आम तौर पर कमजोर मानी जाने वाली तीसरी तिमाही में देश की प्रमुख सूचना प्रौद्योगिकी कंपनी टाटा कंसल्टेंसी सर्विसेज (TCS) का प्रदर्शन अपेक्षाकृत बेहतर रहा है। हालांकि वैश्विक आर्थिक हालात का असर कंपनी के सौदों में दिख रहा है।
चालू वित्त वर्ष की तीसरी तिमाही (अक्टूबर-दिसंबर) में टीसीएस का शुद्ध मुनाफा पिछले साल की समान तिमाही की तुलना में 11 फीसदी बढ़कर 10,846 करोड़ रुपये रहा। इस दौरान कंपनी की आय 19.1 फीसदी बढ़कर 58,229 करोड़ रुपये रही। स्थिर मुद्रा के हिसाब से सालाना आधार पर कंपनी ने अपनी आय में 13.5 फीसदी की वृद्धि दर्ज की। चालू वित्त वर्ष की दूसरी तिमाही की तुलना में तीसरी तिमाही में टीसीएस की आय 5.2 फीसदी बढ़ी है।
कंपनी ने आय के मामले में ब्लूमबर्ग के अनुमान को पीछे छोड़कर अच्छा प्रदर्शन किया। हालांकि शुद्ध मुनाफे में वह पिछड़ गई। ब्लूमबर्ग ने 11,064 करोड़ रुपये शुद्ध मुनाफे का अनुमान लगाया था। तीसरी तिमाही में कंपनी ने सभी बाजारों और कारोबार में अच्छा प्रदर्शन किया है। टीसीएस ने आगे के आय का कोई अनुमान जाहिर नहीं किया लेकिन प्रबंधन ने कहा कि मांग परिदृश्य और प्रौद्योगिकी पर ग्राहकों के खर्च पर खास असर नहीं पड़ेगा।
टीसीएस के मुख्य कार्याधिकारी और प्रबंध निदेशक राजेश गोपीनाथन ने कहा, ‘समीक्षाधीन तिमाही में अलग-अलग बाजारों में मांग का रुझान भिन्न रहा। उत्तर अमेरिका में अच्छी मांग बनी रही। ब्रिटेन में परिचालन माहौल चुनौती भरा रहा और यूरोप में भू-राजनीतिक चुनौतियों का असर देखा गया।’
गोपीनाथन ने कहा कि मौजूदा अनिश्चितता के बावजूद लंबी अवधि में वृद्धि का परिदृश्य बेहतर दिख रहा है। हालांकि वैश्विक अनिश्चितता का असर कंपनी के तिमाही नतीजों पर दिखा है।
अक्टूबर-दिसंबर तिमाही के दौरान कुल अनुबंध मूल्य 7.8 अरब डॉलर रहा। पिछली तीन से चार तिमाहियों में कंपनी का कुल अनुबंध मूल्य 8 अरब डॉलर से अधिक रहा है। कंपनी ने अगले वित्त वर्ष के सौदों के बारे में जानकारी नहीं दी लेकिन इतना जरूरत कहा कि सौदों पर अभी तक कोई असर नहीं पड़ा है। टीसीएस के मुख्य परिचालन अधिकारी और कार्यकारी निदेशक एन गणपति सुब्रमणयम ने कहा कि अभी तक चिंता जैसी कोई बात नहीं है।
हालांकि विश्लेषकों का कंपनी के तिमाही नतीजों के आंकड़ों पर अलग-अलग राय है। शेयरखान बाय बीएनपी पारिबा में शोध प्रमुख संजीव होटा ने कहा, ‘कंपनी प्रबंधन के बयान से अनिश्चित वैश्विक माहौल के मद्देनजर अल्पावधि एवं मध्यम अवधि में मांग को लेकर कमजोर रुख नजर आता है। हालांकि भारतीय आईटी क्षेत्र की संरचनात्मक वृद्धि मजबूत है और अग्रणी कंपनी होने के नाते टीसीएस और मजबूती के साथ उभर सकती है।’
यह भी पढ़ें: बुनियादी ढांचे का विकास हो सरकार की शीर्ष प्राथमिकता : नाइक
इलारा कैपिटल ने कहा, ‘आम तौर पर कमजोर रहने वाली तिमाही में टीसीएस का प्रदर्शन बेहतर रहा है। टीसीएस ने 7.8 अरब डॉलर के कुल अनुबंध मूल्य के सौदे हासिल किए, जो 2.6 फीसदी की सालाना वृद्धि को दर्शाता है।’ मार्जिन की बात करें तो कंपनी का परिचालन मार्जिन 24.5 फीसदी रहा।
अनुकूल मुद्रा स्थिति की वजह से मार्जिन में 70 आधार अंक का फायदा हुआ है लेकिन तीसरे पक्ष की लागत बढ़ने से इसका पूरा लाभ नहीं मिल पाया। टीसीएस के मुख्य वित्त अधिकारी समीर सेकसरिया ने कहा कि कंपनी को पूरा भरोसा है कि चालू वित्त वर्ष के अंत तक कंपनी का मार्जिन 25 फीसदी रहेगा।
वित्त वर्ष 2023 की तीसरी तिमाही में टीसीएस के कुल कर्मचारियों की संख्या 2,197 फीसदी घटकर 6,13,974 रही। वित्त वर्ष 2021 की पहली तिमाही में बाद यह पहला मौका है जब कंपनी के कुल कर्मचारियों की संख्या में कमी आई है।