facebookmetapixel
MCap: रिलायंस और बाजाज फाइनेंस के शेयर चमके, 7 बड़ी कंपनियों की मार्केट वैल्यू में ₹1 लाख करोड़ का इजाफालाल सागर केबल कटने से दुनिया भर में इंटरनेट स्पीड हुई स्लो, माइक्रोसॉफ्ट समेत कई कंपनियों पर असरIPO Alert: PhysicsWallah जल्द लाएगा ₹3,820 करोड़ का आईपीओ, SEBI के पास दाखिल हुआ DRHPShare Market: जीएसटी राहत और चीन से गर्मजोशी ने बढ़ाई निवेशकों की उम्मीदेंWeather Update: बिहार-यूपी में बाढ़ का कहर जारी, दिल्ली को मिली थोड़ी राहत; जानें कैसा रहेगा आज मौसमपांच साल में 479% का रिटर्न देने वाली नवरत्न कंपनी ने 10.50% डिविडेंड देने का किया ऐलान, रिकॉर्ड डेट फिक्सStock Split: 1 शेयर बंट जाएगा 10 टुकड़ों में! इस स्मॉलकैप कंपनी ने किया स्टॉक स्प्लिट का ऐलान, रिकॉर्ड डेट जल्दसीतारमण ने सभी राज्यों के वित्त मंत्रियों को लिखा पत्र, कहा: GST 2.0 से ग्राहकों और व्यापारियों को मिलेगा बड़ा फायदाAdani Group की यह कंपनी करने जा रही है स्टॉक स्प्लिट, अब पांच हिस्सों में बंट जाएगा शेयर; चेक करें डिटेलCorporate Actions Next Week: मार्केट में निवेशकों के लिए बोनस, डिविडेंड और स्प्लिट से मुनाफे का सुनहरा मौका

ट्रंप ने भारत पर लगाया 27% टैरिफ, कहा- ‘PM मोदी मेरे दोस्त, लेकिन अमेरिका के साथ सही व्यवहार नहीं’

ट्रंप ने कहा कि भारत की टैरिफ नीतियां "बहुत ही सख्त" हैं। इसलिए अमेरिका भारत से होने वाले सभी आयात पर 26 फीसदी शुल्क लगाएगा।

Last Updated- April 03, 2025 | 12:38 PM IST
India- US Trade Deal

अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप (Donald Trump) ने गुरुवार को भारत और अन्य देशों से होने वाले सभी आयात पर ‘रेसिप्रोकल टैरिफ (reciprocal tariffs) लगाने का ऐलान कर दिया। उन्होंने इस फैसले को “काइंड रेसिप्रोकल” (kind reciprocal) करार दिया।

ट्रंप ने कहा कि भारत की टैरिफ नीतियां “बहुत ही सख्त” हैं। इसलिए अमेरिका भारत से होने वाले सभी आयात पर 27 फीसदी शुल्क लगाएगा, जो कि भारत द्वारा अमेरिकी उत्पादों पर लगाए जाने वाले शुल्क का आधा है।

‘मोदी मेरे दोस्त, लेकिन अमेरिका के साथ सही व्यवहार नहीं’

व्हाइट हाउस में ‘मेक अमेरिका वेल्दी अगेन’ नामक अपने संबोधन में ट्रंप ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की हाल की अमेरिका यात्रा का जिक्र किया। उन्होंने कहा, “वह (पीएम मोदी) मेरे अच्छे दोस्त हैं। लेकिन मैंने उनसे कहा, ‘तुम मेरे दोस्त हो, लेकिन अमेरिका के साथ सही व्यवहार नहीं कर रहे हो।’ वे हमसे 52 फीसदी शुल्क वसूलते हैं जबकि हम दशकों तक उनसे कुछ नहीं लेते रहे। यह सब सात साल पहले तब बदला जब मैंने पद संभाला।”

कुल मिलाकर ट्रंप ने लगभग सभी आयात पर कम से कम 10 फीसदी टैरिफ लगाने की घोषणा की, जबकि जिन देशों के साथ अमेरिका का व्यापार घाटा सबसे ज्यादा है, उनके लिए टैरिफ दरें और ऊंची होंगी। इसके साथ ही ट्रंप ने यह भी कहा कि अमेरिका सभी विदेशी निर्मित गाड़ियों पर 25 फीसदी टैरिफ लगाएगा ताकि “खतरनाक व्यापार असंतुलन” को ठीक किया जा सके, जिससे अमेरिकी औद्योगिक आधार प्रभावित हुआ है।

ट्रंप ने कहा, “पिछले 50 वर्षों से अमेरिकी टैक्स पेयर्स का शोषण होता आया है, लेकिन अब ऐसा नहीं होने दिया जाएगा।” व्हाइट हाउस के मुताबिक, यह टैरिफ घोषणा के तुरंत बाद प्रभाव में आ जाएगा।

वरिष्ठ अधिकारियों की स्थिति पर नजर

पीटीआई के मुताबिक, भारत सरकार ने ट्रंप की घोषणाओं पर निगरानी रखने के लिए एक नियंत्रण कक्ष स्थापित किया है। वाणिज्य और उद्योग मंत्रालय सहित कई मंत्रालयों के वरिष्ठ अधिकारी स्थिति पर करीबी नजर बनाए हुए हैं।

टैरिफ की घोषणा से पहले भारत ने अमेरिका से छूट प्राप्त करने के लिए राजनयिक स्तर पर कोशिशें की थीं। पिछले महीने केंद्रीय वाणिज्य और उद्योग मंत्री पीयूष गोयल इस उद्देश्य से वॉशिंगटन डीसी गए थे। उनका दौरा भारत-अमेरिका के बीच द्विपक्षीय व्यापार समझौते को आगे बढ़ाने और आर्थिक सहयोग के नए रास्ते तलाशने की कोशिश का हिस्सा था।

31 मार्च को अमेरिका के व्यापार प्रतिनिधि कार्यालय (USTR) ने एक रिपोर्ट जारी की, जिसमें बताया गया कि अमेरिका के मुकाबले अन्य देश कैसे टैरिफ लगाते हैं। रिपोर्ट में कहा गया कि भारत की टैरिफ और गैर-टैरिफ नीतियां वैश्विक अर्थव्यवस्थाओं में सबसे ज्यादा प्रतिबंधात्मक हैं। विशेष रूप से कृषि, दवाइयों, चिकित्सा उपकरणों और डिजिटल सेवाओं के क्षेत्रों में भारत द्वारा अमेरिकी आयात पर ऊंचे टैरिफ और कई तरह की नियामकीय बाधाएं लागू हैं।

‘ट्रम्प के टैरिफ से घरेलू कंपनियां प्रभावित होंगी’: FIEO

डोनल्ड ट्रंप द्वारा भारत से आयात पर 26 प्रतिशत शुल्क लगाए जाने की घोषणा पर प्रतिक्रिया देते हुए भारतीय निर्यात संगठन महासंघ (FIEO) ने कहा है कि यह निर्णय घरेलू कंपनियों को निश्चित रूप से प्रभावित करेगा।

हालांकि, FIEO के महानिदेशक और सीईओ अजय साहनी ने कहा कि भारत की स्थिति अन्य कई देशों की तुलना में बेहतर है। उन्होंने उम्मीद जताई कि प्रस्तावित द्विपक्षीय व्यापार समझौता जल्द पूरा होगा, जिससे इन प्रतिस्पर्धात्मक शुल्कों से राहत मिल सकेगी।

पीटीआई के अनुसार, साहनी ने कहा, “हमें इस कदम के प्रभाव का मूल्यांकन करना होगा, लेकिन अन्य देशों पर लगाए गए प्रतिस्पर्धात्मक शुल्कों को देखते हुए भारत अपेक्षाकृत निचले स्तर पर है। वियतनाम, चीन, इंडोनेशिया, म्यांमार जैसे हमारे प्रमुख प्रतिस्पर्धियों की तुलना में हमारी स्थिति कहीं बेहतर है। इन शुल्कों का असर हम पर ज़रूर पड़ेगा, लेकिन हम कई अन्य देशों की तुलना में बेहतर स्थिति में हैं।”

First Published - April 3, 2025 | 8:07 AM IST

संबंधित पोस्ट