केंद्रीय मंत्रिमंडल ने केंद्र सरकार के कर्मचारियों के लिए महंगाई भत्ते (डीए) और पेंशनभोगियों के लिए महंगाई राहत (डीआर) में 4 फीसदी की वृद्धि करने के प्रस्ताव को आज मंजूरी दे दी। सरकार ने कहा है कि ऐसा महंगाई की भरपाई के लिए किया गया है।
मंत्रिमंडल ने भारतीय रेल के सभी पात्र अराजपत्रित कर्मचारियों को वर्ष 2022-23 के लिए 78 दिनों के वेतन के बराबर उत्पादकता से जुड़े बोनस (पीएलबी) देने के प्रस्ताव को भी मंजूरी दी है।
सूचना एवं प्रसारण मंत्री अनुराग ठाकुर ने केंद्रीय मंत्रिमंडल की बैठक के बाद संवाददाताओं से कहा कि महंगाई भत्ते और महंगाई राहत की अतिरिक्त किस्त 1 जुलाई, 2023 से लागू होगी। सरकार की ओर से जारी प्रेस विज्ञप्ति में कहा गया है, ‘यह वृद्धि 7वें केंद्रीय वेतन आयोग की सिफारिशों पर आधारित फॉर्मूले के अनुरूप है।’
वित्त मंत्रालय के एक प्रेस बयान में कहा गया है कि महंगाई भत्ते और महंगाई राहत दोनों के कारण सरकारी खजाने पर कुल मिलाकर सालाना 12,857 करोड़ रुपये का बोझ पड़ेगा। इस पहल से केंद्र सरकार के करीब 48,67,000 कर्मचारियों और 67,95,000 पेंशनभोगियों को लाभ होगा।
फिलहाल 10 करोड़ से अधिक केंद्र सरकार के कर्मचारियों और पेंशनभोगियों को मूल वेतन का 42 फीसदी महंगाई भत्ते के रूप में मिल रहा है। कर्मचारियों और पेंशनभोगियों के लिए महंगाई भत्ता का निर्धारण श्रम ब्यूरो द्वारा औद्योगिक श्रमिकों के लिए हर महीने जारी ताजा उपभोक्ता मूल्य सूचकांक (सीपीआई-आईडब्ल्यू) के आधार पर होता है।
महंगाई भत्ता में इससे पहले 24 मार्च, 2023 को संशोधन किया गया था जो 1 जनवरी, 2023 से प्रभावी था। भत्ते को साल में दो बार समय-समय पर संशोधित किया जाता है।
रेल कर्मियों को दीवाली बोनस
रेलवे ने वित्त वर्ष 2023 में रिकॉर्ड 150.9 करोड़ टन माल और करीब 6.5 अरब यात्रियों की ढुलाई की। केंद्रीय मंत्री ने विज्ञप्ति में कहा, ‘रेलवे कर्मचारियों के इस उम्दा प्रदर्शन को देखते हुए केंद्र सरकार ने 11,07,346 रेलवे कर्मचारियों के लिए 1,968.87 करोड़ रुपये के पीएलबी भुगतान को मंजूरी दी है। वर्ष 2022-23 में रेलवे का प्रदर्शन काफी अच्छा रहा।’
पीएलबी अथवा दीवाली बोनस के लिए पात्र कर्मचारियों में ट्रैक का रखरखाव करने वाले कर्मचारियों के अलावा रेलवे पायलट, ट्रेन मैनेजर (गार्ड), स्टेशन मास्टर, सुपरवाइजर, टेक्नीशियन, टेक्नीशियन सहायक, पॉइंट्समैन, मंत्रालय के कर्मचारी एवं ग्रुप सी के अन्य कर्मचारी शामिल हैं।
रेलवे सुरक्षा बल और रेलवे सुरक्षा विशेष बल के कर्मचारी इस योजना के दायरे में नहीं हैं। इस साल के आरंभ में रेलवे कर्मचारियों की यूनियन ने न्यूनतम वेतन में संशोधन की मांग की थी क्योंकि पीएलबी का वितरण छठे वेतन आयोग द्वारा निर्धारित न्यूनतम वेतन के आधार पर किया गया था। जबकि रेलवे वर्षों पहले सातवें वेतन आयोग की सिफारिशों को लागू चुका है।