केंद्रीय शिक्षा मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने कहा कि नेशनल टेस्टिंग एजेंसी (NTA) 2025 से केवल उच्च शिक्षा संस्थानों जैसेकि JEE Main, NEET , के लिए प्रवेश परीक्षाएं आयोजित करेगी। केंद्रीय एजेंसी भर्ती परीक्षा नहीं कराएगी। उन्होंने बताया कि राष्ट्रीय परीक्षा एजेंसी (एनटीए) का पुनर्गठन 2025 में किया जाएगा। इसमें 10 नए पद सृजित किए जाएंगे। मेडिकल में प्रवेश के लिए आयोजित होने वाली राष्ट्रीय पात्रता सह प्रवेश परीक्षा (NEET) के पेपर कथित तौर पर लीक होने और अन्य अनियमितताओं के चलते कई परीक्षाओं को रद्द किए जाने के बाद इस साल की शुरुआत में गठित एक उच्च स्तरीय समिति ने परीक्षा सुधारों के लिए सुझाव दिए थे, जिसके आधार पर यह कदम उठाया गया है।
केंद्रीय मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने कहा कि स्वास्थ्य मंत्रालय के साथ इस संबंध में बातचीत जारी है कि नीट-यूजी परीक्षा ‘कलम-कागज तरीके’ से आयोजित की जाए या ऑनलाइन। सरकार निकट भविष्य में कंप्यूटर आधारित परीक्षा और प्रौद्योगिकी आधारित प्रवेश परीक्षा की ओर कदम बढ़ाना चाहती है।
प्रधान ने संवाददाताओं से कहा, ‘‘एनटीए केवल उच्च शिक्षा के लिए प्रवेश परीक्षा आयोजित करने तक सीमित रहेगी और अगले साल से कोई भर्ती परीक्षा आयोजित नहीं करेगी।’’ मंत्री ने यह भी स्पष्ट किया कि संयुक्त विश्वविद्यालय प्रवेश परीक्षा (सीयूईटी)-यूजी का आयोजन साल में एक बार ही किया जाएगा।
उन्होंने कहा, ‘‘सरकार भविष्य में प्रौद्योगिकी का इस्तेमाल करते हुए कंप्यूटर आधारित प्रवेश परीक्षा कराने पर विचार कर रही है।’’ प्रधान ने कहा कि 2025 में एनटीए का पुनर्गठन किया जाएगा। उन्होंने कहा, ‘‘एजेंसी का 2025 में पुनर्गठन किया जाएगा, कम से कम दस नए पद सृजित किए जा रहे हैं और परीक्षा में एक भी गलती न हो, यह सुनिश्चित करने के लिए एटीए के कामकाज में कई बदलाव किए जाएंगे।’’
शिक्षा मंत्रालय ने NTA के कामकाज की समीक्षा के बाद परीक्षा सुधारों पर अपनी रिपोर्ट दाखिल करने के लिए भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (ISRO) के पूर्व प्रमुख के राधाकृष्णन की अध्यक्षता में एक उच्च स्तरीय समिति का गठन किया। NEET UG 2024 पेपर लीक और कथित गड़बड़ियों और पेपर लीक के कारण कई परीक्षाएं रद्द होने के बाद विशेषज्ञ पैनल का गठन किया गया था।
बता दें, नेशनल टेस्टिंग एजेंसी (NTA) फिलहाल भर्ती परीक्षाओं समेत कई तरह की परीक्षाएं आयोजित कराता है। अब उसका फोकस देश में यूनिवर्सिटीज कॉलेजों में प्रवेश की सुविधा उपलब्ध कराने की प्राथमिकता देने पर होगा।
इस बदलाव का मकसद हायर एजुकेशन के लिए इच्छुक छात्रों के लिए आसान और ज्यादा बेहतर प्रक्रिया सुनिश्चित करना है। हालांकि इस बदलाव की सटीक समयसीमा तय नहीं की गई है, लेकिन उम्मीद है कि इसे अगले कुछ वर्षों में धीरे-धीरे लागू किया जाएगा।
(इनपुट: एजेंसी)