डीलरों ने बताया कि अमेरिका के राष्ट्रपति डॉनल्ड ट्रंप द्वारा 1 फरवरी से कनाडा और मैक्सिको पर 25 प्रतिशत शुल्क लगाने की धमकी के बाद डॉलर सूचकांक में मजबूती आई और इसकी वजह से मंगलवार को शुरुआती बढ़त के बाद रुपया कमजोर हुआ। सोमवार के मुकाबले रुपया लगभग अपरिवर्तित स्तर पर बंद हुआ।
कार्यभार संभालने के पहले दिन ट्रंप ने शुल्क को लेकर कोई घोषणा नहीं की और डॉलर सूचकांक में गिरावट आई। डॉलर सूचकां गिरकर 108.21 पर पहुंच गया, जो इसके पहले 109.35 पर बंद हुआ था। इसकी वजह से शुरुआती कारोबार में रुपया बढ़कर 86.29 रुपये प्रति डॉलर पर पहुंच गया। रुपया 86.58 प्रति डॉलर पर बंद हुआ, जबकि इसके पहले 86.57 रुपये प्रति डॉलर पर बंद हुआ था।
डॉलर सूचकांक से 6 प्रमुख मुद्राओं की तुलना में डॉलर की ताकत का पता चलता है। बहरहाल बाद में ट्रंप ने मैक्सिको और कनाडा पर 25 प्रतिशत शुल्क लगाने की घोषणा की, जिसकी वजह चीन पर भी शुल्क लगने की संभावना बढ़ गई। उन्होंने चुनाव प्रचार के दौरान चीन पर 60 प्रतिशत शुल्क लगाने की घोषणा की थी, लेकिन चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग से बातचीत के बाद संभवतः उन्होंने योजना में बदलाव किया है।
कनाडा, मैक्सिको पर शुल्क लगाने की चेतावनी के बाद 10 साल के बेंचमार्क अमेरिकी ट्रेजरी पर यील्ड बढ़कर 4.57 प्रतिशत हो गई, जो हाल ही में 4.80 प्रतिशत से 4.50 प्रतिशत तक की गिरावट से उबर रही है। डॉलर इंडेक्स भी बढ़कर 108.75 पर पहुंच गया।
एक सरकारी बैंक के डीलर ने कहा, ‘डॉलर सूचकांक गिरा, जिसकी वजह से रुपया एक अंतर के साथ खुला। बहरहाल मैक्सिको और कनाडा पर शुल्क की घोषणा के कराण लोगों ने यह माना कि चीन के खिलाफ भी इस तरह के प्रतिबंध लग सकते हैं। इसके कारण डॉलर मजबूत हुआ और रुपया गिरकर सोमवार के स्तर पर पहुंच गया।’