोन दीदी कार्यक्रम के जरिए उत्तर प्रदेश में स्वयं सहायता समूहों (SHG) से जुड़ी महिलाओं को खेती के काम आने वाला ड्रोन चलाने का प्रशिक्षण दिया जा रहा है। कार्यक्रम के तहत प्रयागराज जिले के फूलपुर की स्वंय सहायता समूहों के जुड़ी 90 ग्रामीण ने प्रशिक्षण पूरा किया है। सोमवार को इन महिलाओं ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की वर्चुअल उपस्थिति में हुए कार्यक्रम में अपने ड्रोन प्रशिक्षण कौशल का पर्दर्शन करते हुए आकाश में ड्रोन उड़ाया।
अग्रणी ड्रोन निर्माता कंपनी-मारुत ड्रोन्स ने नमो ड्रोन दीदी कार्यक्रम में 150 SHG (स्वयं सहायता समूह) महिलाओं को एग्री ड्रोन तकनीक से संचालित एग्रीकल्चर ड्रोन चलाने का प्रशिक्षण दिया है। कार्यक्रम सशक्त नारी-विकसित भारत में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वर्चुअल उपस्थिति के माध्यम से मारुत ड्रोन्स द्वारा प्रशिक्षित 150 से अधिक ड्रोन पायलटों को आकाश में मारुत के एजी365 ड्रोन्स को उड़ाते देखा।
मारुत ड्रोन्स के सीईओ एव संस्थापक प्रेम कुमार विस्लावाथ ने इस मौके पर कहा कि ड्रोन तकनीकी का उपयोग महिला सशक्तिकरण व समानता को आगे बढ़ाने के लिए किया जा रहा है।
उन्होंने कहा कि पुरुष वर्चस्व वाले क्षेत्रों जैसे कृषि व एयरोस्पेस में महिला ड्रोन पायलट बाधाओं को दूर रही हैं और कंपनी उनका सहयोग कर रही है। उन्होंने कहा कि मारुत ड्रोन्स की सफलता 100 नमो ड्रोन्स दीदियों में से 150 को सशक्त बनाते हुए ग्रामीण समृद्धि को आकार देने में आवश्यक भागीदार बनने में निहित है। प्रेम कुमार ने कहा किग्रामीण महिलाएं अब ड्रोन पायलट हो रही हैं और यह भारत में एक नयी शुरुआत है।
उनका कहना है कि मारुत ड्रोन्स के प्रशिक्षित एसएचजी महिलाओं की सफलता लैंगिक समावेशन लाने में ड्रोन प्रौद्योगिकी की दक्षता को प्रमुखता से रेखांकित करती है। मारुत के ड्रोन पायलट प्रशिक्षण पाठ्यक्रम ने 150 एसएचजी महिलाओं पर सकारात्मक प्रभाव डाला है।
नमो ड्रोन दीदी कार्यक्रम में मारुत ड्रोन्स से प्रशिक्षित उत्तर प्रदेश के प्रयाग जिले के फूलपुर की 90 महिलाओं और बिहार के चंपारण पूर्वी व मोतिहारी से 60 महिलाओं ने अपने ड्रोन प्रशिक्षण कौशल दिखाए।