आखिरकार यह पता चल ही गया कि विदेशी संस्थागत निवेशकों की ओर से शॉर्ट सेलिंग, शेयर बाजार में तेज गिरावट की असल वजह नहीं थी। सरकारी आंकड़ों की मानें तो आठ अक्टूबर तक बाजार में मौजूद 224 कंपनियों के 10000 करोड़ शेयरों में से केवल 19.2 करोड़ शेयर ही उन्होंने बेचे थे। यह कुल बाजार […]