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  वित्त-बीमा  दूरसंचार क्षेत्र कर रहा हवाई तरंगों पर सवारी
वित्त-बीमा

दूरसंचार क्षेत्र कर रहा हवाई तरंगों पर सवारी

बीएस संवाददाताबीएस संवाददाता—March 17, 2008 4:15 PM IST
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दुनियाभर में टेलीकॉम सेक्टर की लगातार वृद्धि को देखते हुए बहुत संभव है कि टेलीकॉम टेक्नोलोजी सेवा प्रदाताओं को उतना नुकसान न हो जितना कि अन्य साफ्टवेयर कंपनियों को हो सकता है।



भारतीय सूचना प्रौद्यौगिकी और और साफ्टवेयर क्षेत्र चढ़ते रुपये के साथ–साथ आसन्न अमेरिकी मंदी के चलते पिछले एक वर्ष के दौरान अपना आकर्षण खो चुके हैं, जिसके परिणामस्वरूप समूचे विश्व में बहुराष्ट्रीय कंपनियों के आईटी बजट में कटौती के आसार हैं। इसकी वजह से विश्व भर में अधिकतर बड़ी साफ्टवेयर कंपनियों की आय और वृद्धि दर में कमी आयी है।


 


ऐसा इसलिए भी है कि विवेकाधीन आईटी खर्च विदेश के क्लाइंटों की टेक्नोलोजी बजट सूची से कटने वाली पहली चीज होगी। दूसरी तरफ, बैंकिंग एवं वित्तीय सेवाएं या बीमा जैसे सेक्टरों को सेवाएं देने वाले प्रजातिगत सेवा प्रदाता आधारभूत क्षेत्र में वृद्धि की कमी के चलते मार्जिन दबावों का सामना करेंगे क्योंकि ये सेवाएं कुछ–कुछ जरूरी किस्म की होती हैं।


 


इसके फलस्वरूप कीमत निर्धारण की शक्ति में कमी आएगी और ज्यादा काम बाहर कराने की जरूरत होगी। लिहाजा कोई भी यह सोच सकता है कि क्या साफ्टवेयर कंपनियों पर अपनी गाढ़े की कमाई लगाने के लिए भरोसा करना चाहिए या नहीं। फिर भी, इस समय हताश होने की कोई बात नहीं है क्योंकि टेक्नोलोजी स्पेस में ऐसे अन्य गलियारे हैं जो कि मांग में निरंतर वृद्धि और मार्जिन इतना अधिक प्रदान करते हैं जितना कि कोई अन्य साफ्टवेयर कंपनी करती है।


 


हम उन टेक्नोलोजी कंपनियों की बात कर रहे हैं जो कि दूरसंचार कंपनियों को विशेषीकृत सेवाएं मुहैया कराती हैं। ये कंपनियां उन विशिष्ट बौद्धिक संपदा पर फलती–फूलती हैं जो कि उनके पास होती है, जिसकी वजह से वे अपने ग्राहकों को बनाये रखती हैं और उस बाजार में अपना दबदबा कायम करती हैं जिसमें वे अपने व्यवसाय का संचालन कर रही होती हैं। विशेषीकरण, ग्राहकों के साथ सशक्त संबंध और इन कंपनियों की काम की श्रमशक्ति प्रतिस्पद्र्धा के लिए महत्वपूर्ण प्रवेश अवरोधक के रूप में काम करता है।


 


अकेले भारतीय दूरसंचार स्पेस पर विचार करने पर हम पाते हैं कि इसकी लोकप्रियता का आलम जबर्दस्त है। जनवरी 2008 तक स्वयं भारत में बेतार उपभोक्ताओं की संख्या 23.79 करोड़ थी जिसमें कि लगभग 20 प्रतिशत हर तिमाही में जुड़ जाते हैं और सालाना वृद्धि 60 प्रतिशत जितनी ऊंची है। हालांकि 10 प्रतिशत त्रैमासिक पर वृद्धि धीमी है लेकिन वायर लाइन टेलीकॉम उपभोक्ताओं का आधार भी वर्तमान के 27.3 करोड़ से बढ़ रहा है। गार्टनर अध्ययन के अनुसार फिर भी, भारत में दूरसंचार की पैठ अंतरराष्ट्रीय मानदंडों के मुकाबले कमतर है और इसके 2006 के 12.7 प्रतिशत से 2011 में 38.6 प्रतिशत होने के आसार हैं। गार्टनर का अनुमान है कि 2011 तक भारत में सेलुलर कनेक्शनों की संख्या 40 करोड़ को पार कर जाएगी।


 


अन्य विकासशील बाजारों में दूरसंचार सेवाओं के लिए मांग का परिदृश्य बहुत अलग नहीं है। और विकसित देशों के बाजारों के लिए हालांकि उपभोक्ता आधार हो सकता है कि बहुत अधिक न बढ़े लेकिन प्रमुख दूरसंचार कंपनियां मोबाइल फोनों के ऊपर अंतर्वस्तु, पाठ एवं आवाज आधारित सेवाएं और इसी तरह की अन्य मूल्य–वर्द्धित सेवाओं (वीएएस) की क्रास–सेलिंग की ज्यादा से ज्यादा कोशिश कर रही हैं। हमारे द्वारा चुनी गयी कंपनियां दूरसंचार खिलाड़ियों को साफ्टवेयर सेवाएं और उपकरण मुहैया कराती हैं जो कि जरूरी किस्म के होते हैं, और इस प्रकार टेक्ोलॉजी खर्च को गैर–विवेकाधीन बनाते हैं।


 


अब, चूंकि इन टेक्नोलाजी कंपनियों की सेवाओं के लिए मांग टेलीकॉम सब्सक्राइबर आधार और विभिन्न सेवाओं के उपयोग में वृद्धि से प्रत्यक्ष रूप से जुड़ी हुई है इसलिए दूरसंचार उद्योग के लिए अच्छी संभावना साफ्टवेयर कंपनियों के लिए भी शुभ संकेत है। इस प्रकार इन टेक्नोलाजी कंपनियों के लिए मूल्य–निर्धारण के ऊपर की ओर संशोधनों की संभावना है, जो कि दूरसंचार क्षेत्र की प्रमुख कंपनियों की कमोबेश आधी हैं। यहां तक कि वैसे भी दीर्घकालीन संभावनाएं अच्छी बनी हुई हैं, जो कि स्वस्थ स्टॉक लाभ का भरोसा दिलाने के लिए काफी हैं। इन कंपनियों के बारे में और अधिक जानने के लिए पढ़ें।


 



जेमिनी कम्युनिकेशंस



जेमिनी कम्युनिकेशंस दूरसंचार ऑपरेटरों के लिए नेटवर्क एकीकरण और टेक्ोलॉजी अवरचना प्रबंधन सेवाएं मुहैया कराती है, जो कि पूरे भारत और ताइवान में परिचालन करती हैं और जिनके कार्यालय यूरोप में हैं। कंपनी दूरसंचार कंपनियों और इंटरनेट सेवा प्रदाताओं को अंतिम मील दूरी बेतार दूरसंचार अवरचना, ब्रॉडबैंड वायरलेस और वाइमैक्स समाधान मुहैया कराती है। इसके अलावा, इसके पास कुछ रेडियो फ्रीक्वेंसी आइडेंटीफिकेशन (आरएफआईडी) उपकरण और आपूति शृंखला प्रबंधन के लिए साफ्टवेयर पेशकशें भी हैं, इसके साथ–साथ यह दूरसंचार एवं नेटवर्क अवरचना रोल आउट के लिए कार्पोरेट जगत को टर्नकी परियोजना प्रबंधन कंसल्टेंसी भी मुहैया कराती है।


 


वित्तीय वर्र्ष 2008 की तीसरी तिमाही के आखिर में जेमिनी के पास 260 करोड़ रुपये के लंबित आर्डर बुक हैं, जिसमें से इसकी योजना 160-170 करोड़ रुपये को वित्तीय वर्ष 09 में ले जाने की है। हाल ही में कंपनी ने अपनी रेडियो फ्रीक्वेंसी एवं वाइमैक्स सेवाओं के लिए क्षमता विस्तार हेतु 80 करोड़ रुपये का निवेश किया है। कंपनी की 25 प्रतिशत के आसपास परिचालन लाभ मार्जिन अर्जित करने की पिछली उपलब्धि है और वह इसे बनाये रखने की आशा करती है। चूंकि पूंजीगत खर्र्च का चक्र लगभग पूरा हो चुका है और पैमाने की अर्थव्यवस्थाएं आगे की ओर डग भर रही हैं, इसलिए 17 प्रतिशत से अधिक की आय में वृद्धि और 70 प्रतिशत सालाना से अधिक की त्वरित शुद्ध लाभ वृद्धि के साथ यह संख्या काफी अच्छी जान पड़ती है। उसके सस्ते मूल्य–निर्धारणों में वित्तीय वर्ष 09 के लिए उसकी अनुमानित आय के सात गुने को जोड़ दीजिए और यह आकर्षक पैकेज बन जाएगा।



कावेरी टेलीकॉम प्रोडक्ट्स



एक अन्य दमदार कंपनी कावेरी टेलीकॉम प्रोडक्ट्स वायरलेस एंटीना और टेलीकाम ऑपरेटरों, प्रतिरक्षा और स्पेस एप्लीकेशंस के लिए रेडियो फ्रीक्वेंसी उपकरण बनाती है। कंपनी अपने उत्पाद एवं बौद्धिक संपदा पोर्टफोलियो में आंगिक के साथ–साथ गैर आंगिक ढंग से भी वृद्धि कर रही है। पिछले साल कंपनी ने अपने उत्पाद पोर्टफोलियो में दूरसंचार फिल्टर्स और विशेषीकृत एंटीना को जोड़ते हुए कनाडा में दो अधिग्रहण– डीसीआई डिजिटल कम्युनिकेशंस और टिल–टेक के किये। तीसरा अधिग्रहण नैसडैक में सूचीबद्ध पीसीटीईएल इंक के स्वामित्व वाली सेलुलर एवं दूरसंचार एंटीनाज की एक आयरिश डिजाइन एवं विनिर्माण कंपनी सिग्मा वायरलेस से टेक्ोलॉजी, बौद्धिक संपदा अधिकार (आईपीआर) और पेटेंटों का अधिग्रहण था।


 


इस जनवरी में कंपनी ने अमेरिका स्थित स्पॉटवेव वायरलेस का अधिग्रहण किया, जो कि कंपनी को बौद्धिक संपदा, नये उत्पादों और स्थापित ग्राहक–आधार प्रदान करती है। इसके अलावा, कंपनी की अपने स्वयं के अनुसंधान एवं विकास में 13 करोड़ रुपये का निवेश करने की योजना है, जो कि उसके खजाने में नये उत्पाद जोड़ेगी। कावेरी एल्काटेल–लुसेंट, भारती, बीएसएनएल, एरिक्सन, नोकिया, रिलायंस कम्युनिकेशंस, टाटा टेलीसर्विसेस और वोडाफोन आदि की तरह के ग्राहकों की शानदार शृंखला का दम भरती है। भला हो मोबाइल कंपनियों द्वारा किये गये भारी निवेश का कि कावेरी ने पिछले तीन वर्षों के दौरान 40 प्रतिशत की दर से बढ़ी है।


 


लाभप्रदता भी बढ़ रही है – परिचालन लाभ मार्जिन वित्तीय वर्ष 06 के 11 प्रतिशत से बढ़कर वित्तीय वर्र्ष 07 में 16 प्रतिशत हो गयी। शुद्ध लाभ मार्जिन भ्भी दोगुना होकर 14 प्रतिशत हो गया। आगे बढ़ते हुए मार्जिन्स के और भी बेहतर होने के आसार हैं क्योंकि कंपनी अपने खजाने में नये आईपीआर एवं वर्द्धित क्षमता जोड़ रही है, जिसके फलस्वरूप बेहतर नकदीकरण एवं पैमाने की अर्थव्यवस्थाएं अस्तित्व में आएंगी। एक साल की अग्रवर्ती आय के 13 गुने पर आंके गये 242 रुपये पर स्टॉक यहां पर प्रदर्शित अन्य पिक्स की तुलना में थोड़ा महंगा प्रतीत हो सकता है, लेकिन वृद्धि की प्रोफाइल को देखते हुए वाजिब जान पड़ता है।


 



मेगासाफ्ट



मेगासाफ्ट दूरसंचार एवं सूचना प्रौद्योगिकी कंपनियों को अपनी दो डिवीजनों एक्सिअस और ब्लूएलाय के माध्यम से साफ्टवेयर समाधान मुहैया कराती है। एक्सिअस टेलीकाम डिवीजन है जो कि उन्नत रोमिंग, बिलिंग सपोर्ट, काल ट्रैफिक प्रबंधन और नेटवर्क एकीकरण साफ्टवेयर उत्पाद मुहैया कराती है। ब्लूएलाय अन्य व्यवसायों को किसी अन्य साफ्टवेयर व्यवसाय की तर्ज पर एप्लीकेशन विकास, प्रबंधन एवं साफ्टवेयर कंसल्टिंग सेवाएं मुहैया कराती है। हालांकि दोनों व्यवसाय शुद्ध मुनाफे में बराबर का योगदान देते हैं पर प्रबंधन को आशा है कि आगामी वित्तीय वर्ष में दूरसंचार व्यवसाय कुल 90 प्रतिशत सालाना की वृद्धि दर्र्ज करेगा जबकि आवश्यकता के अनुरूप वाला साफ्टवेयर व्यवसाय हमेशा की तरह 20 प्रतिशत सालाना की दर से वृद्धि करना जारी रखेगा।


 


मेगासाफ्ट ने विगत में कई अधिग्रहण किये हैं, सबसे ताजा अधिग्रहण पिछले साल का अमेरिका स्थित बोस्टन कम्युनिके शंस ग्रुप का अधिग्रहण है। यह अधिग्रहण टेलीकाम स्पेस में बहुत से शामियाना क्लाइंटों को लेकर आया है और कंपनी के शुद्ध मुनाफे में टेलीकाम व्यवसाय के योगदान को बढ़ाकर 70 प्रतिशत कर देगा। रुपये की कीमत में वृद्धि के चलते अकेले मेगासाफ्ट की वित्तीय व्यवस्था में पिछली कुछ तिमाहियों में कुछ गिरावट आयी है। फिर भी, परिचालन लाभ के 30 प्रतिशत से अधिक होने और शुद्ध मार्जिन के 20 प्रतिशत के करीब होने के साथ एकमुश्त लाभप्रदता ऊंची है। इस हद तक की वृद्धि टेलीकाम व्यवसाय में उच्चतर वृद्धि के कारण हुई है।


 


हालांकि कंपनी करों में अपने कुछ लाभों को गंवा सकती है क्योंकि साफ्टवेयर टेक्नोलॉजी पार्क के लाभ वित्त वर्र्ष 09 में समाप्त हो रहे हैं पर इसके कुछ हद तक प्रभाव को बेअसर करने के लिए कार्यकुशलताओं को बेहतर बनाने और उल्लेखनीय लाभ प्राप्त करने की आशा है। कंपनी वर्ष 09 की 27 रुपये की प्रति शेयर अनुमानित आय के साथ स्टॉक 4 गुने से कम सस्ता है।



ऑनमोबाइल ग्लोबल



हाल ही सूचीबद्ध ऑनलाइन ग्लोबल ने निवेशक का कुछ ध्यान खींचा है क्योंकि वह अपने पहले से ही महंगे आईपीओ और लिस्टिंग प्राइस के लिए प्रीमियम पर व्यापार करना जारी रखे हुए है। ऑनमोबाइल भारतीय दूरसंचार मूल्यवर्द्धित सेवाओं के क्षेत्र में बाजार में अग्रणी है और वह 95 प्रतिशत शेयर रखने का दम भरती है। कंपनी कांटेंट एग्रीगेटर के रूप में काम करती है, उन विभिन्न मूल्यवर्द्धित सेवाओं के लिए साफ्टवेयर एप्लीकेशन सेवाएं और डिलीवरी मंच मुहैया कराती है जिसे टेलीकाम ऑपरेटर अपने यूजर्स को मुहैया कराते हैं।


 


उसकी सेवाओं के उदाहरणों में रिंग–बैक टोन्स, वायस–मेल और छूटी हुई काल्स का एलर्ट, आवाज आधारित शार्ट मेसेजिंग सेवाएं, इंटरएक्टिव सूचना और मोबाइल पर एलर्ट एवं अपेड जैसे मनोरंजन समाधान और अन्य चीजों के अलावा मोबाइल टिकटिंग एवं बिल भुगतान जैसे मोबाइल कॉमर्स समाधान मुहैया कराना शामिल है। अभी तक, कंपनी ने हर साल अपने शुद्ध मुनाफे को दोगुना करते हुए शानदार वृद्धि प्रदर्शित की है और परिचालन लाभ के निरंतर 45 प्रतिशत से अधिक होने के साथ उसकी लाभप्रदता भी ऊंची है।


 


फिर भी, कंपनी बाजार में अपनी पकड़ उस समय गंवा सकती है जब टेलीकाम ऑपरेटरों के लिए वीएएस आय बढ़ेगी (उनके शुद्ध मुनाफे के 10 प्रतिशत से कम के वर्तमान हिस्से से) और प्रतिस्पद्र्धा में वृद्धि होगी। लिपसाइड पर, वीएएस क्षमताओं को इनहाउस प्राप्त करने की टेलीकाम आपरेटरों की तलाश कंपनी को एक आकर्षक टेकओवर टार्गेट बना सकती है, जो कि उन उच्च मूल्य निर्धारणों को जायज ठहराने वाला एकमात्र कारण जान पड़ता है जिन्हें कि कंपनी सर्राफों पर कमांड करती है। समग्रता में, अपनी वित्त वर्ष 09 की आयों के 40 गुने पर ऑनमोबाइल महंगी जान पड़ती है, लेकिन तेज गिरावटों को खरीदारी के संभावित अवसरों के रूप में लिया जा सकता है। वे लोग जो कि स्टॉक धारण करते हैं हो सकता है कि लाभों को बुक करना चाहें।



सास्केन कम्युनिकेशन



सास्केन कम्युनिकेशन पिछले महीने के दौरान तीसरी तिमाही के निराशाजनक परिणामों के चलते औंधे मुंह गिरा है क्योंकि उसकी उत्पाद आय में गिरावट हो रही है। कंपनी 3जी वायरलेस एवं ब्रॉडबैंड, इंटरनेट गेटवेज, सिग्नल प्रोसेसिंग एवं सर्किट डिजाइन के लिए टेलीकाम खिलाड़ियाें को साफ्टवेयर सेवाएं और उत्पाद मुहैया कराती है। अपने उत्पाद व्यवसाय में कंपनी अन्य खिलाड़ियों के लिए उत्पाद विकसित करती है और उन्हें लाइसेंस पर देती है। यह व्यवसाय कठिनाई के दौर से गुजर रहा है क्योंकि लेनेवो के उसकी ई–सीरीज फोनों के लिए कुछ बड़े आदेशों के रद्द होने के चलते पिछली तीन तिमाहियों से मूलभूत स्रोत से आय में कमी होती गयी है। शुद्ध मुनाफे में कमी ने बदले में मार्जिन में भी कमी उत्पन्न की है। उसका परिचालन लाभ पिछली तिमाही के 16 प्रतिशत और गत वित्त वर्ष की समान अवधि के 15 प्रतिशत की की तुलना में कम होकर 11 प्रतिशत के लगभग हो गया है।


 


फिर भी, सेवाओं की आय एक समान बनी हुई है लेकिन उसके थोड़ा बढ़ने की आशा है। इस वित्तीय वर्ष की तीन तिमाहियों के दौरान खराब प्रदर्शन के फलस्वरूप सास्केन की आय में प्रत्याशित गिरावट उसके मूल्य–निर्धारणों में एक कारक रही है और स्टॉक एक माह पहले के लगभग 11 गुने की तुलना में वित्तीय वर्ष 09 की अनुमानित आय के लगभग 7 गुने पर व्यापार करता है। किसी सकरात्मक आश्चर्यों के लिए इस काउंटर पर निगाह रखिये, जो कि रन–अप के लिए प्रेरक का काम कर सकता है।



सुबेक्स



इस समूह में नुकसान उठाने वाली एक और कंपनी सुबेक्स प्रमुख क्लाइंटों को गंवाने के चलते इस वित्तीय वर्र्ष के दौरान घाटे में रही है। सुबेक्स बिलिंग, आय प्रबंधन, रूट आप्टिमाइजेशन और धोखा प्रबंधन जैसे क्षेत्रों में टेलीकाम खिलाड़ियों के लिए पैकेज्ड साफ्टवेयर मुहैया कराती है। कंपनी ने क्रमश: 12 करोड़ डालर (लगभग 480 करोड़ रुपये) और 2.6 करोड़ डालर (104 करोड़ रुपये) के शुद्ध लाभ का मार्गदर्शन दिया है, जिसके कि समूचे वित्तीय वर्र्ष 08 भर में दुर्भाग्यपूर्ण प्रदर्शन को देखते हुए प्राप्त होने के आसार नहीं हैं।


 


प्रबंधन ने संशोधित मार्गदर्शन की घोषणा करने से इनकार कर दिया है और विश्लेषकों को आशा है कि वित्तीय वर्ष 08 में कंपनी थोड़ा हानि प्रदर्शित करेगी। आगे की ओर बढ़ते हुए कंपनी के व्यवसाय को वापस पटरी पर ला खड़ा करने के आसार हैं क्योंकि उसके पास वित्तीय वर्ष 09 के दौरान क्रियान्वित किये जाने के लिए 9-9.5 करोड़ डालर (लगभग 360 करोड़ रुपये का)का आर्डर बैकलॉग है, और वह आगे 30 करोड़ डालर से अधिक (1200 करोड़ रुपये) के आदेशों के लिए बोली लगा रही है। हालांकि स्टॉक कीमत में नकारात्मक अनुभूति ने एक कारक की भूमिका निभायी है पर हो सकता है कि हम तब तक रुककर प्रतीक्षा करना चाहें जब तक कि कंपनी आगामी तिमाहियों में अपने व्यवसायों पर बेहतर प्रत्यक्षता नहीं मुहैया कराती।




टानला सॉल्युशंस



ब्रिटेन के बाजार पर केंद्रित त्वरित गति से बढ़ता टेलीकॉम अंतर्वस्तु एग्रीगेटर टानला सॉल्युशंस की स्टाक कीमत पिछले वर्ष के दौरान लगभग दोगुनी हो गयी है। कंपनी ब्रिटेन में दमदार ग्राहक शृंखला, मजबूत अंतर्वस्तु सोर्सिंग संबंधों के साथ–साथ ऐसी सेवाओं के आद्योपांत पोर्टफोलियो का दम भरती है जिसमें कि अन्य मूल्यवर्द्धित सेवाओं के अतिरिक्त रूट ऑप्टिमाइजेशन समाधान, वॉयस मेल, शॉर्ट मेसेजिंग और रोमिंग सेवाएं शामिल हैं। ब्रिटेन की तरह के परिपक्व बाजार में, जहां पर वीएएस आय टेलीकॉम आपरेटरों की कुल आय के 20 प्रतिशत तक के बराबर है, टानला इन सेवाओं में लगभग 5 प्रतिशत बाजार के हिस्से पर पकड़ रखती है। 3जी और डेटा सेवाओं की पैठ के बढ़ने के साथ आगे बढ़ते हुए कंपनी का भारी लाभ कमाना तय है। इसके अलावा, वह अधिग्रहणों के माध्यम से अमेरिकी बाजार में प्रवेश करने की कोशिश कर रही है, जिसके लिए उसने पिछले वर्ष 42 करोड़ रुपये जुटाये। इससे उसकी कुल नकदी 400 करोड़ रुपये हो गयी।


 


भारतीय बाजार में प्रवेश अतिरिक्त लाभ प्रदान करने वाला हो सकता है। ऑटोमोबाइल की तरह का उच्च मार्जिन व्यवसाय टानला तुलनात्मक रूप से 14 गुने के बहुत कम कीमत–आय गुणज में आंकी गयी। कम मूल्य–निर्धारण का एक कारण उसकी अमेरिकी अधिग्रहण योजनाओं में विलंब हो सकता है। इसके अलावा, अमेरिका में वीएएस कंपनी के अधिग्रहण के महंगा होने की आशा है, जो कि टानला के मूल्य–निर्धारण में एक कारक हो सकता है। फिर भ्भी, इस तरह का अधिग्रहण अपने साथ लाने वाले शुद्ध मुनाफे की वजह से उतना ही संभावित कारण का काम कर सकता है जितना कि भारतीय बाजारों में पकड़ हासिल करने की दिशा में कोई अन्य प्रगति कर सकती है।



टयुलिप आईटी सर्विसेस



नेटवर्क एकीकरण व्यवसाय से आगे बढ़कर टयुलिप आईटी सर्विसेस स्थानीय एक्सचेंजों और सब्सक्राइबरों के बीच टेलीकाम ऑपरेटरों को लास्ट–माइल वायरलेस डेटा कनेक्टिविटी प्रदाता में विकसित हुई है। कंपनी ने अभी तक 800 सिटी वायरलेस नेटवर्क निर्मित किये हैं और उसके खाते में बाजार की 40 प्रतिशत की शानदार हिस्सेदारी है।

 ग्रामीण ब्रॉडबैंड इंटरनेट अवरचना खड़ी करने और इस वर्ष बजट में जोर वाले स्टेट वाइड एरिया नेटवर्क्स (स्वान) संस्थापित करने पर बढ़ाये गये जोर के साथ टयुलिप के प्रमुख लाभार्थी होने के आसार हैं। सार्वजनिक एवं निजी दोनों ही क्षेत्रों में इंटरनेट कनेक्टिविटी के लिए अवरचना की निरंतर मांग के चलते टयुलिप के 45 प्रतिशत से अधिक का सालाना शुद्ध मुनाफा बनाये रखने के आसार हैं जबकि उसकी लाभप्रदता के तेज गति से बढ़ने के आसार हैं क्योंकि व्यवसाय में तेजी आयी है। कुछ अपसाइड लेफ्ट के साथ वित्तीय वर्ष 09 की अनुमानित आय के लगभग 13 गुने पर टयुलिप का मूल्य–निर्धारण तर्कसंगत जान पड़ता है क्योंकि व्यवसाय के परिमाण के बढ़ने की आशा है।

telecommunication industry is riding on air waves
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  • चार्ट
  • आज का बाजार
60431.00 
IndicesLastChange Chg(%)
सेंसेक्स60431
380.06%
निफ्टी60431
380%
सीएनएक्स 50014954
130.08%
रुपया-डॉलर82.05
--
सोना(रु./10ग्रा.)51317.00
0.00-
चांदी (रु./किग्रा.)66740.00
0.00-

  • BSE
  • NSE
CompanyLast (Rs)Gain %
AU Small Finance679.6017.08
IDBI Bank51.679.66
Guj. Ambuja Exp265.707.51
Welspun India80.936.40
Chola Financial600.304.48
Graphite India278.304.43
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CompanyLast (Rs)Gain %
AU Small Finance679.2017.07
F A C T320.8012.40
IDBI Bank51.709.77
Guj. Ambuja Exp265.557.66
Welspun India81.156.64
Ingersoll-Rand2763.055.53
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