सेलेबीतुर्किये की प्रमुख ग्राउंड हैंडलिंग कंपनी सेलेबी एविएशन ने भारत सरकार द्वारा उसका सुरक्षा मंजूरी रद्द करने के फैसले को दिल्ली की एक अदालत में चुनौती दी है। कंपनी ने अपनी याचिका में कहा है कि सरकार ने राष्ट्रीय सुरक्षा के आधार पर मंजूरी रद्द की, लेकिन इसके पीछे का कारण स्पष्ट नहीं बताया गया। सरकार का यह फैसला सेलेबी के भारत में प्रमुख हवाई अड्डों पर संचालन को प्रभावित कर रहा है, जहां कंपनी पिछले एक दशक से सेवाएं दे रही है।
बता दें कि भारत सरकार ने गुरुवार को सेलेबी एविएशन की सुरक्षा मंजूरी रद्द कर दी, जिसके बाद कंपनी की विभिन्न इकाइयों जैसे सेलेबी एयरपोर्ट सर्विसेज इंडिया प्राइवेट लिमिटेड, सेलेबी जीएच इंडिया प्राइवेट लिमिटेड, सेलेबी नास एयरपोर्ट सर्विसेज इंडिया प्राइवेट लिमिटेड, सेलेबी दिल्ली कार्गो टर्मिनल मैनेजमेंट इंडिया प्राइवेट लिमिटेड और सेलेबी जीएस चेन्नई प्राइवेट लिमिटेड के संचालन को निलंबित कर दिया गया। यह मंजूरी भारत में हवाई अड्डों पर यात्री सेवाएं, कार्गो मैनेजमेंट और अन्य महत्वपूर्ण सेवाएं के लिए जरूरी है।
सेलेबी एविएशन भारत के नौ प्रमुख हवाई अड्डों पर यात्री सेवाएं, उड़ान संचालन, कार्गो मैनेजमेंट, रैंप सर्विस और गोदाम प्रबंधन जैसे कार्य संभालती है। इसमें दिल्ली, मुंबई, बेंगलुरु और हैदराबाद जैसे बड़े हवाई अड्डे भी शामिल हैं। कंपनी मुंबई हवाई अड्डे पर 70% ग्राउंड ऑपरेशन्स का प्रबंधन करती है। इसके अलावा, सेलेबी 5.4 लाख टन कार्गो और 58,000 उड़ानों का प्रबंधन करती थी। कंपनी सामान्य विमानन और डाक सेवाओं में भी विशेष सहायता मुहैया कराती है।
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इस फैसले का कारण हाल ही में भारत और पाकिस्तान के बीच तनाव को माना जा रहा है। पिछले सप्ताह पाकिस्तानी सेना द्वारा भारत के खिलाफ तुर्किये निर्मित ड्रोनों के इस्तेमाल की खबरें सामने आई थी। इसके साथ ही, तुर्किये ने भारत के ऑपरेशन सिंदूर के बाद पाकिस्तान का समर्थन करने की बात कही थी, जिसमें भारत ने पड़ोसी देश में आतंकी ढांचे को निशाना बनाया था।
सेलेबी ने अपने बयान में भारत में अपनी हिस्सेदारी को स्पष्ट करते हुए कहा कि कंपनी का 65% स्वामित्व कनाडा, अमेरिका, ब्रिटेन, सिंगापुर, यूएई और पश्चिमी यूरोप के अंतरराष्ट्रीय निवेशकों के पास है। इसमें जर्सी में पंजीकृत एक्टेरा पार्टनर्स II एल.पी. की 50% हिस्सेदारी और नीदरलैंड की अल्फा एयरपोर्ट सर्विसेज बीवी की 15% हिस्सेदारी शामिल है। कंपनी ने सोशल मीडिया पर अपनी हिस्सेदारी और संचालन को लेकर फैल रही अफवाहों को भी खारिज किया।
यह मामला अब दिल्ली की अदालत में विचाराधीन है, जहां सेलेबी ने सरकार से सुरक्षा मंजूरी रद्द करने के कारणों को स्पष्ट करने की मांग की है। इस फैसले का असर भारत के हवाई अड्डों पर सेवाओं और कार्गो प्रबंधन पर पड़ सकता है।