मुंबई स्थित सनटेक रियल्टी ने एक अल्ट्रा-लग्जरी आवासीय ब्रांड ‘इमांस’ पेश किया है। इस ब्रांड के तहत अगले एक साल में 20,000 करोड़ रुपये के सकल विकास मूल्य (जीडीपी) वाली परियोजनाएं पेश की जाएंगी।
पहली परियोजना में दक्षिण मुंबई के नेपियन सी रोड पर एक अल्ट्रा-लग्जरी विकास कार्य और दूसरी परियोजना दुबई के डाउनटाउन में बुर्ज खलीफा कम्युनिटी में है। यह प्रोजेक्ट सनटेक के अंतरराष्ट्रीय बाजार में प्रवेश का प्रतीक है।
कंपनी इन परियोजनाओं से 40-50 प्रतिशत मार्जिन का लक्ष्य लेकर चल रही है, जो लगभग 2.5 लाख रुपये प्रति वर्ग फुट की कीमत पर उपलब्ध होंगी। प्रत्येक अपार्टमेंट का आकार लगभग 10,000 वर्ग फुट होगा। नेपियन सी रोड परियोजना के इस चालू वित्त वर्ष में शुरू होने की उम्मीद है।
वित्त वर्ष 2026 की पहली तिमाही के लिए सनटेक के इन्वेस्टर प्रेजेंटेशन के अनुसार दुबई परियोजना का जीडीवी 9,000 करोड़ रुपये है। नेपियन सी प्रोजेक्ट -1 और प्रोजेक्ट-2 का मूल्य क्रमशः 1,920 करोड़ रुपये और 2,400 करोड़ रुपये आंका गया है। इमांस के तहत सभी परियोजनाएं कंपनी के स्वामित्व वाली भूमि पर नए विकास कार्य होंगे। मुंबई में आगामी पेशकश महंगे दक्षिण मुंबई माइक्रो-मार्केट्स में होंगी और उनमें अति शानदार लग्जरी सुविधाएं होंगी। वित्त वर्ष 2026 की पहली तिमाही तक सनटेक के पोर्टफोलियो का लगभग 38 प्रतिशत उबर लग्जरी परियोजनाओं से जुड़ा था। हालांकि कंपनी एस्पिरेशनल से लेकर लग्जरी तक सभी आवासीय खंडों में सक्रिय रहने की योजना बना रही है। इस अवधारणा को ‘उबर लग्जरी से परे’ बताते हुए सनटेक रियल्टी के अध्यक्ष और प्रबंध निदेशक कमल खेतान ने कहा, ‘यह इस विश्वास को बताता है कि लग्जरी से इतर जो जीवन है, उसका भी अपना नाम, अपनी श्रेणी होनी चाहिए।’ खेतान ने इमांस को ‘लंबी अवधि का दांव’ बताया है। कंपनी इस ब्रांड के तहत परियोजनाओं की पेशकश बरकरार रखेगी। खेतान ने बिजनेस स्टैंडर्ड को बताया कि कंपनी के पास इन परियोजनाओं के बारे में पहले ही पूछताछ आने लगी है।
जेएलएल इंडिया के अनुसार अल्ट्रा-लग्जरी आवासीय बिक्री में शानदार वृद्धि हुई है। पिछले तीन वर्षों में मुंबई और दिल्ली एनसीआर में 100 करोड़ रुपये से अधिक कीमत वाले 49 घर बेचे गए। इनमें से 69 प्रतिशत मुंबई में थे। खरीदारों ने 7,500 करोड़ रुपये का निवेश किया, जिसमें अकेले 2024 में 3,652 करोड़ रुपये शामिल हैं। 2025 के पहले दो महीनों में 850 करोड़ रुपये मूल्य के चार सौदे हुए।