facebookmetapixel
पांच साल में 479% का रिटर्न देने वाली नवरत्न कंपनी ने 10.50% डिविडेंड देने का किया ऐलान, रिकॉर्ड डेट फिक्सStock Split: 1 शेयर बंट जाएगा 10 टुकड़ों में! इस स्मॉलकैप कंपनी ने किया स्टॉक स्प्लिट का ऐलान, रिकॉर्ड डेट जल्दसीतारमण ने सभी राज्यों के वित्त मंत्रियों को लिखा पत्र, कहा: GST 2.0 से ग्राहकों और व्यापारियों को मिलेगा बड़ा फायदाAdani Group की यह कंपनी करने जा रही है स्टॉक स्प्लिट, अब पांच हिस्सों में बंट जाएगा शेयर; चेक करें डिटेलCorporate Actions Next Week: मार्केट में निवेशकों के लिए बोनस, डिविडेंड और स्प्लिट से मुनाफे का सुनहरा मौकाEV और बैटरी सेक्टर में बड़ा दांव, Hinduja ग्रुप लगाएगा ₹7,500 करोड़; मिलेगी 1,000 नौकरियांGST 2.0 लागू होने से पहले Mahindra, Renault व TATA ने गाड़ियों के दाम घटाए, जानें SUV और कारें कितनी सस्ती हुईसिर्फ CIBIL स्कोर नहीं, इन वजहों से भी रिजेक्ट हो सकता है आपका लोनBonus Share: अगले हफ्ते मार्केट में बोनस शेयरों की बारिश, कई बड़ी कंपनियां निवेशकों को बांटेंगी शेयरटैक्सपेयर्स ध्यान दें! ITR फाइल करने की आखिरी तारीख नजदीक, इन बातों का रखें ध्यान

FD में लगाएं रकम जमकर, रिटर्न मिलेगा झोली भरकर

दरें बदलने के साथ टुकड़ों में करे निवेश ताकि तरलता बनी रहे और कम ब्याज पर एकमुश्त निवेश का जोखिम भी रहे दूर

Last Updated- March 05, 2023 | 11:55 PM IST
Rupee

भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने 2022 में रीपो दर में एक के बाद एक कई बार इजाफा किया और इस साल फरवरी में भी रीपो दर 25 आधार अंक बढ़ा दी, जिससे बैंकों की सावधि (जमा एफडी) पर ब्याज की दर भी बढ़ती गई। कई बैंक इस समय एफडी पर 7.5 फीसदी ब्याज दे रहे हैं और कुछ बैंक तो 8 फीसदी से ज्यादा ब्याज भी दे रहे हैं। साल भर पहले बड़े सरकारी बैंक भी 5 फीसदी से कुछ ऊपर ही ब्याज दे रहे थे। जानकारों की राय है कि लंबी अवधि के लिए एफडी में पैसा लगाने का सबसे अच्छा मौका 2023 की शुरुआती दो-तीन तिमाहियों में ही मिलेगा।

और बढ़ेगा एफडी पर ब्याज?

मई, 2022 से आरबीआई रीपो दर में 250 आधार अंक का इजाफा कर चुका है। जानकारों को लगता है कि दर में बढ़ोतरी का सिलसिला खत्म होने वाला है और एक या दो बार मामूली वृद्धि ही की जाएगी।

मनी हनी फाइनैंशियल सर्विसेज के संस्थापक अनूप भैया कहते हैं, ‘आरबीआई आगे ब्याज दरें बढ़ाने में दिलचस्पी शायद ही ले क्योंकि वह नहीं चाहेगा कि पटरी पर लौटती अर्थव्यवस्था को इससे धक्का पहुंचे। लेकिन अमेरिकी फेडरल रिजर्व द्वारा ब्याज बढ़ाए जाने जैसे बाहरी कारक यहां भी दरें बढ़ाने को मजबूर कर सकते हैं।’ अगर ब्याज दरें बढ़ीं तो एफडी पर ब्याज भी अभी और बढ़ सकता है।

कर्ज की जबरदस्त मांग के कारण भी बैंक एफडी पर ज्यादा ब्याज दे सकते हैं ताकि उनके पास अधिक से अधिक जमा राशि आ सके। बैंकबाजार के मुख्य कार्य अधिकारी (CEO) आदिल शेट्टी कहते हैं, ‘मई, 2022 से अभी तक रीपो दर 4 फीसदी से बढ़कर 6.5 फीसदी हो चुकी हैं। ज्यादातर बैंकों और संस्थाओं ने कर्ज की ब्याज दर 200 आधार अंक से भी ज्यादा बढ़ा दी है मगर जमा दरों में बमुश्किल 150 आधार अंक तक का ही इजाफा हुआ है। अभी दरों में और इजाफा हो सकता है। आरबीआई के आंकड़े बताते हैं कि पिछले वित्त वर्ष की तुलना में इस बार जमा में केवल 9.7 फीसदी इजाफा हुआ है, जबकि खुदरा कर्ज लगभग 18 फीसदी बढ़ चुका है। इसलिए बैंक जमा बढ़ाने पर जोर दे रहे हैं।’

तो एफडी में लगाएं रकम?

अगर आपके पास अलग से पैसा पड़ा है, जिसके लिए आप निवेश का सुरक्षित ठिकाना तलाश रहे हैं तो एफडी करा लीजिए। पैसाबाजार के वरिष्ठ निदेशक गौरव अग्रवाल कहते हैं, ‘कम अवधि के लिए पैसा कहीं जमा करने के या निकट भविष्य के वित्तीय लक्ष्यों के वास्ते निवेश करने के इच्छुक उपभोक्ता एफडी शुरू कर सकते हैं। जो ज्यादा जोखिम नहीं लेना चाहते और बाजार के जोखिमों से बचना चाहते हैं, उनके लिए भी एफडी अच्छी है।’

अनूप भैया को भी लगता है कि दो से तीन साल के लिए निवेश करने की सोच रहे लोगों के लिए एफडी की इस समय सबसे उम्दा विकल्प है।

ब्याज नापतोल लें

एफडी शुरू करने से पहले देख लीजिए कि तमाम बैंक कितना-कितना ब्याज दे रहे हैं। अग्रवाल बताते हैं, ‘ज्यादातर स्मॉल फाइनैंस बैंक और निजी क्षेत्र के कई बैंक एफडी पर 7.5 फीसदी से ऊपर ब्याज दे रहे हैं। स्मॉल फाइनैंस बैंकों को भी रिजर्व बैंक ने अनुसूचित बैंकों करार दिया है, इसलिए उनमें रकम जमा करने वालों को भी जमाकर्ता बीमा कार्यक्रम के तहत सुरक्षा मिलती है।

यदि बैंक पर कोई आंच आती है तो जमा बीमा एवं ऋण गारंटी निगम द्वारा चलाए जा रहे इस कार्यक्रम के तहत प्रत्येक जमाकर्ता की 5 लाख रुपये तक की रकम सुरक्षित रहती है।’
मगर एफडी में आप जो भी रकम डाल रहे हैं, उसमें से 20-25 फीसदी से ज्यादा राशि स्मॉल फाइनैंस बैंक की एफडी में नहीं डालें। साथ ही यह भी देख लें कि समय से पहले एफडी तोड़ने पर क्या शर्तें हैं। अधिक ब्याज देने वाली विशेष जमा योजनाओं में समय से पहले निकासी की इजाजत नहीं होती। शेट्टी बताते हैं, ‘वक्त से पहले एफडी तोड़ी जाए तो ज्यादातर एफडी में 1 फीसदी तक ब्याज बतौर जुर्माना काट लिया जाता है।’

किस्तों में करें जमा

यदि आपका कोई खास लक्ष्य नहीं है मगर आप चाहते हैं कि बीच-बीच में नकदी आती रहे तो एफडी में रकम किस्तों में लगाएं यानी अलग-अलग परिपक्वता अवधि जैसे 1 साल, 2 साल, 3 साल, 5 साल या 10 साल की एफडी में निवेश करें। इससे आपकी एफडी नियमित अंतराल पर पूरी होती रहेंगी। साथ ही आप उस समय अपनी समूची रकम निवेश करने के जोखिम से भी बच जाएंगे, जब ब्याज दर सबसे कम हो।

इसका एक फायदा तरलता यानी नकदी की तुरंत उपलब्धता भी है। शेट्टी की सलाह है, ‘बड़ी रकम की एक एफडी कराने से अच्छा है कि छोटी-छोटी रकम और अलग-अलग अवधि की कई एफडी कराई जाएं। इससे आपको लगातार नकदी मिलती रहेगी।’
निकट भविष्य में यदि एफडी पर ब्याज और बढ़ता है तो फौरन रकम लगा दें। शेट्टी समझाते हैं, ‘2023 की पहली या दूसरी तिमाही में एफडी की ब्याज दर चरम पर पहुंचने की उम्मीद है। इसलिए अगले तीन से आठ महीनों में कम-कम रकम की अलग-अलग एफडी खोलना अच्छा रहेगा।’

डेट फंड पर डालें नजर

अधिक आय वाले व्यक्ति यदि तीन साल के लि निवेश करना चाहते हैं तो वे करोपरांत बेहतर रिटर्न के लिए कम अवधि के बॉन्ड फंड देख सकते हैं। पांच से सात साल के लिए निवेश देख रहे लोग गिल्ट फंड आजमा सकते हैं। शेट्टी कहते हैं, ‘ऊंचे रिटर्न के बाद भी कर कटने के बाद एफडी से होने वाली आय शायद महंगाई के हिसाब से वाजिब न रहे। इसलिए कम अवधि की बचत और आपातकालीन रकम के लिहाज से एफडी तथा आवर्ती जमा (आरडी) में भरोसा बनाए रखें। बड़ी रकम इकट्ठी करनी है तो म्युचुअल फंड में निवेश करें।’

First Published - March 5, 2023 | 11:55 PM IST

संबंधित पोस्ट