facebookmetapixel
Gold Outlook: क्या अभी और सस्ता होगा सोना? अमेरिका और चीन के आर्थिक आंकड़ों पर रहेंगी नजरेंSIP 15×15×15 Strategy: ₹15,000 मंथली निवेश से 15 साल में बनाएं ₹1 करोड़ का फंडSBI Scheme: बस ₹250 में शुरू करें निवेश, 30 साल में बन जाएंगे ‘लखपति’! जानें स्कीम की डीटेलDividend Stocks: 80% का डिविडेंड! Q2 में जबरदस्त कमाई के बाद सरकारी कंपनी का तोहफा, रिकॉर्ड डेट फिक्सUpcoming NFO: अगले हफ्ते होगी एनएफओ की बारिश, 7 नए फंड लॉन्च को तैयार; ₹500 से निवेश शुरूDividend Stocks: 200% का तगड़ा डिविडेंड! ऑटो पार्ट्स बनाने वाली कंपनी का बड़ा तोहफा, रिकॉर्ड डेट फिक्सUpcoming IPOs This Week: निवेशक पैसा रखें तैयार! इस हफ्ते IPO की लिस्ट लंबी, बनेगा बड़ा मौकाInCred Holdings IPO: इनक्रेड होल्डिंग्स ने आईपीओ के लिए आवेदन किया, ₹3,000-4,000 करोड़ जुटाने की योजनात्योहारी सीजन में EV की टक्कर! ₹16 लाख की VinFast ने ₹60 लाख वाली Tesla को छोड़ा पीछेEarthquake Today: अंडमान में धरती डोली! 5.4 तीव्रता के झटकों से दहशत

GST Council: गेमिंग टैक्स पर पुनर्विचार की मांग

इस निर्णय का अगले तीन-चार साल में करीब 4 अरब डॉलर के संभावित निवेश पर भी विपरीत प्रभाव पड़ेगा और इससे भारत में गेमिंग क्षेत्र का विकास बा​धित हो जाएगा।

Last Updated- July 21, 2023 | 9:46 PM IST
TDS will tighten on gaming firms

करीब 30 घरेलू और विदेशी निवेशकों ने वस्तु एवं सेवा कर (GST) परिषद द्वारा ऑनलाइन गेम की संपूर्ण वैल्यू पर 28 प्रतिशत जीएसटी लगाने के निर्णय पर पुनर्विचार करने को कहा है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को संबो​धित इस पत्र के अनुसार, ‘निवेश कंपनियों का कहना है कि यह निर्णय संवैधानिक रूप से संर​क्षित वैध ऑनलाइन कौशल गेमिंग उद्योग को जुए, सट्टेबाजी के साथ जोड़ने की अनुचित को​शिश है।’ इसमें कहा गया है, ‘इस कर से निवेश प्रभावित होगा और निवेशकों का भरोसा डगमगाएगा।’

उनका कहना है कि इस निर्णय का उद्योग पर नकारात्मक प्रभाव पड़ेगा और 50,000 से ज्यादा उच्च-कुशल रोजगार और 10 लाख से ज्यादा उन भारतीय नागरिकों की आजीविका को नुकसान पहुंच सकता है, जो इस उद्योग से अप्रत्यक्ष तौर पर जुड़े हुए हैं।

पत्र में कहा गया है, ‘उद्योग करीब 1 अरब डॉलर का खर्च विज्ञापन पर भी करता है, जो पूरी तरह समाप्त हो जाएगा, जिसका मीडिया एवं एंटरटेनमेंट उद्योग पर विपरीत प्रभाव पड़ेगा।’ इस निर्णय का अगले तीन-चार साल में करीब 4 अरब डॉलर के संभावित निवेश पर भी विपरीत प्रभाव पड़ेगा और इससे भारत में गेमिंग क्षेत्र का विकास बा​धित हो जाएगा।सरकार के इस कदम के ​खिलाफ निवेशकों द्वारा प्रत्यक्ष रूप से हस्तक्षेप का यह पहला उदाहरण है।

Also Read: RIL Q1 results: रिलायंस का नेट प्रॉफिट 11 फीसदी घटकर 16,011 करोड़ रुपये पर पहुंचा

इस पत्र पर हस्ताक्षर करने वाली कंपनियों में पीक एक्सवी पार्टनर्स, क्रिसकैपिटल, कालारी कैपिटल, लुमिकई और मैट्रिक्स पार्टनर्स इंडिया मुख्य रूप से शामिल हैं। वहीं 19 विदेशी कंपनियों ने भी इस पर हस्ताक्षर किए। इनमें टाइगर ग्लोबल मैनेजमेंट, ट्राइब कैपिटल, रिप​ब्लिक कैपिटल और टेल्स्ट्रा वेंचर्स जैसी कंपनियां शामिल हैं। पिछले सप्ताह, 100 से ज्यादा गेमिंग कंपनियों ने इस संबंध में वित्त मंत्री को पत्र ​लिखा था।

First Published - July 21, 2023 | 9:46 PM IST

संबंधित पोस्ट