अमेरिका का सबसे बड़ा इलेक्ट्रॉनिक इक्विटी एक्सचेंज, नैसडेक, भारत के दूसरे सबसे पुराने एक्सचेंज, अहमदाबाद स्टॉक एक्चेंज (एएसई) के साथ मुमकिन आर्थिक गठजोड़ के लिए बातचीत कर रहा है। यही नहीं नैसडेक भारत के अन्य क्षेत्रीय शेयर बाजारों के साथ भी सहयोग करने की पहल कर रहा है।
इसमें कोई शक नहीं कि अगर यह समझौता पक्का हो जाता है, तो अहमदाबाद स्टॉक एक्सचेंज देश का ऐसा पहला क्षेत्रीय शेयर बाजार होगा, जो किसी विदेशी शेयर बाजार के साथ साझा करेगा। नाम नहीं छापने की शर्त पर अहमदाबाद स्टॉक एक्सचेंज के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया,”अहमदाबाद स्टॉक एक्चेंज के साथ इक्विटी या फिर प्रौद्योगिकी में साझेदारी होगी। फिलहाल इस प्रस्ताव को नियामक संस्था और साफ करेगी और साथ ही इस समझौते के बारे में हम सबसे पहले अपने सदस्यों से मंजूरी लेंगे।” सूत्रों का कहना है कि इस समझौते का मुख्य उद्देश्य बंबई स्टॉक एक्सचेंज (बीएसई) एवं नेशनल स्टॉक एक्सचेंज (एनएसई) और साथ ही देश के अन्य दो सबसे बड़े इक्विटी बाजारों के समानांतर एक तीसरा प्लेटफार्म बनाना है।
उल्लेखनीय है कि नेशनल स्टॉक एक्सचेंज एशिया के पांच सर्वश्रेष्ठ शेयर बाजारों में से एक है। यह भी विदित है कि एनएसई ने नैसडेक के प्रतिस्पर्धी, न्यू यॉर्क स्टॉक एक्सचेंज के साथ गठजोड़ कर लिया है। बहरहाल, बंबई स्टॉक एक्सचेंज में 26 फीसदी प्रत्यक्ष विदेशी निवेश हिस्सेदारी पहले ही पहुंच चुकी है। इस एक्सचेंज में बड़े निवेशकों के रूप में डयूश बूर्स और सिंगापुर एक्सचेंज भी शामिल है। ऐसा समझा जा रहा है कि नैसडेक के साथ बहुत सारे क्षेत्रीय शेयर बाजार जुड़ेंगे लेकिन यह भी सनद रहे कि वह क्षेत्रीय शेयर बाजारों को कंपनी का रुप देने के बाद ही चयन कर पाएगा। इसका मतलब यह हुआ कि सदस्यों के हितों को भारतीय प्रतिभूति एवं विनिमय बोर्ड(सेबी) की जरुरतों के अनुरूप सबसे पहले शेयरहोल्डिंग में बदलना होगा।
हालांकि अहमदाबाद स्टॉक एक्सचेंज के कार्यकारी निदेशक के. के. मिश्रा ने नैसडेक के साथ हो रहे समझौते के बारे में कुछ बताने से मना कर दिया है। यही नहीं इसी संदर्भ में नैसडेक को भी किए गए मेल में कोई जवाब नहीं मिला है। जहां तक सेबी के डीम्युचुअलाईजेशन संबंधी दिशा-निदेर्शों की बात है, तो अहमदाबाद स्टॉक एक्सचेंज ने पिछले साल सितंबर महीने में लगभग 52 फीसदी हिस्सेदारी के भार को कम किया है। उल्लेखनीय है कि लगभग 49 आवेदकों ने अपना हिस्सा वापस ले लिया है, जिसमें आईएल व एफएस, निरमा क्रेडिट व कैपिटल, भगवती ग्रुप, कटारिया ऑटोमोबाइल्स और अंकित फाइनैंशियल सर्विसेज शामिल है।
बहरहाल, अहमदाबाद स्टॉक एक्सचेंज ने एक इक्विटी शेयर के लिए 12 रुपये निर्धारित किए हैं। एएसई द्वारा इक्विटी शेयर के मूल्यों को सूचीबध्द किए जाने अतिरिक्त, क्षेत्रीय शेयर बाजारों ने भी विनिवेश का रास्ता अख्तियार कर अपने सब्सिडी अहमदाबाद कैपिटल मार्केट लिमिटेड (एसीएमएल) के मूल्यों को खोल दिया है। सूत्रों का कहना है कि एक्सचेंज अब रेगुलेटरों से भी संपर्क कर रहा है, ताकि उसे वायदा बाजार में व्यापार करने की अनुमति मिल जाए।