Maharashtra Politics: महाराष्ट्र में लोकसभा चुनावों के नतीजों ने एनडीए (NDA) को बड़ा झटका दिया। लोकसभा नतीजों से महाराष्ट्र की सियासत गरमा गई है। शरद पवार (Sharad Pawar) गुट की तरफ से दावा किया गया है कि अजित पवार की पार्टी एनसीपी के कई विधायक शरद पवार के संपर्क में हैं।
महाराष्ट्र की राजनीति में जल्द ही बड़ा बदलाव होगा। हालांकि एनसीपी ने इन अटकलों को खारिज करते हुए कहा कि वह आगामी विधानसभा चुनाव आक्रामक तौर पर लड़ेगे।
शरद पवार की तरफ से दावा किया गया कि लोकसभा चुनावों में विपक्षी गठबंधन महाविकास आघाडी (एमवीए) के 30 सीटें जीतने के बाद एनसीपी के 15 से अधिक विधायक फिर शरद पवार गुट में वापसी कर सकते हैं।
शरद पवार खेमे के रोहित पवार ने कहा कि अजित पवार की पार्टी के कम से कम 19 विधायक हमारे पार्टी प्रमुख के संपर्क में हैं। साथ ही अजित पवार की पार्टी के 12 विधायक बीजेपी के संपर्क में हैं। अगले कुछ दिनों में विधायक क्या फैसला लेंगे, इसकी तस्वीर साफ हो जाएगी।
एक दर्जन से ज्यादा विधायक घर वापसी करना चाहते हैं। इनमें से कई विधायक सुप्रिया सुले, प्रदेश अध्यक्ष जयंत पाटील और रोहित पवार के संपर्क में हैं। जयंत पाटिल इन अटकलों की पुष्टि करते हुए कहा कि बहुत से लोग संपर्क में हैं, लेकिन अभी पार्टी के अंदर फैसला नहीं हुआ है। 9 जून को पार्टी की कार्यकारिणी की बैठक होगी, इसमें फैसला होगा।
महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री अजित पवार ने लोकसभा चुनाव परिणामों और उसमें पार्टी के प्रदर्शन की समीक्षा के लिए वरिष्ठ नेताओं के साथ बैठक की।
एनसीपी के प्रदेश अध्यक्ष सुनील तटकरे ने कहा कि राकांपा नेतृत्व दिन में पार्टी विधायकों के साथ विधानसभा क्षेत्रों की स्थिति पर चर्चा करेगा। हम विधानसभा चुनाव आक्रामक तरीके से लड़ेंगे। मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे, दोनों उपमुख्यमंत्री एकजुट होकर विधानसभा चुनाव लड़ने पर फैसला लेंगे। साथ ही उन्होंने इन अटकलों को खारिज कर दिया कि उनकी पार्टी के विधायक शरद पवार के नेतृत्व वाली राकांपा के संपर्क में हैं।
बारामती में करारी हार के बाद अजित पवार खेमा बैकफुट पर
अजीत पवार के विधायकों को लेकर चल रही अटकलें सच हुई तो एकनाथ शिंदे की अगुवाई में चल रही महायुति सरकार पर संकट बढ़ सकता है। 10 महीने पहले अजित पवार ने अपने चाचा शरद पवार को छोड़कर महायुति में चले गए थे। बारामती में करारी हार के बाद अजित पवार खेमा बैकफुट पर है।
अजित पवार की अगुवाई वाली एनसीपी को सिर्फ 1 सीट मिली है तो वहीं शरद पवार की नई पार्टी ने नए चुनाव चिन्ह के साथ 10 सीटों पर चुनाव लड़कर 8 पर जीत हासिल की है।
सत्तारूढ महायुति भाजपा, मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे के नेतृत्व वाली शिवसेना और अजीत पवार के नेतृत्व वाली एनसीपी ने राज्य की 48 लोकसभा सीटों में से 17 पर जीत हासिल की।
कांग्रेस, पूर्व मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे के नेतृत्व वाली शिवसेना (यूबीटी) और शरद पवार के नेतृत्व वाली राकांपा (एसपी) के गठबंधन महाविकास अघाड़ी ने 30 सीट पर जीत हासिल की। अजित पवार की पत्नी सुनेत्रा पवार बारामती लोकसभा सीट पर राकांपा (एसपी) की सांसद और शरद पवार की बेटी सुप्रिया सुले से डेढ़ लाख से अधिक मतों के अंतर से हार गईं।
महाराष्ट्र विधानसभा में भाजपा के पास 103 विधायक
अजित पवार की अगुवाई वाली राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी के पास अभी 40 विधायक हैं। अगर विधायक फिर से शरद पवार के वापसी करते हैं तो निश्चित तौर पर राज्य में नया सियासी संकट खड़ा हो सकता है।
महाराष्ट्र विधानसभा में भाजपा (BJP) के पास 103 विधायक हैं, जबकि शिंदे की अगुवाई वाली शिवसेना और एनसीपी के पास 40-40 विधायक है। 288 सदस्यों वाली विधानसभा में आठ सीटें खाली हैं। महाराष्ट्र में अक्टूबर-नवंबर महीने में चुनाव होने हैं। अजित पवार दिल्ली में एनडीए की बैठक में नहीं गए थे। उनकी जगह पर पार्टी की तरफ प्रफुल्ल पटेल, सुनील तटकरे गए थे।