सुस्त आर्थिक विकास की आशंका के चलते मांग में कमी और डॉलर में मजबूती के चलते कच्चे तेल की कीमतों में गिरावट जारी है।
इस हफ्ते तेल की कीमतों में 5 फीसदी की कमी आई है और चार हफ्तों पहले जब कीमतें रेकॉर्ड 147 डॉलर प्रति बैरल के स्तर पर पहुंच गईं थीं तब से अब तक कच्चे तेल की कीमतों में 19 फीसदी की कमी आ चुकी है। इस वजह से भारतीय तेल कंपनियों को भी कुछ राहत मिली है।
तेल की कीमतों में कमी से इंडियन बॉस्केट की कीमतें भी गुरुवार को कम होकर 116 डॉलर प्रति बैरल तक पहुंच गईं। गौरतलब है कि इंडियन बास्केट की कीमत भी दुनिया के कमोडिटी एक्सचेंजों में तेल की कीमत के आधार पर तय होता है। जैसे ही तेल की कीमतें बढ़ती हैं वैसे ही तेल कंपनियों की उत्पादन लागत भी बढ़ जाती है।