भारत के कानून मंत्री किरेन रिजिजू ने सुप्रीम कोर्ट में जजों की नियुक्ति को लेकर भारत के मुख्य न्यायाधीश (सीजेआई) डीवाई चंद्रचूड़ को पत्र लिखा है। टाइम्स ऑफ इंडिया की रिपोर्ट के मुताबिक सीजेआई को लिखे इस पत्र में उन्होंने सुझाव दिया है कि जजों की नियुक्ति की प्रक्रिया में पारदर्शिता लाने के लिए सुप्रीम कोर्ट के कॉलेजियम में सरकारी प्रतिनिधियों को शामिल करना चाहिए।
बीते दिसंबर में ही रिजिजू ने राज्यसभा को एक लिखित जवाब दिया था जिसमें कहा गया था कि केंद्र को न्यायाधीशों की नियुक्ति पर कॉलेजियम प्रणाली में पारदर्शिता, निष्पक्षता और सामाजिक विविधता की कमी को लेकर कई सोर्सेज से याचिकाएं मिल रही हैं।
उन्होंने कहा कि सरकार ने उच्च न्यायालयों और सर्वोच्च न्यायालय में न्यायाधीशों की नियुक्ति के लिए प्रक्रिया को लेकर सुझाव भेजे हैं। रिजिजू ने नवंबर में भी इसी तरह के विचार व्यक्त किए थे।
सुप्रीम कोर्ट कॉलेजियम द्वारा अनुशंसित न्यायाधीशों के लिए नामों को मंजूरी देने में बाद में देरी को लेकर शीर्ष अदालत और केंद्र के बीच भी विवाद हुआ है।
28 नवंबर को, SC ने नियुक्तियों में देरी के लिए अपनी चिंता व्यक्त करते हुए कहा था कि इससे पूरा सिस्टम निराश होता है।
6 जनवरी को अटॉर्नी जनरल आर वेंकटरमणी ने सुप्रीम कोर्ट को बताया कि केंद्र समय सीमा का पालन करेगा और पीठ को आश्वासन दिया कि कम से कम 44 नामों को जल्द ही मंजूरी दे दी जाएगी।
न्यायाधीशों की नियुक्ति को लेकर सरकार और सुप्रीम कोर्ट कॉलेजियम के बीच गतिरोध के बीच, एक संसदीय पैनल ने सलाह दी थी कि में कार्यपालिका और न्यायपालिका को उच्च पदों पर रिक्तियों को लेकर आ रही समस्या से निपटने के लिए “आउट ऑफ बॉक्स थिंकिंग” के साथ आना चाहिए।