महामारी और अर्थव्यवस्था की सुस्ती के दौर में उत्तर प्रदेश की योगी सरकार 1.5 लाख करोड़ रुपये का निवेश लाने की योजना बना रही है। प्रदेश सरकार ने लॉकडाउन खत्म होने के बाद से अब तक 98 फीसदी से ज्यादा औद्योगिक इकाइयों के चालू होने का दावा किया है।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अधिकारियों को अगले एक से सवा साल के भीतर प्रदेश में 1.5 लाख करोड़ रुपये तक के निवेश के लिए योजना तैयार करने को कहा है। गुरुवार को मुख्यमंत्री ने कोरोना संकट से निपटने के लिए गठित टीम 11 की बैठक में कहा कि प्रदेश के विभिन्न हिस्सों में ज्यादा से ज्यादा निवेश आकर्षित करने के लिए तैयारी की जानी चाहिए। उन्होंने अगस्त 2019 के मुकाबले अगस्त, 2020 में प्रदेश सरकार के राजस्व में लगभग 600 करोड़ रुपये की वृद्धि पर संतोष व्यक्त किया।
मुख्यमंत्री ने निवेश मित्र पोर्टल के प्रभावी एवं कुशल संचालन पर जोर देते हुए कहा कि इसके लिए विशेषज्ञों की तैनाती पर विचार किया जाए। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार ने उद्योग बंधु को अपग्रेड व मजबूत करते हुए नई संस्था इन्वेस्ट यूपी के गठन का निर्णय लिया है। उन्होंने निर्देश दिए कि इस कार्य को प्रभावी ढंग से लागू करते हुए आगामी एक से सवा साल के दौरान प्रदेश में डेढ़ लाख करोड़ रुपये तक के निवेश को आकर्षित करने की कार्य योजना तैयार की जाए।
मुख्यमंत्री ने प्रदेश में 98.5 प्रतिशत औद्योगिक एवं व्यावसायिक इकाइयों के पूरी क्षमता से कार्यशील रहने पर संतोष जताते हुए बाकी इकाइयों को भी उनकी पूरी क्षमता से चलाए जाने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि अधिक से अधिक रोजगार के अवसर सृजित करने के लिए प्रभावी कार्यवाही की जाए। उन्होंने कहा कि प्रदेश में रविवार को लॉकडाउन के दौरान भी औद्योगिक गतिविधियों के संचालन में रुकावट नही आनी चाहिए।
उत्तर प्रदेश में बिजली बिलों को लेकर चल रही बुनकरों की हड़ताल के मद्देनजर योगी आदित्यनाथ ने अधिकारियों को समस्याओं के समयबद्ध निस्तारण के लिए समुचित प्रयास किए जाने के निर्देश भी दिए हैं। मुख्यमंत्री ने कहा कि बसों के अंतर्राज्यीय आवागमन को सुचारु बनाने के लिए आवश्यक कार्रवाई की जाए। प्रदेश में सभी निर्धारित रूटों पर परिवहन निगम की बसों का संचालन कराया जाए।
