आखिर जिस टेक्निकल पुलबैक की उम्मीद थी वह हो ही गया, हालांकि यह पुलबैक खासकर अंतरराष्ट्रीय बाजार की तेजी और शार्ट कवरिंग की वजह से हुआ।
मंदड़ियों ने अपनी शार्ट पोजीशन निचले स्तरों पर कवर कीं और तेजड़ियों को आगे बढ़ने का रास्ता दिया। निफ्टी जुलाई वायदा 4075 पर बंद हुआ जबकि 3928 के औसत पर कारोबार हो रहा था। ब्लूमबर्ग के आंकडों के मुताबिक जुलाई वायदा का दो तिहाई वॉल्यूम 3866 पर हुआ जबकि एक तिहाई 4002 के औसत भाव पर।
निफ्टी वायदा की ही तरह रिलायंस, डीएलएफ, एल ऐंड टी और टाटा स्टील जैसे बड़े स्टॉक फ्यूचर्स में शार्ट कवरिंग देखी गई। रिलायंस जुलाई वायदा 2158 पर बंद हुआ जबकि इसके कारोबार का औसत भाव 2067 का है, रिलायंस का दो तिहाई कारोबार 2046 पर हुआ है जबकि एक तिहाई 2127 पर। इससे साफ है कि निचले स्तरों पर शार्ट कवरिंग हो रही है जबकि तेजड़िए ऊंचे स्तरों पर लंबी पोजीशन लेने से कतरा रहे हैं। निफ्टी जुलाई वायदा का ट्रेडिंग वॉल्यूम 19,800 करोड़ रुपए का रहा और लांग पोजीशन निपटने से इसका ओपन इंटरेस्ट बीस लाख शेयरों से कम हो गया।
एंजिल ब्रोकिंग के सिध्दार्थ भामरे के मुताबिक गुरुवार को बाजार गैपअप ओपनिंग के साथ खुल सकता है। हालांकि यह टेक्निकल पुलबैक 4250-4300 के आसपास ताजा शार्ट पोजीशन बनने के आसार से रुक जाएगा। निफ्टी का पुट कॉल रेशियो आखिरकार एक से ऊपर निकल गया, ऐसा 3800 के प्राइस पर पुट सौदों की खरीद होने से हुआ है जबकि 4100, 4200 और 4300 के स्तर पर कॉल ऑप्शंस निपटाए जा रहे हैं। इससे साफ है कि कारोबारी 3800 के स्तर पर भारी सपोर्ट देख रहे हैं और ताजा पुलबैक निफ्टी को 4300 के स्तर तक ले जा सकता है।