सांख्यिकी और कार्यक्रम कार्यान्वयन मंत्रालय अगले साल फरवरी में जारी होने वाले नए औद्योगिक उत्पादन सूचकांक (आईआईपी) श्रृंखला में जल संग्रहण उपचार एवं आपूर्ति, सीवरेज, अपशिष्ट संग्रहण, उपचार और निपटान जैसी गतिविधियों के आंकड़े शामिल करने पर विचार कर रहा है। आधिकारिक सूत्रों ने बिज़नेस स्टैंडर्ड को यह जानकारी दी है।
इन गतिविधियों को आईआईपी सूचकांक में शामिल करने के लिए मंत्रालय को अंतरराष्ट्रीय स्तर से सलाह मिले हैं। इसके अलावा लघु खनिजों का उत्खनन और गैस आपूर्ति समेत अन्य गतिविधियां शामिल हैं। अधिकारी ने कहा, ‘अगर हम आईआईपी पर अंतरराष्ट्रीय गतिविधियों की तुलना करें तो हमें कुछ गतिविधियों के आंकड़े नहीं मिल पा रहे हैं।
अगर वे महत्त्वपूर्ण और उनकी जरूरत है तो हम नए संशोधन में इनमें से कुछ गतिविधियों को शामिल करने के तरीके तलाश रहे हैं। हालांकि, विनिर्माण श्रेणियों में कोई परिवर्तन नहीं किया जाएगा। इन गतिविधियों को उसी के अनुसार समायोजित किया जाएगा।’
आईआईपी एक समग्र संकेतक है जो औद्योगिक उत्पादनों में हुए अल्पकालिक बदलावों को मापता है और हर महीने अर्थव्यवस्था में औद्योगिक गतिविधि के सामान्य स्तर के लिए एक महत्त्वपूर्ण आंकड़ा है और सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) में विनिर्माण क्षेत्र के सकल मूल्य वर्धन (जीवीए) के लिए जरूरी इनपुट तैयार करता है।