महाराष्ट्र

Maharashtra: कृषि मजदूरों के लिए शुरू होगी नई योजना, आत्महत्या रोकने और खेती में सुधार पर होगा फोकस

सरकार किसानों को समृद्ध बनाने के लिए निर्यात योग्य फसलों की खेती को प्रोत्साहित कर रही है। फसलों को संपत्ति और देयता दो तरीकों में विभाजित किया जाएगा।

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सुशील मिश्र   
Last Updated- July 11, 2025 | 7:25 PM IST

महाराष्ट्र सरकार किसानों की आत्महत्याओं को रोकने और कल्याण के लिए जल्द ही नई योजना लागू करेगी। नई योजना के साथ कृषि क्षेत्र में निवेश बढ़ाने के लिए सरकार रणनीति तैयार कर रही है। महाराष्ट्र के कृषि राज्य मंत्री एडवोकेट आशीष जायसवाल ने घोषणा की राज्य में कृषि मजदूरों को सामाजिक सुरक्षा प्रदान करने वाली एक नई योजना जल्द ही लागू की जाएगी।

वित्त एवं योजना, सहायता एवं पुनर्वास, विधि एवं न्याय, श्रम और कृषि राज्य मंत्री एडवोकेट आशीष जायसवाल ने विधानसभा में नियम 293 के तहत विपक्षी दलों द्वारा पेश किए गए प्रस्ताव का जवाब देते कहा कि राज्य में 1 करोड़ 71 लाख किसान हैं। सरकार इन किसानों के जीवन में सकारात्मक बदलाव लाने के लिए प्रतिबद्ध है। राज्य में नमो शेतकरी सम्मान योजना, फसल बीमा योजना, कृषि यंत्रीकरण, गोपीनाथ मुंडे शेतकरी अनुदान योजना सहित 69 हजार 889 करोड़ रुपये खर्च किए गए हैं।

पिछले तीन वर्षों में नमो शेतकरी सम्मान योजना के माध्यम से 56 हजार 293 करोड़ रुपये प्रदान किए गए हैं। मुख्यमंत्री बलिराजा बिजली सब्सिडी योजना के माध्यम से 19 हजार 310 करोड़ रुपये खर्च किए गए हैं, जिसमें अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति वर्ग के किसान शामिल हैं। फसल बीमा योजना के माध्यम से 16 हजार 389 करोड़ रुपये प्रदान किए गए हैं, और मुआवजे के लिए 19 हजार 592 करोड़ रुपये प्रदान किए गए हैं।

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निर्यात योग्य फसलों को प्रोत्साहन

सरकार किसानों को समृद्ध बनाने के लिए निर्यात योग्य फसलों की खेती को प्रोत्साहित कर रही है। फसलों को संपत्ति और देयता दो तरीकों में विभाजित किया जाएगा। सरकार उन किसानों की मदद करेगी जिन्हें फसल बीमा योजना के तहत सहायता नहीं मिली है। चूंकि सरकार ने फसल बीमा योजना को एक रुपये में बदल दिया है, इसलिए शेष 5 हजार करोड़ रुपये का पूंजी निवेश कृषि क्षेत्र में किया जाएगा। कृषि विभाग में लाभ के लिए लॉटरी प्रणाली को बंद कर दिया गया है और पहले आओ, पहले पाओ के आधार पर लाभ दिया जाएगा। जिस योजना में अधिक मांग होगी, उसमें परिव्यय बढ़ाया जाएगा। किसानों की जरूरतों के अनुसार आवश्यक वस्तुओं के लिए एक सर्वेक्षण किया जाएगा और तदनुसार सामग्री प्रदान की जाएगी।

जैविक खेती से रासायनिक उर्वरकों पर सब्सिडी खर्च हुआ कम

कृषि राज्य मंत्री ने कहा कि राज्य में जैविक और प्राकृतिक खेती को बढ़ावा दिया जा रहा है। जैविक खेती के कारण राज्य का रासायनिक उर्वरकों पर सब्सिडी खर्च कम हो रहा है। फसलों को वन्‍यजीवों से बचाने के लिए नई नीति लाई जाएगी। राज्य सरकार फसल पैटर्न बदलने, बाड़ लगाने और जंगली जानवरों की समस्या के कारण खेती छोड़ने वाले किसानों को सब्सिडी देने की योजना पर विचार कर रही है। प्राकृतिक आपदाओं के कारण फसलों को नुकसान होता है। लगातार खराब हो रही फसलों के बदले नई फसलें उगाने की योजना लाई जाएगी।

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सरकार फसल प्रबंधन और कीट एवं रोग नियंत्रण के लिए 500 करोड़ रुपये के प्रावधान के साथ एक कृत्रिम बुद्धिमत्ता आधारित नीति लेकर आई है। साथ ही, पंचनामा को तेज गति से पूरा करने के लिए एमआर एसएसी के सहयोग से गतिविधियों को लागू किया जाएगा। उर्वरक लिंकेज की शिकायतों के समाधान के लिए प्रत्येक तालुका में एक विशेष अधिकारी नियुक्त किया जाएगा।

First Published : July 11, 2025 | 7:18 PM IST