facebookmetapixel
Gold, Silver price today: सोने का वायदा भाव ₹1,09,000 के आल टाइम हाई पर, चांदी भी चमकीUPITS-2025: प्रधानमंत्री मोदी करेंगे यूपी इंटरनेशनल ट्रेड शो 2025 का उद्घाटन, रूस बना पार्टनर कंट्रीGST कट के बाद ₹9,000 तक जा सकता है भाव, मोतीलाल ओसवाल ने इन दो शेयरों पर दी BUY रेटिंग₹21,000 करोड़ टेंडर से इस Railway Stock पर ब्रोकरेज बुलिशStock Market Opening: Sensex 300 अंक की तेजी के साथ 81,000 पार, Nifty 24,850 पर स्थिर; Infosys 3% चढ़ानेपाल में Gen-Z आंदोलन हुआ खत्म, सरकार ने सोशल मीडिया पर से हटाया बैनLIC की इस एक पॉलिसी में पूरे परिवार की हेल्थ और फाइनेंशियल सुरक्षा, जानिए कैसेStocks To Watch Today: Infosys, Vedanta, IRB Infra समेत इन स्टॉक्स पर आज करें फोकससुप्रीम कोर्ट ने कहा: बिहार में मतदाता सूची SIR में आधार को 12वें दस्तावेज के रूप में करें शामिलउत्तर प्रदेश में पहली बार ट्रांसमिशन चार्ज प्रति मेगावॉट/माह तय, ओपन एक्सेस उपभोक्ता को 26 पैसे/यूनिट देंगे

सेंसेक्स के मुकाबले रिलायंस इंडस्ट्रीज की परफॉर्मेंस कमजोर

Last Updated- May 29, 2023 | 11:17 PM IST
Reliance Mcap

रिलायंस इंडस्ट्रीज (RIL) में शुक्रवार को शानदार तेजी दर्ज की गई थी। शुक्रवार को जहां इस शेयर में 2.8 प्रतिशत की तेजी आई, वहीं सेंसेक्स में 1 प्रतिशत की बढ़त दर्ज की गई। सोमवार को भी RIL का शेयर करीब आधा प्रतिशत चढ़ने में सफल रहा। हालांकि इस शेयर को करीब दो साल से सेंसेक्स को मात देने में संघर्ष करना पड़ा है। कंपनी का शेयर भाव मौजूदा समय में उसी स्तर के आसपास है, जो सितंबर 2021 में दर्ज किया गया था, जबकि सेंसेक्स में समान अव​धि में 6 प्रतिशत तक की तेजी आई है।

RIL का शेयर चालू कैलेंडर वर्ष के शुरू से 1.3 प्रतिशत गिरा है, जबकि सेंसेक्स में 3.4 प्रतिशत की तेजी आई है। शेयर में एक साल के आधार पर कमजोरी भी दर्ज की गई है। RIL का शेयर भाव जून 2022 के अंत के बाद से 2.9 प्रतिशत नीचे है, जबकि समान अव​धि में सेंसेक्स 18.5 प्रतिशत चढ़ा है।

इसी तरह, RIL ने जुलाई 2009 से सितंबर 2018 के बीच करीब एक दशक तक प्रमुख सूचकांक के मुकाबले कमजोर प्रदर्शन किया। उस अव​धि में, आरआईएल का शेयर भाव 2009 से 2016 के बीच सात वर्षों तक सीमित दायरे में बना रहा।

पिछले समय में, RIL के शेयर में सुस्ती के लिए कंपनी के बढ़ते पूंजीगत खर्च, शुद्ध ऋण स्तर में तेजी और शेयरधारकों की पूंजी पर एक अंक में प्रतिफल की वजह से निवेशकों की चिंताओं को जिम्मेदार माना जा सकता है। इसकी वजह से उसके राजस्व तथा परिसंप​त्ति एवं देनदारियों के मुकाबले कंपनी के शुद्ध लाभ और इ​क्विटी लाभांश में धीमी वृद्धि हुई है।

मार्च के आ​खिरी सप्ताह में आरआईएल के बारे में अपनी रिपोर्ट में जेएम फाइनैं​​शियल रिसर्च के दयानंद मित्तल और डीमेल फ्रांसिस ने लिखा है, ‘RIL के शेयर में ताजा कमजोरी मुख्य तौर पर ऊंचे पूंजीगत खर्च और उसकी वजह से बढ़ते कर्ज से जुड़ी चिंताओं के कारण आई।’

Also read: बाजार के प्रदर्शन पर निर्भर नहीं फंडों में निवेश

समेकित आधार पर RIL का शुद्ध लाभ वित्त वर्ष 2023 में सालाना आधार पर 14 प्रतिशत तक बढ़ा, जबकि पिछले वित्त वर्ष में उसकी बिक्री में एक साल पहले के मुकाबले 25.6 प्रतिशत की तेजी दर्ज की गई। तुलनात्मक तौर पर, कंपनी की कुल परिसंप​त्तियां सालाना आधार पर 18.8 प्रतिशत तक बढ़ीं, जबकि व्यवसाय में लगी पूंजी (ब्याज को अलग रखकर) पिछले वित्त वर्ष एक साल पहले के आधार पर 20.4 प्रतिशत तक बढ़ी।

कैपिटालाइन के आंकड़ों से पता चलता है कि कंपनी का समायोजित शुद्ध लाभ वित्त वर्ष 2023 में 66,702 करोड़ रुपये तक बढ़ा, जबकि उसकी परिसंप​त्तियां और नियोजित पूंजी इस साल मार्च के आ​खिर तक बढ़कर 14.5 लाख करोड़ रुपये और 13.4 लाख करोड़ रुपये रहीं।

Also read: IPEF के 14 देशों ने पूरी की सप्लाई चेन पर बातचीत, समझौते में भारत भी शामिल

RIL की आय और उसकी परिसंप​त्तियों एवं देनदारियों के बीच वृद्धि में अंतर कंपनी के लिए लंबे समय से एक बड़ी समस्या है।

कई विश्लेषकों का मानना है कि 5जी नेटवर्क की पेशकश और ऑफलाइन तथा ऑनलाइन रिटेल मौजूदगी लगातार बढ़ाने की वजह से आरआईएल की पूंजीगत खर्च वित्त वर्ष 2024 में भी ऊंचा बना रह सकता है।

First Published - May 29, 2023 | 9:05 PM IST

संबंधित पोस्ट